Food Tips to Reduce Anxiety: आमतौर पर जब लोग नई नौकरी में पहले दिन जाना होता है या ऑफिस में कोई बड़ी मीटिंग होती है, तो पेट में गड़बड़ी होना, पसीने आना या घबराहट होना बहुत ही आम बात है। इस स्थिति को एंग्जाइटी या स्ट्रेस कहते हैं, जिसकी वजह से शरीर और दिमाग दोनों पर असर पड़ता है। स्ट्रेस की वजह से शरीर में एड्रेनालिन और कॉर्टिसोल जैसे हार्मोन बढ़ जाते हैं, जिससे हार्ट बीट तेज हो जाती है और फोकस करना मुश्किल हो जाता है। जब कोई इस स्थिति में दूसरों से बात करता है, तो कई बार मीटिंग खराब भी हो जाती है। अगर आपको भी इस तरह की परेशानी से दोचार होना पड़ता है, तो अच्छी बात यह है कि सही खानपान से स्ट्रेस और एंग्जाइटी को कंट्रोल किया जा सकता है। कुछ ऐसे फूड टिप्स जानने के लिए हमने फरीदाबाद के सर्वोदय अस्पताल की चीफ डाइटिशियन मीना कुमारी (Ms. Meena Kumari, Chief Dietician - Dietetics, Sarvodaya Hospital Sector-8, Faridabad) से बात की।
5 फूड टिप्स जो एंग्जाइटी और स्ट्रेस करते हैं कंट्रोल
न्यूट्रिशनिस्ट मीना कुमारी ने बताया कि कुछ खास फूड्स तुरंत फोकस लाने और मन को शांत करने में मददगार हो सकते हैं। इसलिए इन फूड्स को रोजाना के खानपान में शामिल करना चाहिए।
ओमेगा-3 फैटी एसिड फूड
मीना कुमारी कहती हैं, “ओमेगा-3 दिमाग की कोशिकाओं को मजबूत करता है और मूड को बेहतर बनाता है। यह स्ट्रेस हार्मोन कॉर्टिसोल को कंट्रोल करता है। कुछ फूड्स को रोजाना आप ले सकते हैं।”
- अलसी के बीज हल्का भूनकर पिस लें और रोज एक चम्मच पानी या दूध के साथ लें।
- सैल्मन, टूना जैसी फैट वाली मछलियां ग्रिल या बेक करके खाएं।
- रोजाना 7-8 अखरोट खाने से भी फायदा होता है।
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मैग्नीशियम और जिंक से भरपूर फूड
मीना कुमारी कहती हैं कि मैग्नीशियम और जिंक से भरपूर फूड्स लेने से मेंटल लेवल पर सुकून मिलता है और दिमाग शांत रहता है। जिंक से भरपूर फूड्स लेने से एंग्जाइटी में कमी आती है और मूड स्विंग्स कम होते हैं। इसलिए लोगों को अपनी डाइट में मैग्नीशियम और जिंक भरपूर मात्रा में लेना चाहिए।
मैग्नीशियम वाले फूड्स
- हरी पत्तेदार सब्जियां जैसे पालक, केल और सरसों का साग मैग्नीशियम से भरपूर होती हैं।
- मेवे जैसे बादाम, काजू
- बीज जैसे कद्दू, चिया, अलसी
- डार्क चॉकलेट को सीमित मात्रा में खाना
जिंक वाले फूड्स
- दालें, सोयाबीन और मटर
- नींबू और संतरा जैसे विटामिन C से भरपूर फल जिंक के एब्जर्ब करने की प्रक्रिया को तेज करते हैं।
- चिकन और अंडे
प्रोबायोटिक्स और फर्मेंटेड फूड्स
मीना कुमारी ने बताया कि यह सभी के लिए जानना जरूरी है कि पेट और ब्रेन दोनों का आपस में बड़ा गहरा रिलेशन है। अगर पेट सही और सेहतमंद होगा, तो मूड भी अच्छा होगा। प्रोबायोटिक्स लेने से स्ट्रेस कम होता है और पाचन में सुधार होता है। इसलिए पेट की सेहत को बेहतर रखने के लिए रोजाना की डाइट में प्रोबायोटिक्स फूड्स जरूर शामिल करें।,
- दही, केफिर और किमची जैसे फर्मेंटेड फूड्स रोजाना खाएं।
- सब्जियां जैसे किमची, सॉकरक्राट, और पारंपरिक अचार
- ढोकला, इडली, डोसा, छाछ, और पखाल भात
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साबुत अनाज
मीना कुमारी कहती हैं, “रोजाना साबुत अनाज लेने से ब्लड शुगर कंट्रोल में रहता है। इससे शरीर में एनर्जी बनी रहती हैं और बेचैनी कम होती है। इसलिए मैं सभी लोगों को डाइट में साबुत अनाज शामिल करने की सलाह देती हूं।
- ओट्स, ब्राउन राइस, ज्वार और बाजरा
- नाश्ते में ओट्स के साथ दही, अलसी और जामुन ले सकते हैं
लाइफस्टाइल में बदलाव करें
न्यूट्रिशनिस्ट मीना कुमारी ने स्ट्रेस और एंग्जाइटी को कम करने के लिए लाइफस्टाइल में कुछ बदलाव करने चाहिए।
- रोजाना प्रचुर मात्रा में पानी पिएं।
- चाय-कॉफी सीमित मात्रा में लें।
- अल्कोहल बिल्कुल न लें।
- स्मोकिंग बिल्कुल छोड़ दें।
- समय पर खाना खाएं।
- पौष्टिक डाइट लें।
निष्कर्ष
मीना कुमारी कहती हैं कि यह बिल्कुल नेचुरल है कि मीटिंग्स से पहले या नई नौकरी में घबराहट होना बहुत ही आम बात है, लेकिन इसे फूड्स से मैनेज किया जा सकता है। खाने के साथ अगर रेगुलर एक्सरसाइज और नींद पूरी ली जाए, तो एंग्जाइटी की समस्या को काफी हद तक कम किया जा सकता है। अगर दिमाग शांत रहता है और बेचैनी महसूस नहीं होती, तो फोकस और आत्मविश्वास बढ़ता है। इसलिए रोजाना अपनी डाइट में ये सभी फूड्स शामिल करें।
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Sep 25, 2025 17:36 IST
Modified By : Aneesh RawatSep 25, 2025 17:36 IST
Modified By : Aneesh RawatSep 25, 2025 17:36 IST
Published By : Aneesh Rawat