
रात में या अंधेरे में डर बहुत किसी को लगता होगा। अक्सर आपने लोगों को ये कहते सुना होगा कि मुझे अंधेरे से बहुत डर लगता है। लेकिन ये चीजें तब तक आपकी लिए अधिक परेशानी की बात नहीं हैं, जब तक आपको अंधेरे से डर केवल बचपन में लगता है। लेकिन, अगर आपको बड़े होने पर या बुढ़ापे में भी अंधेरे से डर लगता है, तो ये किसी बीमारी के संकेत हो सकते हैं। यह आपको मानसिक रूप से आपको बीमार कर सकता है। अंधेरे या रात में लगने वाले डर को निक्टोफोबिया कहा जाता है। निक्टोफोबिया की वजह से शरीर में गंभीर तनाव और डिप्रेशन की परेशानी हो सकती है। ये फोबिया का रूप तब ले लेता है, जब ये आपकी रोजाना की जिंदगी को खराब करने लगता है।
निक्टोफोबिया क्या है?
रात के अंधेरे में लगने वाले डर को निक्टोफोबिया कहा जाता है। अंधेरे से डरना अक्सर बचपन में शुरू होता है और कई लोगों को बड़े होने के बाद भी डर लगता है। दरअसल कई लोगों को आसपास अंधेरा देखकर या अपने आसपास कुछ न दिखाई देने के कारण भी डर लगने लगता है। इससे आपको सोने में परेशानी हो सकती है, थकान और सिरदर्द की समस्या हो सकती है। इसके लिए आपको डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
निक्टोफोबिया के लक्षण (Symptoms Of Nyctophobia)
1. सांस लेने में तकलीफ
3. सीने में जकड़न या दर्द होना
4. झटके लगना और कांपना
5. झुनझुनी या सनसनी महसूस होना
6. चक्कर आना या सिर भारी होना
7. पेट खराब हो जाना
8. गर्म या ठंडा अनुभव होना
9. पसीना आना
10. बहुत ज्यादा चिंता या घबराहट होना
11. अंधेरे से बचने के लिए बहाने बनाना
12. सोने में परेशानी और नियंत्रण खोना
इससे आपको रात में बेचैनी और नींद की समस्या गंभीर हो सकती है। इससे आपकी सेहत खराब हो सकती है। साथ ही आप कई बीमारियों का शिकार भी हो सकते हैं। इससे बचने के लिए आपको किसी साइकेट्रिस्ट से बात करनी चाहिए ताकि वे आपके डर को दूर कर सके।
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निक्टोफोबिया से ऐसे बचें
1. अपने डर से निकलने की कोशिश करें
कई बार हम अपने डर को हमारी कमजोरी बना लेते हैं। ये समस्या आपके लिए आफत बन सकती है। कई लोग अंधेरे में रहने पर चीखने और चिल्लाने लगते है। इससे उनके मानसिक स्वास्थ्य पर भी असर पड़ता है। इसके लिए आपको खुद अपने डर से निकलने की कोशिश करनी चाहिए और इसके लिए आप योग कर सकते हैं। योग करने से आपको मानसिक शांति मिलती है। साथ ही योग से आपकी ब्रीदिंग समस्याएं भी खत्म हो सकती है।
2. अपने दोस्तों से बात करें
अगर आपको अंधेरे से डर या बेचैनी महसूस हो, तो इसके बारे में आप अपने किसी दोस्त से बात कर सकते हैं। क्योंकि, कई बार मन की बात बताने से आपका मन हल्का हो जाता है। साथ ही आपको अंदर से काफी सुकून महसूस होता है। मन की बात कह देने से आपको रात को नींद भी अच्छी आती है। साथ ही आपका डर भी धीरे-धीरे खत्म हो जाता है।
3. अपने आपको आराम दें
कई बार हमें अंधेरे से डरने के बाद ठीक से नींद नहीं आती है। इससे आपका सेहत के साथ-साथ स्किन पर भी असर पड़ता है। इसलिए जब भी डर लगे या पैनिक होने लगे, तो खुद को शांत करने की कोशिश करें और अच्छे से आराम करें। इससे आपको काफी रिलैक्स महसूस होता है।
4. अपने आपको अंदर से मजबूत बनाएं
किसी भी डर को हराने के लिए आपको अंदर से मजबूत होने की जरूरत होती है। जब तक आप अपने डर को हराने के लिए कोशिश नहीं करेंगे। आप उससे बाहर नहीं निकल पाएंगे। इसलिए, आप अपने दिमाग में अंधेरे या ऐसी जगह के बारे में सोचें और फिर उससे निपटने के लिए खुद को तैयार करें। ताकि जब असल में आप अंधेरे में हो, तो आपको उससे बाहर निकलने और खुद को संभालने की हिम्मत मिल सके।
(All Image Credit- Freepik.com)
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