Possible Side Effects Of Changing Diet Suddenly In Hindi: कई लोग ऐसे होते हैं, जो अचानक अपनी डाइट में बदलाव कर बैठते हैं। इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं। जैसे वजन करने की चाहत या खुद को एनर्जेटिक रखना या फिर पूजा के समय कई दिनों तक व्रत रखना। यहां तक कि कई लोग ऐसे भी हैं, जो अचानक जंक फूड से हेल्दी फूड में ट्रांसफर हो जाते हैं। अब सवाल ये उठता है कि डाइट पैटर्न में एकाएक बदलाव करना हमारे स्वास्थ्य के लिए कितना सही है? क्या इसका हमारे हेल्थ पर अच्छा असर पड़ता है या फिर बुरा? यह जान लेना इसलिए भी जरूरी है, ताकि जब भी डाइट पैटर्न में चेंजेस करें, तो पहले एक्सपर्ट की राय जरूर ले लें। यहां हम आपको बता रहे हैं कि डाइट में अचानक बदलाव करने से स्वास्थ्य पर इसका क्या प्रभाव पड़ता है। इस बारे में हमने डाइट एन क्योर की डाइटिशियन और न्यूट्रिशनिस्ट दिव्या गांधी से बात की।
डाइट में अचानक बदलाव करने से स्वास्थ्य पर असर- Possible Side Effects Of Changing Diet Suddenly In Hindi
गैस या ब्लोटिंग होना
जब आप एक ही किस्म के डाइट पैटर्न को लंबे समय से फॉलो करते हैं, तो इससे बॉडी उसे एक्सेप्ट कर लेती है। यानी बॉडी एक निश्चित किस्म की डाइट को पचाने में सहज हो जाती है। जब आप अचानक डाइट में कुछ बलाव करते हैं, तो आपकी बॉडी के लिए बहुत चीजें नई हो सकती हैं। ऐसे में गैस या ब्लोटिंग जैसी समस्या देखने को मिल सकती है। जरूरी नहीं है कि सिर्फ अनहेल्दी खान से ही गैस बनती है। कई बार कुछ हेल्दी चीजें भी पेट में गैस बनाने के लिए जिम्मेदार होती हैं।
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कब्ज या डायरिया होना
डाइट में अचानक बदलाव करने पर कब्ज या डायरिया भी हो सकता है। असल में, अगर कोई व्यक्ति लंबे समय से लो-फाइबर डाइट ले रहा है। लेकिन, अचानक डाइट में हाई फाइबर कंटेंट शामिल कर लिया है, तो इससे कब्ज या डायरिया की समस्या हो सकती है। इसलिए, अग अगर आप अचानक लो फाइबर से हाई फाइबर में शिफ्ट हों, तो इस प्रक्रिया को धीमी रखें।
थकान या लो-एनर्जी महसूस करना
ज्यादातर लोगों को यह बात चौंका सकती है कि भला डाइट में बदलाव कर थकान या लो-एनर्जी कैसे फील कर सकते हैं। सही बात ये है कि कई लोग ऐसे हैं, जो अचानक अपनी डाइट से कार्ब्स को निकाल बाहर करते हैं। जबकि, एनर्जेटिक बने रहने के लिए बहुत जरूरी है कि अपनी डाइट में कार्बोहाइड्रेट को शामिल करें। ध्यान रखें कि कार्बोहाइड्रेट सेल्स को एनर्जेटिक रखने का प्राइमरी सोर्स होता है। वहीं, अगर अचानक डाइट से कार्ब्स को बाहर निकाल देते हैं, तो डलनेस होना और कमजोरी महसूस करना सामान्य हो जाता है।
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सिरदर्द की समस्या होना
कई बार डाइट पैटर्न में अचानक बदलाव करने से सिरदर्द भी हो सकत है। ऐसा आपने अक्सर चाय पीने वालों के साथ नोटिस किया होगा। जैसे, अगर एक व्यक्ति दिन में दो बार चाय पीता है। उसकी बॉडी इसे एडॉप्ट कर चुकी हैं। वहीं, अगर व्यक्ति पूरी तरह चाय छोड़ने की कोशिश करे, तो सिर में दर्द हो सकता है। इसके अलावा, अचानक लो-कार्बोहाइड्रेट डाइट लेना या लो-कैलोरी में स्विच करना भी आपके स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकता है।
नींद का बाधित होना
यह बात आपको हैरान कर सकती है, लेकिन यह सच है कि डाइट पैटर्न में बड़े बदलाव करने से आपकी नींद भी डिस्टर्ब हो सकती है। दरअसल, रात को सोने से पहले अगर आप हाई फैट या हाई फैट प्रोटीन डाइट में स्विच करते हैं, तो यह आपकी बॉडी के पचाना मुश्किल हो जाता है। ऐसे में डाइजेशन प्रक्रिया धीमी हो जाती है, जो आपकी अच्छी और गहरी नींद लेने से रोकती है। इसलिए, रात को हैवी मील नहीं लेना चाहिए और सोने से तीन घंटे पहले डिनर कर लेना चाहिए।
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