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क्या ज्यादा नींद आना लिवर या शुगर की बीमारी का संकेत हो सकता है? जानें डॉक्टर की राय

आज की तेज रफ्तार जिंदगी और तनाव भरी दिनचर्या में थकावट महसूस होना आम है। लेकिन ज्यादा सोना भी सेहत के लिए सही नहीं होता है। यहां जानिए, क्या ज्यादा नींद आना लिवर या शुगर की बीमारी का संकेत हो सकता है?
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क्या ज्यादा नींद आना लिवर या शुगर की बीमारी का संकेत हो सकता है? जानें डॉक्टर की राय


आज के समय में बदलती लाइफस्टाइल, असंतुलित खानपान और अनियमित दिनचर्या का असर लोगों की नींद पर भी साफ दिखता है। एक ओर जहां कुछ लोग नींद की कमी से जूझ रहे हैं, वहीं दूसरी ओर कई लोगों को दिनभर ज्यादा नींद आती रहती है। ऑफिस में, घर पर या चलते-फिरते भी आंखें भारी लगना, सुस्ती छाई रहना और काम में मन न लगना, ये सभी लक्षण सामान्य थकान के नहीं बल्कि शरीर में किसी छिपी हुई गंभीर बीमारी के संकेत हो सकते हैं। अगर आपको 7-8 घंटे की पर्याप्त नींद के बावजूद दिनभर बार-बार नींद आती है या थकावट महसूस होती है, तो यह किसी आंतरिक स्वास्थ्य समस्या का लक्षण हो सकता है। इस लेख में धर्मशिला नारायण सुपरस्पेशलिटी अस्पताल दिल्ली के वरिष्ठ कंसल्टेंट, डॉ. कपिल कुमार (Dr. Kapil Kumar, Senior Consultant, Dharamshila Narayana Superspeciality Hospital, Delhi) से जानिए, क्या ज्यादा नींद आना लिवर या शुगर की बीमारी का संकेत हो सकता है?

क्या ज्यादा नींद आना लिवर या शुगर की बीमारी का संकेत हो सकता है? - Excessive Sleep Liver Or Diabetes Sign

नींद हमारे शरीर को आराम देने, मानसिक और शारीरिक एनर्जी को वापस प्राप्त करने का माध्यम है। आमतौर पर 7-8 घंटे की नींद पर्याप्त होती है, लेकिन अगर दिन में बार-बार अत्यधिक नींद आने लगे, दिनभर थकान महसूस हो, तो यह शरीर में किसी गड़बड़ी का संकेत हो सकता है। इसे 'हाइपर्सोम्निया' भी कहते हैं, जिसका अर्थ है सामान्य से ज्यादा नींद आना।

लिवर की समस्या और ज्यादा नींद

लिवर शरीर का एक महत्वपूर्ण अंग है, जो विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालता है, पाचन में मदद करता है और एनर्जी प्रदान करता है। जब लिवर ठीक से काम नहीं करता, जैसे कि लिवर सिरोसिस, हेपेटाइटिस या फैटी लिवर डिजीज में, तो शरीर में कई तरह की समस्याएं शुरू हो जाती हैं।

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1. फैटी लिवर और थकान

लिवर का काम शरीर से विषैले तत्वों को निकालना, एनर्जी को कंट्रोल करना और पाचन में मदद करना है। यदि लिवर में फैट जमा हो जाए, तो यह थकान और नींद का कारण बन सकता है। इस स्थिति में शरीर सुस्त हो जाता है और व्यक्ति को हर समय नींद महसूस होती है।

2. हेपेटाइटिस

हेपेटाइटिस B और C जैसी वायरल बीमारियां लिवर को कमजोर कर देती हैं, जिससे शरीर की एनर्जी कम हो जाती है। इससे व्यक्ति को हमेशा थका-थका सा महसूस होता है और काम करने में रुचि नहीं रहती।

3. लिवर सिरोसिस

जब लिवर में सिरोसिस हो जाता है, तो वह शरीर से टॉक्सिन्स को सही तरह से बाहर नहीं निकाल पाता। इन टॉक्सिन के कारण अत्यधिक नींद आना, कन्फ्यूजन और रिएक्शन में देरी जैसी समस्याएं भी हो सकती हैं।

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excessive sleepiness reason

डायबिटीज और नींद का संबंध

1. हाई ब्लड शुगर और थकान

अगर किसी व्यक्ति की ब्लड शुगर लगातार बढ़ी रहती है, तो शरीर की कोशिकाएं एनर्जी के लिए ग्लूकोज का उपयोग नहीं कर पातीं। इससे व्यक्ति कमजोर और थका हुआ महसूस करता है। जिससे नींद की इच्छा ज्यादा हो सकती है।

2. हाइपोग्लाइसीमिया (लो शुगर)

जब शुगर लेवल बहुत गिर जाता है तो मस्तिष्क को पर्याप्त एनर्जी नहीं मिलती, जिससे चक्कर, कमजोरी और नींद आने लगती है। यह स्थिति डायबिटीज के इलाज के दौरान भी हो सकती है।

3. डायबेटिक नर्व डैमेज

पुरानी डायबिटीज से नसें प्रभावित होती हैं (न्यूरोपैथी), जिससे नींद के पैटर्न बिगड़ सकते हैं। कुछ लोगों को रात में नींद नहीं आती, जबकि कुछ को दिनभर नींद आती रहती है।

निष्कर्ष

अगर आपको बिना वजह बार-बार नींद आ रही है, तो इसे हल्के में न लें। यह लिवर की गड़बड़ी या डायबिटीज जैसे गंभीर रोगों का संकेत हो सकता है। समय पर जांच और इलाज से आप बड़ी बीमारियों से बच सकते हैं। शरीर के हर संकेत को समझना और उस पर ध्यान देना आपकी सेहत के लिए सबसे जरूरी है।

All Images Credit- Freepik

FAQ

  • शुगर होने पर शरीर में क्या दिक्कत होती है? 

    जब किसी व्यक्ति को डायबिटीज होती है तो शरीर में ब्लड शुगर का लेवल सामान्य से ज्यादा हो जाता है, जिससे कई तरह की दिक्कतें शुरू हो सकती हैं। शुगर बढ़ने पर बार-बार पेशाब आना, बार-बार प्यास लगना, थकान, भूख अधिक लगना, आंखों की रोशनी धुंधली होना, वजन तेजी से घटना या बढ़ना, हाथ-पैर में झनझनाहट और घाव का देर से भरना जैसे लक्षण दिख सकते हैं। इसलिए समय पर इलाज और परहेज जरूरी होता है।
  • लिवर की बीमारी में मरीज को क्या-क्या परेशानियां होती हैं?

    लिवर की बीमारी होने पर शरीर में कई तरह की समस्याएं दिखाई देने लगती हैं। मरीज को थकान, भूख न लगना, मतली, उल्टी, पेट में दर्द या सूजन, आंखों और स्किन का पीला होना, पेशाब का रंग गहरा होना और मल का रंग हल्का हो जाना जैसी दिक्कतें हो सकती हैं। कई बार लिवर की खराबी से स्किन पर खुजली और शरीर में पानी जमा होने की समस्या भी होती है। अगर समय पर इलाज न हो तो यह स्थिति गंभीर होकर लिवर फेलियर या सिरोसिस का रूप ले सकती है।
  • लिवर खराब होने के शुरुआती लक्षण क्या हैं?

    लिवर खराब होने की शुरुआत में कुछ हल्के लेकिन ध्यान देने योग्य लक्षण दिखाई देते हैं। जैसे कि लगातार थकान महसूस होना, भूख कम लगना, पेट के दाहिने हिस्से में हल्का दर्द या भारीपन, हल्का बुखार, गैस और अपच की समस्या होना। कुछ लोगों को अचानक वजन कम होना और पेशाब का रंग गहरा दिखना भी अनुभव हो सकता है। ऐसे लक्षणों को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए और तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।

 

 

 

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