
uric acid high in pregnancy in hindi: अक्सर लोग हाई यूरिक एसिड की समस्या से परेशान रहते हैं, जो एक आम समस्या है। इसके कारण लोगों को जोड़ों में दर्द होने, थकान होने, कमजोरी होने, मतली जैसा महसूस होने, पेशाब में बदबू आने और बार-बार पेशाब आने जैसी कई समस्याएं होती हैं, लेकिन ये समस्या महिलाओं को प्रेग्नेंसी के दौरान भी हो सकती है, जिसके कारण महिलाओं को कई परेशानी हो सकती हैं। ऐसे में आइए जयपुर के सी के बिरला हॉस्पिटल्स के ऑब्सटेट्रिक्स एंड गायनेकोलॉजी की सीनियर कंसल्टेंट के डॉ. नम्रता गुप्ता (Dr. Namrata Gupta, Senior Consultant, Obstetrics & Gynaecology, CK Birla Hospitals, jaipur) से जानें गर्भावस्था में हाई यूरिक एसिड का क्या कारण है?
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प्रेग्नेंसी में हाई यूरिक एसिड क्यों होता है? - pregnancy mein high uric acid kyu badhta hai?
डॉ. नम्रता गुप्ता के अनुसार, यूरिक एसिड एक नेचुरल वेस्ट सब्सटेंस है, जो तब बनता है जब हमारा शरीर प्यूरीन को तोड़ता है, जो कुछ खास खाने की चीजों और शरीर के नॉर्मल प्रोसेस से आते हैं। आम हालात में, किडनी यूरिक एसिड को फिल्टर करके यूरिन के जरिए शरीर से बाहर निकाल देती है, लेकिन, जब शरीर बहुत ज्यादा यूरिक एसिड बनाता है या किडनी इसे ठीक से नहीं निकाल पाती है, तो खून में इसका स्तर बढ़ जाता है।
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डॉ. नम्रता गुप्ता बताती हैं कि हाई यूरिक एसिड कभी-कभी सूजन आने, बेचैनी होने या जोड़ों में दर्द होने का कारण बन सकता है और प्रेग्नेंसी के दौरान यह शरीर पर स्ट्रेस के शुरुआती संकेतों के तौर पर काम कर सकता है, खासकर हाई ब्लड प्रेशर या प्री-एक्लेमप्सिया जैसी कंडीशन में। आसान शब्दों में, यह शरीर का हमें यह बताने का तरीका है कि किसी चीज पर ज्यादा ध्यान देने की जरूरत है।

प्रेग्नेंसी के दौरान हाई यूरिक एसिड बढ़ने के क्या कारण हैं? - pregnancy mein high uric acid hone ke kya karan hai?
डॉ. नम्रता गुप्ता के अनुसार, प्रेग्नेंसी एक महिला के शरीर को बहुत तरीके से बदल देती है और इनमें से कुछ बदलाव नेचुरल यूरिक एसिड लेवल पर असर डाल सकते हैं। इसके कई कारण हो सकते हैं।
किडनी के कार्यों में बदलाव के कारण
प्रेग्नेंसी के शुरुआत में किडनी तेजी से काम करती है, जिससे अक्सर यूरिक एसिड कम होता है, लेकिन बाद के स्टेज में, उनका फिल्ट्रेशन थोड़ा कम हो सकता है, जिससे यूरिक एसिड का स्तर बढ़ सकता है। बता दे, इस दौरान किडनी के कार्यों में बदलाव होने (Changes in kidney function) के कारण महिलाओं को हाई यूरिक एसिड होने की समस्या हो सकती है।
हार्मोन्स में बदलाव के कारण (Hormonal changes)
प्रेग्नेंसी के हार्मोन लिक्विड, नमक और मेटाबॉलिज्म को रेगुलेट करते हैं। ये बदलाव इस बात पर असर डालकर सकते हैं कि शरीर यूरिक एसिड को कितने असरदार तरीके से प्रोसेस करता है और निकालता है।
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सेल ब्रेकडाउन में बढ़ोतरी (Increased cell breakdown)
प्रेग्नेंसी के दौरान गर्भ में बढ़ते बच्चे और मां के बढ़े हुए मेटाबॉलिज्म के साथ, शरीर ज्यादा प्यूरीन बनाता है। इससे यूरिक एसिड का स्तर धीरे-धीरे ऊपर जा सकता है।
डिहाइड्रेशन की समस्या
प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं के पर्याप्त पानी न पीने के कारण शरीर में डिहाइड्रेशन (Dehydration) यानी पानी की कमी होती है, जिससे खून में यूरिक एसिड जमा हो जाता है, जिससे यूरिक एसिड का स्तर ज्यादा दिखता है।
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खाने के तरीका (Eating habits)
अक्सर रेड मीट, सी-फूड, ऑर्गन मीट, पैकेज्ड जूस या मीठे ड्रिंक्स पीने से यूरिक एसिड का स्तर बढ़ जाता है। ऐसे में प्रेग्नेंसी के दौरान हाई यूरिक एसिड का स्तर बढ़ने से रोकने के लिए इन फूड्स को खाने से बचें। इसके अलावा, अधिक मसालेदार फूड्स खाने से भी बचें।
मेडिकल कंडीशन के कारण
प्रेग्नेंसी के दौरान महिलओं को होने वाली जेस्टेशनल हाइपरटेंशन (gestational hypertension), मोटापा (obesity), इंसुलिन रेजिस्टेंस (insulin resistance) या प्री-एक्लेमप्सिया (pre-eclampsia) जैसी दिक्कतें यूरिक एसिड को काफी बढ़ा सकती हैं।
प्रेग्नेंसी में हाई यूरिक एसिड को कैसे रोका जा सकता है? - pregnancy mein high uric ko kaise roka ja sakta hai?
- अच्छी तरह हाइड्रेट रहें: यूरिक एसिड के स्तर को कम करने करने के लिए दिनभर में पर्याप्त पानी पिएं ताकि किडनी वेस्ट को आसानी से बाहर निकाला जा सके।
- बैलेंस्ड प्लेट चुनें: प्रेग्नेंसी के दौरान यूरिक एसिड को नियंत्रित रखने के लिए फल, सब्जियां और साबुत अनाज को शामिल करें, साथ ही प्रोटीन के इनटेक को सीमित करें।
- हाई-प्यूरीन फूड्स कम करें: प्रेग्नेंसी में यूरिक एसिड की समस्या से बचने के लिए रेड मीट, ऑर्गन मीट और मीठी ड्रिंक्स जैसे हाई-प्यूरीन फूड्स को कम करें।
- हेल्दी वेट मेंटेन करें: प्रेग्नेंसी के दौरन यूरिक एसिड जैसी समस्याओं से बचने के लिए मेडिकल सुपरविजन में हेल्दी प्रेग्नेंसी वेट बनाए रखें।
- रेगुलर चेकअप कराएं: इससे बचने के लिए नियमित रूप से चेकअप के जरिए ब्लड प्रेशर पर नजर रखें।
- सभी एंटीनेटल विजिट में शामिल हों, जो यूरिक एसिड और ओवरऑल वेल-बीइंग को मॉनिटर करने में मदद करते हैं।
निष्कर्ष
प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं को किडनी की कार्यों में परेशानी होने, हार्मोन्स में बदलाव आने, सेल ब्रेनडाउन में बढ़ोतरी होने, डिहाइड्रेशन, खाने के तरीके और मेडिकल कंडीशन के कारण यूरिक एसिड के बढ़ने की समस्याएं होती हैं। ऐसे में इससे बचने के लिए हेल्दी लाइफस्टाइल को फॉलो करते हुए डॉक्टर से सलाह जरूर लें।
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FAQ
यूरिक एसिड बढ़ने से शरीर में क्या दिक्कत आती है?
शरीर में यूरिक एसिड का स्तर बढ़ने के कारण लोगों को जोड़ों में दर्द होने, सूजन आने, किडनी में पथरी, मतली होने, जोड़ों में जकड़न होने, स्किन के लाल होने, बार-बार यूरिन आने और पेशाब में बदबू आने जैसी समस्याओं का सामना करना पड़ता है।प्रेग्नेंट महिला को सबसे ज्यादा क्या खाना चाहिए?
प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं को फल, हरी पत्तेदार सब्जियों, डेयरी प्रोडक्ट्स, साबुत अनाज, मौसमी सब्जियां, दालें और ड्राई फ्रूट्स को डाइट में शामिल करें। इसके अलावा, प्रेग्नेंसी के दौरान शरीर को हाइड्रेट रखने के लिए पर्याप्त पानी पिएं।यूरिक एसिड को कम करने के लिए क्या खाना चाहिए?
शरीर में यूरिक एसिड के स्तर को कम करने के लिए डाइट में स्ट्रॉबेरी, खट्टे फल और चेरी जैसे फलों, गाजर, खीरा और ब्रोकली जैसी सब्जियों और साबुत अनाज को डाइट में शामिल किया जा सकता है, साथ ही, दिनभर में पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं, जिससे शरीर के टॉक्सिन्स को बाहर निकालने में मदद मिलती है।
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Nov 26, 2025 15:58 IST
Published By : Priyanka Sharma