
मैं अक्सर ऑफिस में काम करते वक्त पानी पीना भूल जाती हूं। अगर मेरी तरह आप भी एक ऑफिस वर्कर हैं और काम में उलझकर पानी का सेवन नहीं करते हैं, तो आपको बता दें कि यह सेहत के लिए एक बड़ी चुनौती साबित हो सकती है। पानी शरीर के लिए केवल प्यास बुझाने का जरिया नहीं है, बल्कि ये हमारे स्वास्थ्य की एक अहम कड़ी है जिसके बगैर सेहत दांव पर लग सकती है। अगर ऑफिस में बैठकर काम करते हुए आप 6 से 7 घंटों तक पानी नहीं पीते हैं, तो इससे किडनी, लिवर, स्किन, ब्रेन आदि पर बुरा असर पड़ सकता है। रोग नियंत्रण एवं रोकथाम केंद्र (Centers For Disease Control and Prevention or CDC) की मानें, तो पानी की कमी से शरीर के सामान्य कार्य प्रभावित होते हैं। साथ ही पित्ताशय व किडनी में स्टोन बनने का खतरा बढ़ता है। इस लेख में हम आपको बताएंगे कि कैसे ऑफिस में पानी न पीने की आदत, सेहत के लिए एक बड़ा खतरा बन सकती है? इस लेख में हमारे 2 एक्सपर्ट्स ने अपनी राय दी है- Neha Sinha, Nutritionist At The Nutriwise Clinic, Lucknow और Ayurveda Expert Dr. Shrey Sharma, Ramhans Charitable Hospital, Haryana।
एसी और स्ट्रेस से ऑफिस वर्कर्स में बढ़ता है डिहाइड्रेशन- Working In AC And Work Stress Cause Dehydration In Office Workers
आजकल ज्यादातर सभी ऑफिस में एयर कंडीशनर लगे होते हैं, इससे निकलने वाली ठंडी हवा के कारण लोगों को प्यास का एहसास नहीं होता। इसके अलावा काम के स्ट्रेस से भी पानी पीने की याद नहीं रहती है। इस वजह से शरीर में डिहाइड्रेशन के कारण इलेक्ट्रोलाइट्स का बैलेंस बिगड़ जाता है। Nutritionist Neha Sinha ने बताया कि जब डिहाइड्रेशन से सोडियम और पोटैशियम का स्तर असंतुलित हो जाता है, तो व्यक्ति को थकान, चक्कर, ध्यान केंद्रित करने में दिक्कत महसूस करता है। इस तरह पानी की कमी पूरे न्यूरोलॉजिकल सिस्टम को प्रभावित कर सकती है।
इसे भी पढ़ें- गंभीर डिहाइड्रेशन होने पर नजर आ सकते हैं ये 5 संकेत, न करें अनदेखी
टॉक्सिन्स शरीर में रह जाते हैं- Toxins Remain In Body
Ayurveda Expert Dr. Shrey Sharma ने बताया कि जब हम पर्याप्त मात्रा में पानी नहीं पीते हैं, तो किडनी को टॉक्सिन्स बाहर निकालने में दिक्कत होती है। इससे शरीर में वेस्ट जमा होने लगता है, जो थकान, सूजन और स्किन एलर्जी जैसी समस्याएं बढ़ा सकता है। टॉक्सिन्स की बढ़ती मात्रा लंबे समय में अर्थराइटिस और मेटाबॉलिक डिसआर्डर का कारण बन सकती है। Dr. Shrey Sharma ने बताया कि यह एक गंभीर समस्या है जिसका असर लंबे समय तक सेहत पर नजर आएगा इसलिए डिहाइड्रेशन से बचना चाहिए।
मेटाबॉलिक प्रोसेस पर बुरा असर पड़ता है- Negative Effect On Metabolic Process

- हमारा शरीर लगातार एनर्जी बनाने, डाइजेशन और टॉक्सिन्स निकालने जैसे कामों में लगा रहता है।
- इन सब प्रोसेस को चलाने के लिए पानी पीना बहुत जरूरी है।
- अगर शरीर में पानी की कमी हो जाती है, तो बॉडी का मेटाबॉलिज्म स्लो पड़ जाता है।
- इससे एनर्जी लेवल कम होता है, खाना ठीक से नहीं पचता और फैट बर्निंग प्रक्रिया भी धीमी हो जाती है।
किडनी पर बोझ बढ़ता है- Kidney Overload
- कम पानी पीने से यूरिन कन्सन्ट्रेटेड और एसिडिक बन जाता है।
- ऐसे में किडनी को पानी की कमी पूरी करने के लिए री-एब्जॉर्प्शन (Reabsorption) की प्रक्रिया बढ़ानी पड़ती है।
- इससे किडनी को ज्यादा एनर्जी खर्च करनी पड़ती है और उसके काम करने की क्षमता घटती है।
- लंबे समय में इससे किडनी स्टोन और इंफेक्शन का रिस्क बढ़ सकता है।
शरीर में पीएच असंतुलन- Body pH Imbalance
- पानी शरीर के पीएच लेवल को बैलेंस रखने में मदद करता है।
- जब हम पानी नहीं पीते, तो शरीर का पीएच लेवल एसिडिक हो जाता है।
- इसका असर डाइजेशन, इम्यूनिटी और मसल फंक्शन पर पड़ता है।
कमजोर महसूस हो ती है- Dehydration Cause Weakness
डिहाइड्रेशन की वजह से ब्लड फ्लो स्लो हो जाता है, जिससे ब्रेन को ऑक्सीजन और न्यूट्रिएंट्स कम मिलते हैं। इसका नतीजा होता है- थकान, सिरदर्द और ध्यान केंद्रित न कर पाना। अगर कम पानी पीने की आदत रोज अपनाई जाए, तो कमजोरी, थकान और लो एनर्जी महसूस होने लगती है।
निष्कर्ष:
ऑफिस में पानी न पीने की आदत से शरीर में कमजोरी, थकान हो सकती है। शरीर का पीएच स्तर असंतुलित हो सकता है, किडनी पर दबाव बढ़ सकता है, फैट बर्निंग प्रक्रिया धीमी हो सकती है और आप मोटापा, अर्थराइटिस और अन्य बीमारियों का शिकार बन सकते हैं।
उम्मीद करते हैं कि आपको यह जानकारी पसंद आई होगी। इस लेख को शेयर करना न भूलें।
यह विडियो भी देखें
FAQ
दिनभर में कितना पानी पिएं?
पुरुष हैं, तो दिनभर में 3 लीटर पानी पिएं, महिला हैं, तो लगभग 2.5 लीटर पानी पिएं। व्यक्ति की उम्र, वजन, वातावरण और फिजिकल एक्टिविटी पर पानी की सही मात्रा का सेवन निर्भर करता है।डिहाइड्रेशन के लक्षण क्या हैं?
डिहाइड्रेशन में शरीर में थकान, चक्कर, सिरदर्द, मुंह सूखना, गाढ़ा यूरिन, स्किन ड्राईनेस और ध्यान केंद्रित न कर पाना जैसे लक्षण दिखते हैं।डिहाइड्रेशन के कारण क्या हैं?
कम पानी पीना, ज्यादा कैफीन या नमकीन खाना, तेज धूप या एसी में लंबे समय तक रहना, डायरिया और ज्यादा पसीना आना, ये सब डिहाइड्रेशन के कारण हैं जो शरीर का संतुलन बिगाड़ देते हैं।
How we keep this article up to date:
We work with experts and keep a close eye on the latest in health and wellness. Whenever there is a new research or helpful information, we update our articles with accurate and useful advice.
Current Version
Nov 13, 2025 13:56 IST
Published By : Yashaswi Mathur