आजकल की भागदौड़ भरी जिंदगी, अनियमित खानपान, देर रात तक काम करने की आदत और मानसिक तनाव का सीधा असर पुरुषों की सेक्सुअल हेल्थ पर पड़ रहा है। जिसके कारण यौन दुर्बलता, शीघ्रपतन, इच्छा में कमी और थकान जैसी समस्याएं आम होती जा रही हैं। यह न सिर्फ रिश्तों को प्रभावित करता है, बल्कि आत्मविश्वास और मानसिक स्वास्थ्य पर भी गहरा प्रभाव डालता है। ऐसे में कई लोग समाधान के लिए दवाओं का सहारा लेते हैं, लेकिन लंबे समय तक इनका उपयोग शरीर के लिए नुकसानदायक हो सकता है। आयुर्वेद में पुरुषों की यौन शक्ति और फर्टिलिटी को बढ़ाने के लिए कई नेचुरल उपायों का उल्लेख है। इन्हीं में से एक अत्यंत प्रभावशाली उपाय है मोरिंगा के फूलों का सेवन। मोरिंगा, जिसे सहजन के नाम से भी जाना जाता है, औषधीय गुणों से भरपूर एक पेड़ है, इसकी पत्तियों, फली और फूलों का उपयोग आयुर्वेद में विभिन्न रोगों के इलाज में किया जाता है। खास बात यह है कि गर्मियों के मौसम में मोरिंगा के फूल भरपूर मात्रा में पेड़ों पर खिलते हैं और इन्हें आसपास के इलाकों, खेतों और बगीचों में आसानी से देखा जा सकता है। इस लेख में रामहंस चेरिटेबल हॉस्पिटल के आयुर्वेदिक डॉक्टर श्रेय शर्मा (Ayurvedic doctor Shrey Sharma from Ramhans Charitable Hospital) से जानिए, सेक्सुअल हेल्थ के लिए मोरिंगा के फूल का उपयोग कैसे करें?
मोरिंगा के फूल किस काम आते हैं? - What is the use of Moringa flowers
डॉ. श्रेय शर्मा बताते हैं कि मोरिंगा के फूल तीक्ष्ण, ऊष्ण (गर्मी पैदा करने वाला) और कटु रस युक्त होता है, जो शरीर के दोषों (विशेषकर कफ और वात) को संतुलित करता है। यह फूल सूजन (शोथ) को कम करता है और रक्तपित्त (खून से जुड़ी समस्याएं) को दूर करने में भी सहायक है। यही कारण है कि मोरिंगा के फूल को एक संपूर्ण वाजीकरण औषधि माना गया है।
सेक्सुअल हेल्थ के लिए मोरिंगा फूल का सेवन कैसे करें?
मोरिंगा के फूलों को दूध में उबालकर लेने से यह सेक्सुअल टॉनिक की तरह कार्य करता है। यह वीर्य को गाढ़ा और पुष्ट करता है, शीघ्रपतन की समस्या में राहत देता है और उत्तेजना तथा ऊर्जा में वृद्धि करता है। यह प्रयोग विशेष रूप से उन पुरुषों के लिए उपयोगी है जो शारीरिक कमजोरी, तनाव या वीर्य संबंधी विकारों से पीड़ित हैं। मोरिंगा के फूलों को जब दूध में उबालकर सेवन किया जाता है, तो यह शरीर की अग्नि (पाचन शक्ति) को प्रबल करता है, शुक्र धातु को पोषण देता है और पुरुषों को संपूर्ण यौन स्वास्थ्य प्रदान करता है।
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मोरिंगा फूल का सेवन कैसे करें? - How to consume Moringa flower
5-7 ताजे या सूखे मोरिंगा के फूलों को एक कप दूध में उबालें और छानकर सोने से पहले सेवन करें। हालांकि डॉ. शर्मा सलाह देते हैं कि इसका सेवन किसी आयुर्वेदिक विशेषज्ञ की निगरानी में और शरीर की प्रकृति के अनुसार किया जाए।
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क्या कहती है स्टडी
आधुनिक शोध भी यह संकेत देते हैं कि मोरिंगा टेस्टोस्टेरोन लेवल को बनाए रखने में सहायक हो सकता है। यह पुरुषों के शरीर में प्राकृतिक रूप से हार्मोन संतुलन में मदद करता है। साथ ही यह शुक्राणुओं की संख्या और क्वालिटी बढ़ाने में भी सहायक माना गया है। इसलिए प्रजनन क्षमता बढ़ाने की दृष्टि से भी मोरिंगा का फूल एक प्राकृतिक और सुरक्षित उपाय बनता जा रहा है।
मोरिंगा के फूलों का सेवन किसे नहीं करना चाहिए?
मोरिंगा के फूल तीक्ष्ण और ऊष्ण गुणों के कारण कुछ लोगों को सावधानी से सेवन करना चाहिए। विशेषकर अत्यधिक पित्त प्रकृति वाले व्यक्ति, हाई ब्लड प्रेशर से ग्रस्त व्यक्ति या जिन्हें पहले से सेक्स हार्मोन से जुड़ी कोई गंभीर समस्या हो, वे बिना सलाह के इसका प्रयोग न करें।
निष्कर्ष
मोरिंगा के फूल आयुर्वेद की दृष्टि से पुरुषों के यौन स्वास्थ्य के लिए एक बेहतरीन औषधि हैं। डॉ. श्रेय शर्मा द्वारा बताए गए प्रयोग- दूध में उबालकर सेवन को यदि अपनाया जाए, तो यह न केवल यौन ऊर्जा में वृद्धि करता है, बल्कि शरीर की समग्र क्षमता और संतुलन को भी बढ़ाता है।
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FAQ
मोरिंगा के फूल कैसे खाएं?
मोरिंगा के फूल खाने के कई आयुर्वेदिक और पारंपरिक तरीके हैं। इन्हें सबसे प्रभावी रूप से दूध में उबालकर सेवन किया जा सकता है। 5-7 ताजे या सूखे फूल एक कप दूध में उबालें और रात को सोने से पहले पिएं तो यह पुरुषों में यौन शक्ति बढ़ाने और कमजोरी दूर करने में मदद करता है। इसके अलावा, फूलों की सब्जी भी बनाकर खाई जा सकती है, जिसे हल्के मसालों के साथ पकाया जाता है।पुरुषों के लिए मोरिंगा के क्या फायदे हैं?
पुरुषों के लिए मोरिंगा कई फायदे होते हैं। इसमें वाजीकरण गुण होते हैं जो यौन शक्ति और वीर्य की क्वालिटी को बढ़ाने में मदद करते हैं। मोरिंगा टेस्टोस्टेरोन स्तर को संतुलित कर सकता है, जिससे प्रजनन क्षमता बेहतर होती है। यह थकान, कमजोरी और तनाव को कम कर स्नायुबल बढ़ाता है।सहजन और मोरिंगा में क्या अंतर है?
सहजन और मोरिंगा दोनों एक ही पौधे के नाम हैं। मोरिंगा, जिसे सहजन भी कहा जाता है, अपने औषधीय गुणों के लिए प्रसिद्ध है और इसके पत्ते, फूल, बीज, और छाल सभी का उपयोग आयुर्वेद में किया जाता है।