प्रेग्नेंसी हर महिला के लिए चैलेंजिंग सफर होता है। प्रेग्नेंसी के 9 महीने के सफर में हार्मोनल बदलावों की वजह से महिलाओं के जीवन में कई चुनौतियां आती हैं। विशेषकर प्रेग्नेंसी का आखिरी महीना हर कपल के लिए भावनात्मक और शारीरिक रूप से चुनौतीपूर्ण समय होता है। प्रेग्नेंसी के आखिरी 3 महीने सिर्फ एक मां के लिए नहीं बल्कि एक पिता और पति के लिहाज से भी जिम्मेदारी वाला होता है। इस दौरान एक पति का अपनी पत्नी के प्रति सहायक और संवेदनशील होना बेहद जरूरी है।
इस समय अनजाने में की गई गलतियां तनाव और परेशानी का कारण बन सकती हैं। जिसकी वजह से होने वाली मां और गर्भस्थ शिशु को नुकसान पहुंच सकता है। आज इस आर्टिकल में हम आपको 4 ऐसी गलतियों के बारे में बताने जा रहे हैं।
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प्रेग्नेंसी के दौरान पतियों को क्या नहीं करना चाहिए?- What should husbands not do during pregnancy?
लखनऊ के गोमतीनगर स्थित आनंद केयर क्लीनिक के बाल एवं शिशु रोग विशेषज्ञ डॉ. तरुण आनंद का कहना है कि प्रेग्नेंसी के आखिरी 3 महीने में एक पति होने के नाते इन 3 गलतियों को करने से बचना चाहिए। इस विषय पर डॉ. तरुण ने इंस्टाग्राम पर एक वीडियो भी शेयर किया है।
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1. पत्नी की भावनाओं को नजरअंदाज करना
प्रेग्नेंसी के आखिरी 3 महीनों में हार्मोनल बदलाव तेजी से होते हैं। इसके कारण बार-बार मूड बदलना, चिड़चिड़ापन, गुस्सा आना जैसी समस्याएं देखी जाती हैं। हार्मोन में बदलाव होने के कारण महिलाओं में भावुकता भी देखी जाती है। अगर आपकी पत्नी भावुक या निराश महसूस कर रही है, तो उसे अनदेखा न करें। धैर्य और सहानुभूति के साथ पत्नी की बातों को सुनें। कभी-कभी, उसे बस अपनी भावनाओं को व्यक्त करने की जरूरत होती है, ताकि वह मानसिक तौर पर अच्छा महसूस कर सके।
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2. घर की जिम्मेदारियों को नजरअंदाज न करें
प्रेग्नेंसी के आखिरी 3 महीने शारीरिक और मानसिक तौर पर थका देने वाले होते हैं। इस दौरान एक पति होने के नाते आपका फर्ज बनता है कि आप घर के कामों की जिम्मेदारी में हाथ बंटाए। प्रेग्नेंसी के आखिरी महीने में पत्नी के साथ खाना बनाने, बर्तन धोने और सफाई करने में मदद करें। पत्नी को ज्यादा झुकने या भारी सामान उठाने से बचाएं। आखिरी महीनों में पत्नी के आराम के लिए एक शांत और सुकून भरा माहौल तैयार करें।
3. अनचाही सलाह न दें
प्रेग्नेंसी के दौरान एक महिला चारों तरफ से क्या न करें और क्या करें की हजारों सलाह मिलती है। अगर पत्नी को पहले से ही हर किसी से काफी सलाह मिल रही है, तो उसे यह बताने के बजाय कि उसे क्या करना है, यह पूछने पर ध्यान दें कि आप कैसे मदद कर सकते हैं या उसे क्या चाहिए। आखिरी 3 महीनों में सुनिश्चित करें कि पत्नी सही समय पर खाना खाए और पोषण से भरपूर आहार ले। डॉक्टर द्वारा दी गई हर सलाह को गंभीरता से लें और दवाइयों का भी ध्यान रखें।
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4. पति को ध्यान में रखे बिना योजना बनाने से बचें
प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाएं ज्यादा लंबे सफर से बचना चाहती हैं। ऐसे में कहीं भी बाहर जाने की प्लानिंग करने से पहले उनसे बात करें। किसी भी चीज की प्लानिंग करने से पहले हमेशा उससे पूछें, और अगर वह इसके लिए तैयार न हो तो, आप उसे करने से बचें।
इन सबके अलावा पति होने के नाते डिलीवरी के लिए अस्पताल का बैग तैयार रखने की जिम्मेदारी भी अपने कंधों पर ही रखें। इस बैग में कपड़े, मेडिकल रिपोर्ट्स और बच्चों के कपड़े तैयार करें। प्रेग्नेंसी के दौरान प्यार और प्रशंसा के छोटे-छोटे इशारे बहुत काम आते है। ऐसे में उनका पसंदीदा नाश्ता देकर सरप्राइज करें, उसे गर्म पानी से नहलाए या उसके पैरों की मालिश करें। प्रेग्नेंसी के दौरान पति की देखभाल पत्नी के लिए बहुत जरूरी होती है और यह आपका फर्ज भी है।
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निष्कर्ष
प्रेग्नेंसी के आखिरी 3 महीने हर महिला के नाजुक और महत्वपूर्ण होते हैं। इसलिए एक पति का सहयोग और समझदारी मां और बच्चे के स्वास्थ्य के लिए अनिवार्य है। मां और होने वाला बच्चा खुश रहे, इसके लिए घर में खुशहाली का माहौल तैयार करें।