जामुन, जिसे ब्लैक प्लम के रूप में भी जाना जाता है, अपने कई स्वास्थ्य लाभों के लिए बहुत लोकप्रिय है। डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर से पीड़ित लोगों को तो जामुन, जामुन के बीज और जामुन के पत्तों तक सेवन करने को कहा जाता है। पर क्या आपको पता है कि जामुन गर्भावस्था के दौरान भी फायदेमंद है? दरअसल गर्भावस्था के दौरान अक्सर महिलाओं को खट्टी मिट्टी चीजों के लिए क्रेविंग होती हैं। साथ ही जी मिचलाना (nausea during pregnancy) प्रेग्नेंसी में परेशान करने वाली आम परेशानियों में से एक है। ऐसे में आप अपने मूड स्विंग्स पर काबू और जी मिचलाने को कम करने के लिए जामुन से बने इस इम्यूनिटी बूस्टर चटपटी चटनी (immunity booster chutney) को खा सकते हैं। तो आइए जानते हैं इसकी जामुन की चटनी की रेसिपी और प्रेग्नेंसी के दौरान इसे खाने के फायदे।
जामुन की चटनी कैसे बनाते हैं?
सामग्री
- -250 ग्राम - जामुन
- -पंचफोरन
- -2 सूखे मिर्च
- -1 बड़ा चम्मच तेल
- -नमक
- -गुड़
- -पानी
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चटनी बनाने का तरीका
- -सबसे पहले जामुन से बीज निकाल कर उन्हें पीस लें।
- - एक पैन गरम करें। तेल, सूखे मिर्च और पंचफोरन मसाले डालें।
- -एक बार अच्छी तरह गरम होने के बाद, जामुन को इसमें डाल लें।
- -अब हल्का नमक, चीनी और गुड़ डालें।
- - पैन को ढंक दें।
- -10 मिनट के बाद, ढक्कन हटा दें। ढक्कन के बिना लगाए पानी डालकर इसे चलाते रहें।
- -जब लगे कि चटनी गाढ़ी हो गई है, तो गैस बंद कर लें।
- - ठंडा हो जाने पर इसे कांच के जार में डाल दें।
- -अब जब आपका मन मिचलाए या कुछ चटपटा सा क्रेविंग हो तो इसे खाएं।
प्रेग्नेंसी में जामुन की चटनी खाने के फायदे (benefits of eating jamun fruit during pregnancy)
जामुन में कैल्शियम, विटामिन सी, आयरन, पोटेशियम और एंटीऑक्सिडेंट की अच्छी मात्रा होती है। ये विटामिन और खनिज हड्डियों को मजबूत करते हैं और इम्यूनिटी को बढ़ाते हैं। इसके साथ इसके कई और फायदे भी हैं, जैसे कि
हाई ब्लड प्रेशर के जोखिम को कम करना
चूंकि जामुन पोटेशियम और एंटीऑक्सिडेंट में उच्च है, इसलिए इसकी चटनी खा कर आप अपनी गर्भावस्था के दौरान ऊर्जा के साथ बढ़ेंगे। साथ ही यह उच्च रक्तचाप के जोखिम को कम करने में भी मदद करता है। अगर आप सोच रहे हैं कि जामुन में कितना पोटेशियम है, तो आपको जामुन के 100 ग्राम से 50 मिलीग्राम पोटेशियम मिलता है।
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इम्यूनिटी बढ़ाता है
जामुन एंटीऑक्सिडेंट में समृद्ध है, इसलिए ये शरीर को संक्रमण और बीमारियों से बचाव करते हुए शरीर की इम्यूनिटी बढ़ाता है। इसी के साथ ये आरबीसी (रेड ब्लज सेल्स) की गिनती को भी बढ़ा देता है, जिससे एनीमिया जैसी बीमारियों को रोका जा सकता है।
बेबी का विजन विकसित करता है
जामुन अपने उच्च विटामिन ए सामग्री के लिए लोकप्रिय है। इस तरह प्रेग्नेंसी के दौरान मां का इसे खाना बच्चे के दृष्टिकोण का विकास करता है। साथ ही ये समय से पहले प्रसव को रोकता है। दरअसलजामुन में उच्च मैग्नीशियम सामग्री होती है जो समय से पहले प्रसव से बचने के लिए आवश्यक है।
गर्भावस्था के दौरान जामुन खाने से जुड़ी सावधानियां
गर्भावस्था के दौरान जामुन का सेवन करें, लेकिन कुछ बातों का ध्यान रखें। जैसे कि सड़क किनारे जामुन खरीदने से बचें क्योंकि वे भारी धातुओं और लेड से दूषित होते हैं। साथ इस फल को फल को खाली पेट या दूध पीने के बाद खाने से बचें क्योंकि इसमें हल्का खट्टा स्वाद होता है, जिससे एसिडिटी हो सकती है।
इस तरह गर्भानस्था में जामुन की चटपटी चटनी को खाना आपके मूड स्विंग्स को कम कर सकता है और साथ ही आपको हेल्दी भी रख सकता है। तो अगर प्रग्नेंसी के दौरान आपको जी बहुत मिचला रहा है, तो अपने लिए एक बार जरूर ट्राई करें ये इम्यूनिटी बूस्टर हेल्दी चटनी।
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