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ब्रेस्ट मिल्क बढ़ाने के लिए अपनाएं ये 5 आयुर्वेदिक उपाय, मिलेगा फायदा

नवजात के लिए ब्रेस्ट मिल्क पहला आहार होता है, जिससे शिशु का विकास होता है और इम्यूनिटी बूस्ट होती है। यहां जानिए, मां का दूध बढ़ाने के लिए क्या खाएं?
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ब्रेस्ट मिल्क बढ़ाने के लिए अपनाएं ये 5 आयुर्वेदिक उपाय, मिलेगा फायदा


मां का दूध पोषक तत्वों से भरपूर होता है और शिशु के शारीरिक और मानसिक विकास के लिए जरूरी है। ब्रेस्ट मिल्क में प्रोटीन, फैट, कार्बोहाइड्रेट, विटामिन और खनिज शामिल होते हैं जो शिशु की विकास की जरूरतों को पूरा करते हैं। इसके अलावा, मां का दूध आसानी से पचने योग्य होता है, जिससे शिशु को किसी प्रकार की समस्या नहीं होती है। स्तनपान यानी ब्रेस्टफीडिंग से शिशु की इम्यूनिटी मजबूत होती है और वह रोगों से लड़ने में सक्षम होता है। मां के दूध में मौजूद एंटीबॉडीज और अन्य जरूरी तत्व शिशु को संक्रमणों से बचाते हैं। खासकर, जन्म से 6 महीने तक शिशु को सिर्फ मां का दूध ही पीना चाहिए। लेकिन, कई महिलाओं को दूध की कमी की समस्या का सामना करना पड़ता है, जिससे महिलाएं तनाव में आ जाती हैं। आयुर्वेद में प्राकृतिक रूप से दूध बढ़ाने के लिए हर्ब्स के बारे में बताया गया है, जिनके उपयोग से ब्रेस्ट मिल्क बढ़ाने में मदद मिल सकती है। ब्रेस्ट मिल्क बढ़ाने के आयुर्वेदिक उपाय क्या हैं? ये जानने के लिए हमने लखनऊ के मा-सी केयर क्लीनिक की आयुर्वेदिक डॉक्टर और स्तनपान सलाहकार डॉ. तनिमा सिंघल (Dr. Tanima Singhal, Pregnancy educator and Lactation Consultant at Maa-Si Care Clinic, Lucknow) से बात की है।

मां का दूध कैसे बढ़ाएं घरेलू उपाय

घर में शिशु के जन्म के बाद जिन महिलाओं में दूध कम बनता है, उनका अक्सर सवाल होता है कि क्या खाने से मां का दूध ज्यादा होता है? इसके लिए डॉक्टर तनिमा सिंघल ने बताया कि आयुर्वेद में, शतावरी, जीरा, अजवाइन, सौंफ और दालचीनी जैसे प्राकृतिक तत्वों का उपयोग मिल्क प्रोडक्शन बढ़ाने और महिलाओं के संपूर्ण स्वास्थ्य में सुधार करने के लिए किया जाता है। 

1. शतावरी

शतावरी को आयुर्वेद में महिलाओं के स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद माना जाता है। शतावरी एक जड़ी-बूटी है जो महिलाओं में दूध उत्पादन को बढ़ाने में मदद करती है। शतावरी में फाइटोएस्ट्रोजेन होते हैं, जो महिलाओं के शरीर में हार्मोनल संतुलन को बनाए रखते हैं और प्रोलैक्टिन हार्मोन के स्तर को बढ़ाकर मिल्क प्रोडक्शन को बढ़ाने में मदद करते हैं। शतावरी का पाउडर या कैप्सूल के रूप में सेवन किया जा सकता है, इसका चूर्ण गुनगुने दूध या पानी में मिलाकर रोजाना पीने से लाभ होता है।

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2. जीरा

जीरा में आयरन और थाइमोल होते हैं, जो मिल्क फ्लो को बढ़ाते हैं और पाचन को सही रखते हैं। जीरा का सेवन पाचन तंत्र को सुधारने और महिलाओं में मिल्क प्रोडक्शन को बढ़ाने में मदद करता है। एक चम्मच जीरा पाउडर को गुनगुने पानी में मिलाकर रोजाना सेवन करें। जीरा को भोजन में भी शामिल किया जा सकता है।

3. अजवाइन

एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटी-बैक्टीरियल गुणों से भरपूर अजवाइन, ब्रेस्ट मिल्क को बढ़ाने और पेट की समस्याओं से राहत दिलाने में मदद करती है। अजवाइन का पानी बनाने के लिए एक चम्मच अजवाइन को एक कप पानी में उबालें और सुबह खाली पेट सेवन करें।

breast milk

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4. सौंफ

सौंफ में कई ऐसे गुण होते हैं जो दूध उत्पादन को बढ़ाते हैं। इसके साथ ही सौंफ का सेवन पाचन को सुधारता है। एक चम्मच सौंफ को एक कप पानी में उबालें और इसे ठंडा होने के बाद छानकर पिएं। सौंफ की चाय भी बना सकते हैं।

5. दालचीनी

कई महिलाओं का सवाल होता है कि मां का दूध कम हो तो क्या करें? ऐसे में एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर दालचीनी, महिलाओं के संपूर्ण स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद साबित हो सकती हैं और यह मिल्क फ्लो को बढ़ाने में भी मदद करती है। दालचीनी का पाउडर गुनगुने दूध में मिलाकर रोजाना सेवन करें, इसके अलावा दालचीनी को शहद के साथ भी लिया जा सकता है।

निष्कर्ष

शतावरी, जीरा, अजवाइन, सौंफ और दालचीनी जैसे आयुर्वेदिक उपाय न केवल ब्रेस्ट मिल्क को बढ़ाने में मदद करते हैं बल्कि महिलाओं के संपूर्ण स्वास्थ्य को भी सुधारते हैं। इनका नियमित सेवन न केवल दूध उत्पादन को बढ़ाता है बल्कि पाचन तंत्र, हार्मोनल संतुलन और मानसिक शांति को भी बनाए रखता है। इन उपायों को अपनी दिनचर्या में शामिल करके आप अपना और अपने शिशु के स्वास्थ्य का बेहतर ध्यान रख सकती हैं। 

All Images Credit- Freepik

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