जब शिशु के दांत निकलने की प्रक्रिया (Teething) शुरू होती है, तो यह उसके लिए एक असहज और कभी-कभी दर्दभरा अनुभव हो सकता है। इस समय बच्चे चिड़चिड़े हो जाते हैं, मुंह में जलन होती है, लार बहती है और सबसे बड़ी बात यह है कि उनकी नींद बुरी तरह प्रभावित होती है। बच्चा रात में बार-बार जागता है, रोता है और माता-पिता की नींद भी पूरी नहीं हो पाती। हालांकि यह एक स्वाभाविक प्रक्रिया है, लेकिन कुछ घरेलू उपाय और व्यवहारिक तकनीक अपनाकर आप अपने बच्चे को इस कठिन समय में सुकून की नींद दिला सकते हैं। इस लेख में मदर एंड एंजल क्लीनिक के पीडियेट्रिक्स सीनियर कंसल्टेंट डॉ अजित सिहं से जानते हैं कि दांत निकलते समय बच्चे को अच्छी नींद दिलाने के कुछ उपयोगी और असरदार टिप्स।
दांंत निकलते समय बच्चे को सुलाने के लिए टिप्स - Tips To Help Baby Sleep During Teething In Hindi
ठंडा टीथर (Teether) दें
ठंडी चीजें दांत निकलने से जुड़ी सूजन और जलन को कम करने में मदद करती हैं। ऐसे में आप बाजार में मिलने वाले सॉफ्ट और BPA-फ्री टीथर को कुछ देर फ्रिज में रखकर बच्चे को चूसने के लिए दें। यह मसूड़ों पर ठंडक पहुंचाता है और दर्द को कम करता है। ध्यान रखें, टीथर बहुत ठंडा या जम हुआ न हो।
मसूड़ों की मालिश करें
मुलायम हाथों से बच्चे के मसूड़ों की मालिश करने से उसे बहुत राहत मिलती है। साफ उंगली या गीले सूती कपड़े से हल्के हाथों से मसूड़ों पर हल्का दबाव डालें। यह तरीका दांतों के दर्द और बेचैनी को कम करता है, जिससे बच्चा आसानी से सो पाता है।
हल्का गुनगुना पानी पिलाएं
रात में सोने से पहले बच्चे को हल्का गुनगुना पानी पिलाने से उसके शरीर को आराम मिलता है और पाचन ठीक रहता है। इससे पेट भरा महसूस होता है और बच्चा बेहतर नींद लेता है।
दर्द कम करने वाली जेल का उपयोग
कुछ मामलों में डॉक्टर बच्चे के लिए कोई टीथिंग जेल या दर्द निवारक सिरप सलाह दे सकते हैं। इसका उपयोग केवल तभी करें जब बच्चा बहुत असहज हो और घरेलू उपाय काम न करें। किसी भी मेडिकल प्रोडक्ट का प्रयोग करने से पहले डॉक्टर से सलाह जरूर लें।
बेबी के सोने का रूटीन बनाए रखें
दांत निकलने के समय भी बच्चे का स्लीप रूटीन बना रहना चाहिए। रोजाना एक निश्चित समय पर बच्चे को सुलाएं। सोने से पहले नहलाना, धीमी लोरी गाना या हल्का मसाज करना फायदेमंद रहता है। इससे बच्चे को नींद का संकेत मिलता है और वह जल्दी शांत होता है।
आरामदायक वातावरण बनाएं
सोने का कमरा शांत, साफ और ठंडा होना चाहिए। हल्की रोशनी रखें और तेज आवाजों से बचें। बेबी के बिस्तर में मुलायम चादर और सिर के नीचे सही तकिया होना जरूरी है। ज्यादा गर्म कपड़े न पहनाएं, क्योंकि टीथिंग के समय बच्चे को पसीना अधिक आ सकता है।
रात में बार-बार जागने पर गोद में लें और शांत करें
जब बच्चा बार-बार रोकर उठता है, तो उसे गोद में लेकर प्यार से थपथपाना, लोरी गाना या हल्के स्वर में बात करना बहुत प्रभावी होता है। बच्चा माता-पिता के स्पर्श और आवाज से जल्दी शांत होता है। इससे उसकी बेचैनी कम होती है और वह दोबारा सोने लगता है।
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टीथिंग का समय न केवल बच्चे के लिए, बल्कि पूरे परिवार के लिए चुनौतीपूर्ण हो सकता है। हालांकि, सही देखभाल, प्यार और कुछ व्यवहारिक उपायों के जरिए आप इस समय को आसान बना सकते हैं। बच्चे की नींद को बेहतर बनाने के लिए दिनचर्या में छोटे-छोटे बदलाव और अतिरिक्त देखभाल काफी असरदार साबित हो सकते हैं।
FAQ
बच्चे को जल्दी सुलाने के क्या उपाय हैं?
बच्चों को जल्दी सुलाने के लिए सोने का एक नियमित समय निर्धारित करें। इसके अलावा, कमरे को शांत और अंधेरा रखें, सोने से पहले की मालिश करें, या इसे कोई कहानी सुनाएं।बच्चों का चिड़चिड़ापन कैसे दूर करें?
बच्चों का चिड़चिड़ापन दूर करने के लिए आप उनकी परेशानी को समझें। कई बार बच्चें की नींद पूरी न होने पर उनको चिड़चिड़ापन हो जाता है। ऐसे में आप उनको समय पर सुलाएं।अगर बच्चा बहुत रोए तो क्या करना चाहिए?
अगर आपका बच्चा कुछ समय से लगातार रो रहा है, तो ऐसे में उसकी परेशानी को समझने का प्रयास करें। इसके अलावा, समय रहते तुरंत डॉक्टर से संपर्क करे।