प्रेगनेंसी में अक्सर महिलाओं को अलग-अलग चीजें खाने का मन करता है। कभी वह खट्टे की तरफ भागती हैं तो कभी उनका कुछ तीखा खाने का मन करता है। वहीं कुछ महिलाएं तेज मसालेदार भोजन का भी सेवन करती है। लेकिन सवाल यह है कि क्या गर्भावस्था के दौरान तेज मसालों का सेवन करना चाहिए? तेज मसालों का सेवन करने से महिलाओं के साथ बच्चे की सेहत कैसे प्रभावित हो सकती है? इसके बारे में भी पता होना जरूरी है। आज का हमारा लेख इसी विषय पर है। आज हम आपको अपने इस लेख के माध्यम से बताएंगे कि प्रेगनेंसी के दौरान ज्यादा मसालेदार भोजन खाने से सेहत कैसे प्रभावित हो सकती है? साथ ही इसके नुकसान के बारे में भी जानेंगे। इसके लिए हमने न्यूट्रिशनिस्ट और वैलनेस एक्सपर्ट वरुण कत्याल ( Nutritionist and wellness expert varun katyal) से भी बात की है। पढ़ते हैं आगे...
क्या कहती है रिसर्च?
बता दें कि गर्भावस्था के दौरान तेज मसालों का सेवन करना नुकसानदेह हो सकता है। ऐसा करने से महिलाओं को न केवल मॉर्निंग सिकनेस का सामना करना पड़ सकता है बल्कि तेज मसालों के कारण हार्टबर्न की समस्या भी हो सकती है। इससे संबंधित रिसर्च भी सामने आई है रिसर्च पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें। इससे अलग एक और रिसर्च सामने आई है, जिससे पता चलता है कि प्रेगनेंसी के दौरान महिलाओं को मसालेदार खाने या गर्म तासीर वाले खाने से बचना चाहिए। इससे संबंधित रिसर्च पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें...
टॉप स्टोरीज़
प्रेगनेंट महिलाओं का मसालेदार खाने का मन क्यों करता है?
बता दें कि गर्भवती महिलाओं में हार्मोनल बदलाव होते हैं, जिसके कारण उनका मन मसालेदार खाना खाने का कर सकता है। इसके अलावा उनके आसपास मौजूद मसालों की तेज गंध भी मसालों के सेवन करने के लिए प्रेरित कर सकती हैं।
इसे भी पढ़ें- क्या पीरियड्स में भागदौड़ और उछल-कूद करना सुरक्षित है? एक्सपर्ट से जानें जरूरी सावधानियां
गर्भावस्था के दौरान मसालेदार खाने के नुकसान
1 - प्रेगनेंसी के दौरान यदि महिलाओं को उल्टी या मतली का सामना करना पड़ता है तो मसालेदार खाना इस समस्या को और बढ़ा सकता है। ऐसे में महिलाओं को मसालेदार खाने का सेवन सीमित मात्रा में करना चाहिए।
2 - मसालेदार खाने में मिर्च की मात्रा ज्यादा होती है और मिर्च में कैप्साइसिन कंपाउंड पाया जाता है ऐसे में महिलाओं को पेट में दर्द, ऐंठन, पेट में जलन आदि समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
3 - प्रेगनेंसी में मसालेदार खाने से इर्रिटेबल बाउल सिंड्रोम का खतरा बढ़ सकता है।
4 - गर्भावस्था के दौरान अकसर महिलाएं पाचन की समस्या का सामना करती हैं। बता दें कि महिलाओं का पाचन तंत्र बहुत धीमा हो जाता है, जिसके कारण महिलाओं को खाना पचाने में दिक्कत महसूस हो सकती है। ऐसे में तेज मसालों के सेवन से अपच की समस्या हो सकती है।
5 - गर्भावस्था के दौरान मसालेदार खाने के सेवन से हार्टबर्न की समस्या जिसे पेट में जलन की समस्या भी कहते हैं, की समस्या हो सकती है। बता दें कि गर्भावस्था के दौरान मसालेदार भोजन के सेवन से खाद्य पदार्थ देर तक पेट में रह सकता है।
इसे भी पढ़ें- प्रेगनेंसी में स्प्राउट्स खाना चाहिए या नहीं? एक्सपर्ट से जानें इसके नुकसान और सावधानियां
मसालेदार खाने से बच्चे की सेहत कैसे होती है प्रभावित?
गर्भावस्था के दौरान यदि महिलाएं ज्यादा खाना खाती हैं तो इससे बच्चे की सेहत प्रभावित नहीं होती है। लेकिन हां हम कह सकते हैं कि भ्रूण के बेस्ट बेड पर प्रभाव पड़ सकता है और उसका टेस्ट प्रभावित हो सकता है। हालांकि इस पर अभी और अध्ययन होने बाकी है ऐसे में महिलाओं को डॉक्टर की सलाह पर ही तेज मसालेदार खाने का सेवन करना चाहिए।
नोट ऊपर बताए गए बिंदुओं से पता चलता है कि गर्भावस्था के दौरान मसालेदार भोजन करने से सेहत को कुछ फायदा कुछ किसानों का सामना करना पड़ सकता है लेकिन व्यक्ति को पेड़ों का सेवन डॉक्टर की सलाह पर ही करना चाहिए इससे अलग गर्भावस्था के दौरान यदि कॉम्प्लिकेशंस हो रहे हैं तो उस दिन ही अपनी डाइट में बदलाव करने से पहले एक बार एक्सपर्ट की सलाह जरूर लें।
इस लेख में फोटोज़ Freepik से ली गई हैं।