
Black Jaggery And Diabetes: डायबिटीज में मीठा खाना बिल्कुल सही नहीं है। इससे ब्लड शुगर स्पाइक कर सकता है और सेहत पर बुरा असर पड़ सकता है। ध्यान रखें कि ब्लड शुगर बार-बार फ्लक्चुएट होने की वजह से ब्लड वेसल्स कमजोर हो सकती हैं, जिससे ब्लड फ्लो पर नेगेटिव असर पड़ता है। ऐसे में डायबिटीज के मरीज मीठे के अन्य विकल्प तलाशते हैं। इसमें ज्यादातर नेचुरल प्रोडक्ट का यूज किया जाता है। डायबिटीज के कई मरीज काला गुड़ खाना पसंद करते हैं। ऐसे में सवाल उठता है कि क्या डायबिटीज के मरीजों के लिए काला गुड़ फायदेमंद है? आइए, जानते हैं Divya Gandhi's Diet & Nutrition Clinic की डायटिशियन और न्यूट्रिशनिस्ट दिव्या गांधी की क्या राय है?
क्या डायबिटीज के मरीजों के लिए काला गुड़ फायदेमंद है?- Can Diabetics Eat Black Jaggery
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काले गुड़ में मिनरल्स, एंटीऑक्सीडेंट्स पाए जाते हैं। इसलिए, इसका सेवन करने से इम्यूनिटी बूस्ट होती है और यह बॉडी में एनर्जी के स्तर को भी मेंटेन करने के लिए जाना जाता है। जहां तक सवाल इस बात का है कि क्या डायबिटीज के मरीज काले गुड़ का सेवन कर सकते हैं? Freedom From Diabetes में प्रकाशित एक लेख से पता चलता है, "डायबिटीज के मरीजों के लिए काला गुड़ खाना फायदेमंद नहीं है। ऐसा इसलिए, क्योंकि यह शुगर का ही एक फॉर्म है। इसका सेवन करने से ब्लड शुगर का स्तर तेजी से स्पाइक कर सकता है, जो कि डायबिटीज के मरीजों के लिए सही नहीं है।"
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डायबिटीज में काला गुड़ खाने के नुकसान- Side Effects Of Eating Black Jaggery In Diabetes

हाई ग्लाइसेमिक इंडेक्स (GI)
विशेषज्ञों की मानें, तो काले गुड़ का ग्लाइसेमिक इंडेक्स काफी ज्यादा होता है। डायबिटीज के रोगियों को ऐसे किसी चीज का सेवन नहीं करना चाहिए, जिसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स हाई होता है। इससे ब्लड शुगर का स्तर स्पाइक कर जाता है। काले गुड़ का सेवन करने से ब्लड शुगर के स्तर को मैनेज करना भी मुश्किल हो जाता है।
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हाई शुगर और कैलोरी कंटेंट
काले गुड़ में व्हाइट चीनी जितना ही शुगर और कैलोरी कंटेंट होता है। इसका मतलब है कि अगर कोई डायबिटीज का मरीज चीन को रिप्लसे करके काले गुड़ को अपनी डाइट का हिस्सा बना रहा है, तो यह सही नहीं है। उनकी डाइट में शुगर कंटेंट तब भी बना हुआ है। लगातार इस तरह की चीजों का सेवन करना डायबिटीज के रोगियों के लिए सही नहीं है।
पोषक तत्वों की कमी
वैसे तो काले गुड़ में कई तरह के पोषक तत्व होते हैं, लेकिन इसकी मात्रा बहुत कम होती है। इसमें आयरन और मैग्नीशियम जैसे जरूरी न्यूट्रिएंट्स काफी कम पोर्शन में पाए जाते हैं। अगर किसी को इन पोषक तत्वों को अपनी डाइट का हिस्सा बनाना है, तो बेहतर है कि आप सब्जियां और फलों को अपनी रेगुलर डाइट का हिस्सा बनाइए।
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निष्कर्ष
कुल मिलाकर, कहने का मतलब यह है कि डायबिटीज के मरीजों के लिए काले गुड़ का सेवन किया जाना लाभकारी नहीं है। इसके बजाय, मीठ के लिए अन्य विकल्पों को चुनना चाहिए। इससे उनकी सेहत पर बुरा असर पड़ सकता है, ब्लड शुगर का स्तर बढ़ सकता है और यह डायबिटीज के मरीजों के लिए सही नहीं है। यही नहीं, काला गुड़ खाने के बाद अपनी ब्लड शुगर के स्तर को नजदीक से मॉनिट करें। बेहतर होगा कि इसे अपनी बैलेंस्ड डाइट का हिस्सा बनाने से पहले एक्सपर्ट से सलाह ले लें।
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FAQ
मधुमेह रोगियों के लिए कौन सा गुड़ सबसे अच्छा है?
मधुमेह के रोगियों को ऐसे गुड़ को अपनी डाइट का हिस्सा बनाना चाहिए, जिसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है। ताड़ के गुड़ का ग्लाइसेमिक इंडेक्स (जीआई) 35, नॉर्मल चीनी के ग्लाइसेमिक इंडेक्स (जीआई) 65 से काफ़ी कम है। इसका मतलब है कि ताड़ का गुड़ मधुमेह के रोगियों के लिए ज्यादा लाभकारी है।शुगर को जड़ से खत्म करने के लिए क्या खाना चाहिए?
ब्लड शुगर की समस्या को जड़ से खत्म नहीं किया जा सकता है। हां, इसे मैनेज किया जा सकता है। इसके लिए आप अच्छी डाइट लें और रेगुलर एक्सरसाइज करें।खजूर के गुड़ का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कितना होता है?
खजूर के गुड़ का ग्लाइसेमिक इंडेक्स 41 होता है। इसका मतलब है कि डायबिटीज के रोगी भी इसका सेवन कर सकते हैं।
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Nov 04, 2025 12:13 IST
Published By : Meera Tagore