
पिप्पली का नाम आपने जरूर सुना होगा। कई बार लोग इसे सिर्फ एक मसाले की तरह देखते हैं। जबकि आयुर्वेद में पिप्पली को साधारण मसाला नहीं, बल्कि एक प्रभावशाली औषधि माना जाता है। खास बात यह है कि पिप्पली शरीर पर धीरे काम करती है, लेकिन इसका असर गहरा और लंबे समय तक रहने वाला होता है। यही वजह है कि पिप्पली चूर्ण यानी इसके पाउडर का सेवन करने से सेहत को कई खास फायदे मिल सकते हैं।
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आयुर्वेदिक ग्रंथों में पिप्पली को त्रिकटु का अहम हिस्सा बताया गया है, जिसमें सोंठ और काली मिर्च भी शामिल होती हैं। पिप्पली का मुख्य सक्रिय तत्व पिपेरिन होता है, जो पाचन अग्नि को तेज करने, पोषक तत्वों के अवशोषण को बेहतर बनाने और सूजन को कम करने में मदद करता है। आजकल कमजोर पाचन, बार-बार सर्दी-खांसी और इम्युनिटी से जुड़ी समस्याओं के कारण पिप्पली चूर्ण का इस्तेमाल फिर से बढ़ रहा है। आइए आसान भाषा में समझते हैं पिप्पली चूर्ण के फायदे और इसे लेने का सही तरीका।
1. कमजोर पाचन को मजबूत बनाता है
अगर खाना खाने के बाद भारीपन, गैस या अपच की समस्या रहती है, तो पिप्पली चूर्ण काफी फायदेमंद हो सकता है। यह पाचन अग्नि को सक्रिय करता है, जिससे खाना सही तरीके से पच पाता है। साथ ही यह आंतों में जमे हुए टॉक्सिन्स को धीरे-धीरे कम करने में मदद करता है। जिन लोगों को भूख कम लगती है, जिन्हें कब्ज की समस्या है या थोड़ा सा खाने पर भी पेट भर जाता है, उनके लिए पिप्पली चूर्ण उपयोगी माना जाता है।
2. खांसी, जुकाम और कफ में राहत
पिप्पली की तासीर गर्म होती है, इसलिए यह कफ को पिघलाने में मदद करती है। पुरानी खांसी, बलगम जमने या बार-बार सर्दी लगने की समस्या में पिप्पली चूर्ण असर दिखा सकता है। आयुर्वेद में इसे रेस्पिरेटरी सिस्टम को मजबूत करने वाली जड़ी-बूटी माना गया है। खासकर मौसम बदलने पर जिन लोगों को खांसी जल्दी पकड़ लेती है, उनके लिए यह मददगार हो सकती है।
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3. इम्युनिटी को सपोर्ट करता है
पिप्पली चूर्ण शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को संतुलित करने में मदद करता है। इसमें मौजूद पिपेरिन सूजन को कम करने और शरीर की प्राकृतिक रक्षा प्रणाली यानी इम्यूनिटी को बेहतर बनाने में मदद करती है। इसी वजह से इसे बार-बार बीमार पड़ने वाले लोगों के लिए फायदेमंद माना जाता है।
4. पोषक तत्वों के अवशोषण में सुधार
पिप्पली के इस फायदे के बारे में कम लोग जानते हैं। पिप्पली चूर्ण शरीर में आयरन, कैल्शियम और दूसरे जरूरी पोषक तत्वों के अवशोषण को बेहतर बना सकता है। इसलिए आयुर्वेद में इसे कई दवाओं के साथ प्रयोग के लिए दिया जाता है, ताकि उनका असर बेहतर हो सके।
5. मेटाबॉलिज्म को एक्टिव रखने में मदद
जिन लोगों का मेटाबॉलिज्म धीमा रहता है, उन्हें वजन बढ़ने, थकान और सुस्ती की शिकायत रहती है। पिप्पली चूर्ण मेटाबॉलिज्म को एक्टिव करता है, जिससे शरीर ऊर्जा का सही इस्तेमाल कर पाता है। हालांकि इसे वजन घटाने वाली औषधि समझना गलत होगा, लेकिन सही डाइट और रूटीन के साथ यह सपोर्ट जरूर दे सकता है।
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6. सांस से जुड़ी दिक्कतों में उपयोगी
पिप्पली चूर्ण फेफड़ों की कार्यक्षमता को सपोर्ट करता है। एलर्जी, सांस फूलना या सीने में भारीपन जैसी समस्याओं में यह राहत दे सकता है। लेकिन ध्यान रखें कि अस्थमा के मरीज इसे सिर्फ डॉक्टर की सलाह से ही लें।
कुल मिलाकर पिप्पली चूर्ण का सेवन सेहत के लिए कई तरह से फायदेमंद है। लेकिन इसका प्रयोग बिना किसी आयुर्वेदिक चिकित्सक की सलाह के नहीं करना चाहिए। अगर आप शुद्ध और भरोसेमंद पिप्पली चूर्ण की तलाश में हैं, तो Patanjali Ayurveda का पिप्पली चूर्ण एक अच्छा विकल्प हो सकता है। पतंजलि लंबे समय से आयुर्वेदिक औषधियों को पारंपरिक तरीके से तैयार करने के लिए जाना जाता है। पिप्पली चूर्ण आप पतंजलि के ऑनलाइन और ऑफलाइन स्टोर्स से आसानी से प्राप्त कर सकते हैं।
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Dec 22, 2025 12:50 IST
Published By : Anurag Gupta