Is It Possible To Lose Weight With Endometriosis In Hindi: एंडोमेट्रियोसिस एक ऐसी समस्या है, जिसमें गर्भाशय की परत यानी यूट्रस लाइनिंग जैसे टिश्यूज शरीर के अन्य हिस्सों में विकसित होने लगते हैं। एंडोमेट्रियोसिस की वजह से महिला को काफी तकलीफें झेलनी पड़ती हैं। इसमें महिला को हैवी पीरियड्स हो सकते हैं, पेशाब करने के दौरान जलन या दर्द होना, एक्सरसाइज या वॉक करने के दौरान दर्द का अहसास होना आदि। यही नहीं, एंडोमेट्रियोसिस से पीड़ित महिलाएं अक्सर लो एनर्जी और थकान भी महसूस करती हैं। आपको बता दें कि एंडोमेट्रियोसिस महिला के शरीर के कई हिस्सों को प्रभावित करती है, जैसे फेलोपियन ट्यूब, ओवरीज और यूट्रस के बाहरी हिस्सों को। बहरहाल, कई महिलाओं को यह लगता है कि एंडोमेट्रियोसिस के कारण बढ़े वजन को कम नहीं किया जा सकता है। आइए, जानते हैं कि इनका आपस में क्या कनेक्शन है। इस बारे में हमने वृंदावन और नई दिल्ली स्थित मदर्स लैप आईवीएफ सेंटर की चिकित्सा निदेशक, स्त्री रोग और आईवीएफ विशेषज्ञ डॉ. शोभा गुप्ता से बात की।
क्या एंडोमेट्रियोसिस होने पर वजन कम किया जा सकता है- Is It Possible To Lose Weight With Endometriosis In Hindi
एंडोमेट्रियोसिस के कारण शरीर के कई हिस्से प्रभावित होते हैं। यह महिला को थकान और लो एनर्जी से भर सकता है। लेकिन, विशेषज्ञों की मानें, तो एंडोमेट्रियोसिस का वजन बढ़ने से कोई सीधा संबंध नहीं है। हां, इसकी वजह से बॉडी में फ्लूइड रिटेंशन हो सकता है, जिससे महिला को ब्लोटिंग हो जाती है। कई बार ब्लोटिंग के कारण महिला को वजन बढ़ने का अहसास हो सकता है। इसी तरह, एंडोमेट्रियोसिस के कारण महिलाएं ज्यादा फिजिकली एक्टिव नहीं रह पाती हैं, जिस वजह से वेट गेन होना संभव है। बहरहाल, जहां तक सवाल इस बात का है कि क्या एंडोमेट्रियोसिस होने पर वजन कम किया जा सकता है? इस बारे में डॉक्टर का कहना है, "एंडोमेट्रियोसिस होने के बावजूद महिलाएं अपना वजन कम कर सकती हैं। हां, एंडोमेट्रियोसिस में हार्मोनल इंबैलेंस हो सकता है। हार्मोनल अंसतुलन को मैनेज कर अपने वजन को कंट्रोल करने में मदद मिल सकती है। इसके बावजूद, अगर किसी महिला को एंडोमेट्रियोसिस के कारण वजन कम करने में दिक्कत आए, तो वे एक्सपर्ट की मदद ले सकते हैं।"
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एंडोमेट्रियोसिस में वजन कम करने के टिप्स
नियमित एक्सरसाइज करें
जैसा कि हमने कुछ देर पहले ही बताया है कि एंडोमेट्रियोसिस होने पर महिला में ऊर्जा की कमी हो जाती है। ऐसे में महिला के लिए फिजिकली एक्टिव रहना मुश्किल हो जाता है। अगर आप अपना वजन कम करना चाहती है, तो एंडोमेट्रियोसिस होने के बावजूद नियमित रूप से एक्सरसाइज करें। एक्सरसाइज में आप वॉकिंग, स्विमिंग और स्ट्रेंथ ट्रेनिंग कर सकती हैं।
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अच्छी डाइट फॉलो करें
एंडोमेट्रियोसिस के कारण बॉडी में हार्मोनल इंबैलेंस हो सकता है। ऐसे में आपको हेल्दी और अच्छी डाइट ही फॉलो करनी चाहिए। एंडोमेट्रियोसिस में वजन कम करने के लिए लो कैलोरी फूड लें, प्रोटीन डाइट में शामिल करें और शुगर युक्त स्नैक्स खाने से बचें। ध्यान रखें कि शुगर बेस्ड प्रोडक्ट आपकी कंडीशन को खराब कर सकते हैं।
स्ट्रेस मैनेज करें
विशेषज्ञों की मानें, तो वजन बढ़ने के पीछे स्ट्रेस का बहुत बड़ा योगदान होता है। वहीं, अगर किसी महिला को एंडोमेट्रियोसिस है और वह अक्सर तनाव में रहती है, तो वेट गेन होने की संभावना काफी बढ़ जाती है। इसे कंट्रोल करने के लिए आवश्यक है कि आप स्ट्रेस को मैनेज करें। रात के समय पर्याप्त नींद लें और हेल्दी लाइफस्टाइल को फॉलो करें।
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