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थायराइड कंट्रोल के लिए इस्तेमाल करें ये आयुर्वेदिक पोटली, मिलेगा आराम

थायराइड कंट्रोल करने के लिए जरूरी है कि आप अपने लाइफस्टाइल में बदलाव के साथ इन आयुर्वेदिक हर्ब्स का से बनी पोटली का उपयोग करें। जनिए आयुर्वेदिक पोटली बनाने का तरीका और फायदे- 
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थायराइड कंट्रोल के लिए इस्तेमाल करें ये आयुर्वेदिक पोटली, मिलेगा आराम


Benefits Of Ayurvedic Potli To Control Thyroid in Hindi: आज के समय में महिलाओं में थायराइड की समस्या काफी तेजी से फैल रही हैं। थायराइड हार्मोन असंतुलित होने का कारण तनाव, खाने में आयोडीन की कमी या खराब लाइफस्टाइल हो सकता है। इतना ही नहीं परिवार में किसी और को थायराइड होने कारण या दवाओं के साइड इफेक्ट्स के कारण भी थायराइड हो सकता है। ऐसे में थायराइड को ठीक करने के लिए कई लोग दवाओं का सेवन करते हैं, लेकिन अगर आप नेचुरल तरीके से थायराइड कंट्रोल करना चाहते हैं तो न्यूट्रिशनिस्ट श्वेता शाह के बताएं इस थायराइड पोटली का उपयोग कर सकते हैं। इस पोटली को अपनी गर्दन पर लगाने से थायराइड फंक्शन को नियमित करने और असंतुलन को कम करने में मदद मिल सकती है।

थायराइड के लिए आयुर्वेदिक पोटली कैसे बनाएं?

सामग्री

  • कलौंजी (निगेला के बीज) - 2 बड़े चम्मच
  • सूखे नीम के पत्ते - 1 बड़ा चम्मच
  • अश्वगंधा पाउडर - 1 छोटा चम्मच
  • अदरक पाउडर - 1 छोटा चम्मच

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थायराइड ठीक करने के लिए पोटली का उपयोग कैसे करें? - How to Use Ayurvedic Potli in Hindi?

थायराइड को कंट्रोल करने के लिए इस आयुर्वेदिक पोटली का उपयोग करने के लिए सबेस पहले सभी सामग्रीयों (Which herb is best for thyroid in Ayurveda) को सूखे पैन में धीरे-धीरे गर्म करें। लेकिन ध्यान रहे आप इन सामग्रियों को ज्यादा गरम न करें, क्योंकि इससे उनके लाभकारी गुण कम हो सकते हैं। इसके बाद गर्म मिश्रण को एक मुलायम कपड़े में रखें और इसे अच्छी तरह से बांध दें, जिससे एक छोटी थैली या पोटली बन जाए।अब गर्म पोटली को धीरे से अपनी गर्दन और गले के आसपास 10-15 मिनट के लिए रखें। ध्यान रहे कि यह बहुत ज्यादा गर्म न हो, जिससे आपकी स्किन सुरक्षित रहे।

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Thyroid Potli

थायराइड में आयुर्वेदिक पोटली के फायदे - What Are The Benefits Of Hot Potli Massage in Hindi?

  • कलौंजी- कलौंजी, थायराइड हार्मोन के स्तर को संतुलित करने और चयापचय को बढ़ावा देने में मदद करता है, जिससे थायराइड स्वास्थ्य बेहतर रहता है।
  • नीम- यह शरीर को डिटॉक्सीफाई करने, ब्लड को साफ करने और इम्यूनिटी को बढ़ावा देने में मदद करता है, जो थायराइड कंट्रोल करने में मदद कर सकता है।
  • अश्वगंधा- यह एक एडाप्टोजेनिक जड़ी बूटी है, जो थायराइड हार्मोन को संतुलित करने, तनाव को कम करने और आपके स्वास्थ्य में सुधार करने में मदद कर सकता है।
  • अदरक- यह अपने एंटी-इंफ्लेमेटरी गुणों के लिए जाना जाता है, अदरक ब्लड सर्कुलेशन में सुधार करता है, सूजन को कम करता है और थायराइड स्वास्थ्य को बेहतर रखने का काम करता है।

 

 

 

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निष्कर्ष

इस आयुर्वेदिक पोटली का उपयोग थायराइड स्वास्थ्य को बेहतर रखने के लिए एक अच्छा विकल्प है। लेकिन, इस पोटली का इस्तेमाल करने के साथ आपको अपनी डाइट और शारीरिक गतिविधियों पर भी फोकस करना चाहिए।
Image Credit: Freepik

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