What Is Pelvic Floor Pain In Hindi: पेल्विक फ्लोर पेन उस दर्द को कहते हैं, जो लोअर एब्डमन या पेल्विस एरिया में होता है। आमतौर पर लोग पेल्विक फ्लोर पेन को महिलाओं से जोड़कर देखते हैं। उन्हें लगता है कि प्रेग्नेंसी, बच्चे को जन्म देना और पीरियड्स के साथ पेल्विक फ्लोर पेन होता है। आपको बता दें कि ऐसा नहीं है। पेल्विक फ्लोर पेन महिला और पुरुष दोनों को हो सकता है। यही नहीं, इस तरह का दर्द होना बिल्कुल सामान्य (Is Pelvic Floor Pain Normal In Hindi) होता है। क्योंकि पेल्विक फ्लोर पेन कई तरह के कारणों से होता है। इस लेख में हम जानेंगे कि पेल्विक फ्लोर पेन किन-किन कारणों से होता है। इस बारे में हमने वृंदावन और नई दिल्ली स्थित मदर्स लैप आईवीएफ सेंटर की चिकित्सा निदेशक, स्त्री रोग और आईवीएफ विशेषज्ञ डॉ. शोभा गुप्ता से बात की।
पेल्विक फ्लोर पेन के कारण- Causes Of Pelvic Floor Pain In Hindi
डॉक्टर की मानें, तो पेल्विक फ्लोर पेन बिल्कुल सामान्य है। ऐसा किसी के साथ भी हो सकता है। यह किसी अन्य बीमारी का लक्षण हो सकता है। जानते हैं इनके बारे में विस्तार से-
पेल्विक फ्लोर डिस्ऑर्डर
पेल्विक फ्लोर डिस्ऑर्डर के कारण पेल्विक फ्लोर पेन हो सकता है। पेल्विक फ्लोर डिस्ऑर्डर अपने आपमें कई तरह की असुविधा की वजह हो सकता है। जब किसी को पेल्विक फ्लोर डिस्ऑर्डर होता है, तो इसके पीछे भी कई कारण जिम्मेदार हो सकते हैं, जैसे पेशाब से जुड़ी समस्या या मल त्याग प्रक्रिया में दिक्कत आना। इसके अलावा, पेल्विक मसल्स और प्रेग्नेंसी की वजह से भी पेल्विक फ्लोर पेन हो सकता है।
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यूटरिन फाइब्रॉएड
यूटरिन फाइब्रॉएड, बच्चेदानी में गांठ को कहते हैं। वैसे तो यह नॉन-कैंसेरियस होते हैं। लेकिन, इसकी वजह से महिला को कई तरह की समस्याएं होने लगती हैं। इसमें पीरियड्स के दौरान दर्द होना, बार-बार पेशाब आना और पीठ के निचले हिस्से में बहुत ज्यादा दर्द होना शामिल है। यूटरिन फाइब्रॉएड की वजह से पेल्विक फ्लोर पेन भी हो सकता है।
पीरियड्स पेन
पीरियड्स से जुड़ी तरह-तरह की समस्याएं होती हैं। हर महिला अलग-अलग तरह की परेशानी से जूझती है। जैसे किसी को पीरियड्स के दौरान पेट दर्द होता है, तो किसी पीठ दर्द और कोई मूड स्विंग से परेशान रहता है। विशेषज्ञों की मानें, तो मेंस्ट्रुअल पेन के कारण पेल्विक फ्लोर पेन भी होता है। इस तरह की समस्या पीरियड्स के शुरुआती दिनों में देखने को मिलती है। जैसे-जैसे पीरियड्स खत्म हो जाते हैं, समस्या भी पूरी तरह खत्म हो जाती है।
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सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज
सेक्शुअल ट्रांसमिटेड डिजीज यानी एसटीडी अपने आप में गंभीर बीमारी है। इसके अंतर्गत कई तरह के डिजीज आते हैं, जैसे क्लैमाइडिया और गोनोरिया। ये बीमारियां पुरुष और महिला किसी को भी हो सकती है। अगर किसी को एसटीडी के लक्षण, जैसे दर्द, डिस्चार्ज होना, बॉडी में छाले या रैशेज होना नजर आएं, तो उन्हें तुरंत अपना इलाज करवाना चाहिए। एसटीडी होने पर कई बार पेल्विक फ्लोर पेन भी होने लगता है। इस तरह की स्थिति को जरा भी हल्के में न लें।
यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन
यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन यानी यूटीआई भी पेल्विक फ्लोर पेन का कारण बनता है। ऐसा खासकर, पेल्विस एरिया के बीचोंबीच होता है। यूटीआई होने पर कई अन्य लक्षण भी नजर आते हैं, जैसे पेशाब से दुर्गंध आना, खून आना, बार-बार पेशाब आना और हर समय असहज महसूस करना। इस तरह की स्थिति होने पर पेशाब करते हुए जलन और दर्द भी हो सकता है। वैसे तो यूटीआई जैसी समस्या महिलाओं को अधिक होती है। लेकिन, इसका मतलब यह नहीं है कि पुरुषों को यह समस्या नहीं हो सकती है। जरूरी है कि दोनों यूटीआई के संदर्भ में सावधानी बरतें।