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स्वस्थ रहने के लिए अपनाएं Mira Rajput के ये 3 आयुर्वेदिक टिप्स

मीरा राजपूत ने इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट शेयर कर स्वस्थ रहने के 3 आयुर्वेदिक नियम बताए है। आइए जानते हैं इन नियमों के बारे में-
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स्वस्थ रहने के लिए अपनाएं Mira Rajput के ये 3 आयुर्वेदिक टिप्स


बॉलीवुड एक्टर शाहिद कपूर की पत्नी मीरा राजपूत अपनी खूबसूरती और फिटनेस को लेकर सुर्खियों में बनी रहती हैं। मीरा राजपूत एक हेल्दी लाइफस्टाइल जीना पसंद करती हैं और अपने सोशल मीडिया पर लोगों के साथ एक स्वस्थ जीवनशैली जीने के तरीकों को भी शेयर करती हैं। हाल ही में मीरा राजपूत ने इंस्टाग्राम पर एक पोस्ट शेयर कर स्वस्थ रहने के 3 आयुर्वेदिक नियम बताए है। उनका मानना है कि इन नियमों का पालन करने से व्यक्ति स्वस्थ रहता है और बीमारियां उनसे दूर रहती हैं। पहला नियम, सूर्य के साथ भोजन करना, दूसरा अपने शरीर के दोष को जानना और तीसरा अभ्यंग है। ऐसे में हमने मीरा राजपूत के बताए इन आयुर्वेदिक टिप्स के फायदों के बारे में ज्यादा जानकारी के लिए नोएडा के सेक्टर-12 में स्थित, अर्चित आयुर्वेदिक क्लिनिक के डॉ. अनंत त्रिपाठी से बातचीत की-

मीरा राजपूत के आयुर्वेदिक लाइफस्टाइल के फायदे

किसी भी व्यक्ति के स्वस्थ रहने के लिए लाइफस्टाइल में हेल्दी बदलाव करना और एक स्वस्थ जीवनशैली जीना बहुत जरूरी है। ऐसे में आइए जानते हैं मीरा राजपूत के द्वारा बताए गए इन आयुर्वेदिक लाइफस्टाइल के फायदों के बारे में-

1. सूर्य के साथ भोजन करें 

सूर्य के साथ भोजन करना आपके सेहत के लिए काफी फायदेमंद होता है। आयुर्वेदिक डॉ. अनंत त्रिपाठी के अनुसार हमारा पाचन तंत्र सूरज की ऊर्जा से जुड़ा होता है। जैसे-जैसे दिन चढ़ता रहता है, वैसे-वैसे हमारी पाचन शक्ति भी बढ़ती रहती है और दोपहर के समय यह पाचन सबसे ज्यादा एक्टिव होता है। इसलिए, आप सुबह का नाश्ता हल्का और आसानी से पचने वाला करें, दोपहर का खाना सबसे हैवी और पौष्टिक होना चाहिए और रात का खाना सूर्यास्त से पहले करने की कोशिश करनी चाहिए। इससे शरीर में टॉक्सिक पदार्थ जमा नहीं होता है और नींद भी अच्छी (jaldi khana khane ke fayde) आती है।

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2. शरीर के दोष को जानें

मारी राजपूत का कहना है कि आयुर्वेद के अनुसार किसी भी व्यक्ति के स्वस्थ रहने के लिए जरूरी है कि उसका शरीर वात, कफ और पित्त प्रधान में से क्या (dosha ki pehchan kaise kare) है। यह आपको आपके शरीर के काम करने के तरीके के बारे में बताने में मदद करता है और आप अपने शरीर के दोष को संतुलित करने के लिए क्या कर सकते हैं यह भी बताता है।

आयुर्वेदिक डॉ. अनंत त्रिपाठी के अनुसार, वात प्रधान वाले व्यक्ति आमतौर पर पतले, चंचल और रचनात्मक होते हैं, पर जल्दी थक जाते हैं और ठंड सह नहीं पाते हैं। पित्त प्रधान वाले लोग तेज और बुद्धिमान होते हैं। लेकिन, इन्हें गुस्सा जल्दी आता है और इनका पाचन मजबूत होता है। जबकि कफ प्रधान वाले लोग शांत, स्थिर और सहनशील होते हैं, लेकिन इन लोगों में मोटापा और सुस्ती ज्यादा रहती है। ऐसे में जब आप यह जान जाते हैं कि आपका शरीर किस प्रकृति का है तो आप अपने खान-पान, व्यायाम और दिनचर्या को उसी के हिसाब से ढाल सकते हैं।

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3. अभ्यंग

मीरा राजपूत ने बताया कि अभ्यंग यानी तेल मालिश से ज्यादा आपके शरीर के लिए कुछ भी पौष्टिक नहीं है। स्वस्थ रहने के लिए आपको अपने शरीर को अंदर और बाहर से गर्म और नम रखना जरूरी है। अगर आप इसे अपने पूरे शरीर पर नहीं कर सकते हैं तो घुटनों, कोहनियों और पैरों के तलवों में जरूर करना चाहिए।

डॉ. अनंत त्रिपाठी बताते हैं कि अभ्यंग यानी तेल से मालिश न सिर्फ आपकी स्किन को हाइड्रेट (sharir ki malish ke fayde) रखने में मदद करता है, बल्कि शरीर को अंदर से गर्म और संतुलित रखने का काम करता है। रोजाना नहाने से पहले तिल या नारियल तेल से पूरे शरीर की मालिश करने से शरीर का ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है, तनाव कम होता है और शरीर में लचीलापन बढ़ता है।

निष्कर्ष

स्वस्थ रहने के लिए आप मीरा राजपूत के इन आयुर्वेदिक टिप्स को फॉलो कर सकते हैं, जो न सिर्फ आपको स्वस्थ रहने में मदद कर सकते हैं, बल्कि कई बीमारियों से बचाव करने में भी फायदेमंद हैं। 

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