
सर्दियों में सुबह का कोहरा सेहत के लिए बड़ी मुसीबत बन सकता है, खासकर उन लोगों के लिए जिन्हें अस्थमा, एलर्जी, साइनस या सांस से जुड़ी कोई समस्या है। ठंड में तापमान गिरने से धूल और पराग के कण जमीन के आसपास मंडराने लगते हैं। यही कारण है कि सुबह की धुंध या फॉग में एलर्जी ट्रिगर्स और ज्यादा एक्टिव हो सकते हैं। जिन शहरों का एक्यूआई (Air Quality Index) खराब है वहां सांस के मरीजों को विशेष सावधानी बरतने की जरूरत है। इस लेख में हम आपको बताएंगे अस्थमा-एलर्जी के मरीजों के लिए 7 सावधानियां जिसे कोहरे या ठंड के दिनों में अपनाना चाहिए। इस विषय पर बेहतर जानकारी के लिए हमने Ayurveda Expert Dr. Shrey Sharma, Ramhans Charitable Hospital, Haryana से बात की।
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1. गर्म पानी और स्टीम का इस्तेमाल करें- Use Warm Water And Steam
फॉग और स्मॉग वाले दिनों में स्टीम लेना फायदेमंद होता है। स्टीम लेने से और गुनगुना पानी पीने से गले की सूजन दूर होती है और एयरवेज खुलते हैं। साथ ही गर्म पानी से स्नान करना भी ठंड के दिनों में फायदेमंद माना जाता है।Ayurveda Expert Dr. Shrey Sharma ने बताया कि अजवाइन और कपूर को पानी में डालकर भाप लेना फायदेमंद होता है, जिन लोगों को चेस्ट एलर्जी है वो इस उपाय की मदद ले सकते हैं।
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2. ब्रीदिंग एक्सरसाइज करें- Try Breathing Exercise
ठंड के दिनों में ब्रीदिंग एक्सरसाइज जैसे अनुलोम-विलोम करें। इससे शरीर में ऑक्सीजन फ्लो सुधारने में मदद मिलती है। Ayurveda Expert Dr. Shrey Sharma बताते हैं कि सर्दियों में हल्की एक्सरसाइज करना काफी है, बॉडी को रिलैक्स रखें और ज्यादा कठिन एक्सरसाइज करने से बचें। सर्दियों में इंडोर एक्टिविटीज और योग की मदद से शरीर को एक्टिव रख सकते हैं।
3. बाहर जाने से पहले मास्क पहनें- Wear Mask Before Going Out
- कोहरे या ठंडी हवा में बाहर जाने से पहले मास्क पहनें।
- धूल के महीन कण सीधे सांस में जाने से अस्थमा और एलर्जी के लक्षण बढ़ सकते हैं।
- बाहर जाते समय एन95 या अच्छी फिल्ट्रेशन वाला मास्क पहनें।
4. इनहेलर हमेशा साथ रखें- Keep Inhaler Handy

- सुबह-सवेरे या प्रदूषित हवा में सांस लेने पर अस्थमा के मरीजों को सांस फूलने जैसी समस्या हो सकती है।
- अस्थमा के मरीज इनहेलर को हमेशा साथ रखें।
- समय पर इनहेलर का इस्तेमाल करने से अस्थमा अटैक जैसी स्थिति से बचा जा सकता है।
5. हवा साफ न होने पर बाहर न जाएं- Stay Indoor If Air Quality Is Poor
- हवा का स्तर खराब होने पर बाहर न जाएं। खराब हवा में जाने से सांस की नलियां प्रभावित होती हैं।
- स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के मुताबिक, हवा में प्रदूषण के स्तर ज्यादा होने से आंख, नाक और गले की जलन, खांसी, सांस फूलने जैसी समस्याएं हो सकती हैं और अस्थमा या अन्य पुराने रोग बढ़ सकते हैं।
- संभव हो, तो खराब एक्यूआई होने पर घर में ही रहें, खासकर बच्चों और बुजुर्गों को सावधानी बरतनी चाहिए।
6. एयर प्यूरीफायर का इस्तेमाल करें- Use Air Purifier
- घर में एलर्जी या अस्थमा के मरीज हैं, तो एयर प्यूरीफायर का इस्तेमाल करें।
- एयर प्यूरीफायर की मदद से हवा में मौजूद धूल, परागकण, स्मॉग पार्टिकल्स कम हो जाते हैं।
7. इम्यूनिटी बढ़ाने वाले आहार खाएं- Eat Immunity Boosting Foods
इम्यूनिटी बढ़ाने के लिए विटामिन-सी युक्त आहार, गुनगुना पानी, तुलसी की चाय जैसे विकल्पों को डाइट में शामिल करें। हल्दी वाला दूध, नींबू-शहद वाले पानी का सेवन भी कर सकते हैं। इससे फेफड़ों को मजबूती मिलेगी और शरीर को गरमाहट मिलेगी।
निष्कर्ष:
अस्थमा-एलर्जी के मरीज सुबह कोहरे और ठंड से बचने के लिए इम्यूनिटी बूस्टिंग फूड्स खाएं, एयर प्यूरीफायर का इस्तेमाल करें, इनहेलर साथ रखें, मास्क पहनें, स्टीम लें। इन उपायों से आराम मिलेगा और कोहरे के बुरे प्रभाव से बच सकेंगे।
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FAQ
सर्दियों में सांस क्यों फूलती है?
ठंड में हवा शुष्क और प्रदूषण ज्यादा हो जाता है, जिससे एयरवेज सिकुड़ जाते हैं। कोहरे, स्मॉग और नमी के कारण एलर्जी ट्रिगर्स एक्टिव हो जाते हैं। इन कारणों से फेफड़ों पर दबाव बढ़कर सांस फूलने लगती है।ठंड के मौसम में अस्थमा के लक्षणों को कैसे कंट्रोल करें?
ठंडी हवा से बचें, बाहर निकलते समय एन95 मास्क पहनें, इनहेलर का इस्तेमाल करें और स्टीम करें। गुनगुना पानी पीना और स्टीम लेना फायदेमंद होता है।सांस फूलना किसका संकेत है?
सांस फूलना फेफड़ों की समस्या, अस्थमा, हार्ट रोग, एलर्जी आदि का संकेत हो सकता है। लगातार लक्षण बढ़ने पर तुरंत जांच करानी चाहिए।
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Nov 14, 2025 13:23 IST
Published By : Yashaswi Mathur