बढ़ती गर्मी के कारण कई तरह की समस्याएं पैदा होना शुरू हो जाती है। वहीं, तेज गर्मी के साथ कई ऐसी बीमारियों भी हैं जो अपने पैर तेजी से पसारने लगती है। गर्मी में कई लोग बीमारियों का शिकार होते हैं। जिन लोगों का काम बाहर धूप में निकलने का है उन लोगों के लिए और भी ज्यादा परेशानी हो जाती है। तेज गर्मी के कारण लू लगना, हीट स्ट्रोक, डायरिया, बुखार व पेचिश जैसी समस्याएं होती है। हर साल कई लोग इन गंभीर बीमारियों के कारण अपनी जान गंवा बैठते हैं। लेकिन अगर सही समय पर बीमारी को पहचान कर इलाज करा लिया तो पीड़ित की जान का खतरा नहीं होता। हम आपको इस लेख में बताएंगे कि और कौन-सी ऐसी बीमारियां है जो आपके लिए खतरनाक हो सकती है।
गर्मियों में बीमारियों का खतरा
डिहाइड्रेशन
गर्मियों में पानी की कमी होना बहुत आम समस्या है, लेकिन कई मामलों में ये डिहाइड्रेशन का रूप भी ले सकती हैं। डिहाइड्रेशन यानी शरीर में पानी की कमी का होना। समय पर शरीर में सही मात्रा में पानी की पूर्ति न करना हमारे लिए घातक भी हो सकती है। इसलिए आपको गर्मी के दिनों में ज्यादा से ज्यादा पानी पीना चाहिए।
बचाव
वैसे तो शरीर में पानी की कमी को पूरा करना आसान काम है लेकिन फिर भी भागदौड़ भरी जिंदगी और अनियमित खानपान के कारण डिहाइड्रेशन की समस्या पैदा हो जाती है। इससे बचने के लिए आपको ज्यादा से ज्यादा मात्रा में पानी पीना चाहिए। इसके साथ ही आपको अपने खान-पान पर खास ध्यान रखना चाहिए। आप चाहें तो खीरा, ककड़ी, नारियल पानी, हरी सब्जियां, नींबू पानी, बेल का शरबत और खस का शरबत पीएं। इससे भी आपके शरीर में पानी की मात्रा पूरी होती है और आप डिहाइड्रेशन का शिकार होने से बच सकते हैं।
पीलिया
गर्मियों के मौसम में अक्सर पीलिये का खतरा बढ़ जाता है, ये बच्चे और बड़े दोनों के लिए ही परेशानी वाली बीमारी है। पीलिया को हेपेटाइटिस-ए भी कहा जाता है। पीलिया बैक्टीरिया से होने वाली बीमारी है जो दूषित पानी और दूषित खाना खाने से आपके शरीर में घूस जाते हैं। जिसकी वजह से आप पीलिये का शिकार हो जाते हैं। इस रोग में रोगी की आंखे व नाखून पीले हो जाते हैं और पेशाब भी पीले रंग का हो जाता है। इसका इलाज कराना बहुत जरूरी होता है, अगर इसे नजरअंदाज किया जाए तो ये गंभीर रूप भी ले सकता है।
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बचाव
पीलिया हो जाने पर स्वस्थ आहार लें, जो आपके स्वास्थ्य को किसी भी तरह से नुकसान न पहुंचाए। इसके साथ ही आपको तला-भुना खाना खाने से बचना चाहिए, जबतक आप पूरी तरह से स्वस्थ न हो जाएं।
चेचक
गर्मियों में होने वाली आम बीमारियों में से एक चेचक यानी चिकनपॉक्स भी है जो बैक्टीरिया के फैलने से होती है। चेचक होने पर पीड़ित के शरीर में लाल दाग पड़ जाते हैं और जगह-जगह फूंसी हो जाती है। इसके साथ ही सिरदर्द, बुखार, खांसी, जुकाम और गले में खराश भी चेचक के लक्षण हैं। चेचक एक ऐसा रोग है जो एक इंसान से दूसरे इंसान में आसानी से फैल सकता है। इसलिए इस दौरान पीड़ित से दूरी बनाना बहुत जरूरी हो जाता है।
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बचाव
बच्चों और युवाओं ज्यादा इस बीमारी की चपेट में आते हैं। चेचक से बचने के लिए वैसे तो टीके लगाए जाते हैं, जो इससे बचाव का सबसे सही तरीका माना जाता है, लेकिन इसके अलावा कई लोग घरेलू इलाज की मदद से भी इससे छुटकारा पाते हैं। इसके साथ ही खानपान और पीड़ित से दूरी बनाएं रखना बहुत जरूरी हो जाता है, नहीं तो कोई भी इसका शिकार हो सकता है।
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