आज के समय में डायबिटीज बच्चों से लेकर बड़े-बुजुर्ग हर उम्र के लोगों को प्रभावित कर रही है। डायबिटीज का असर न सिर्फ आपकी सेहत पर बुरा प्रभाव डालता है, बल्कि ये आपके शरीर के कई महत्वपूर्ण अंगों पर भी बुरा असर डालता है। डायबिटीज न सिर्फ आपकी आंखों, दिमाग, किडनी और लंग्स पर नकारात्मक प्रभाव डालती है, बल्कि इसका सीधा असर आपके ओरल हेल्थ पर भी पड़ सकता है। लेकिन कई लोगों को इस बारे में बहुत कम या न के बराबर जानकारी होती है। आइए गुरुग्राम के नारायणा अस्पताल की सीनियर कंसल्टेंट- एंडोक्राइनोलॉजी और डायबिटीज के डॉ. अभय अहलूवालिया से जानते हैं कि डायबिटीज का असर ओरल हेल्थ पर कैसे पड़ता है? (How does diabetes affect your oral health?)
डायबिटीज का ओरल हेल्थ पर प्रभाव - Impact Of Diabetes On Oral Health in Hindi
डॉ. अभय अहलूवालिया के अनुसार, डायबिटीज एक ऐसी स्वास्थ्य समस्या है, जो शरीर के हर हिस्से को प्रभावित कर सकती है। डायबिटीज न सिर्फ आपकी आंखों, किडनी और दिल से जुड़ी समस्याओं को बढ़ाता है, बल्कि यह ओरल हेल्थ पर भी बुरा प्रभाव डालता है। डायबिटीज के कारण मुंह से जुड़ी कई समस्याएं बढ़ सकती हैं जिसमें-
1. मसूड़ों की बीमारी
डायबिटीज शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को कमजोर कर देती है। जब शरीर इंफेक्शन से लड़ने में सक्षम नहीं होता, तो मसूड़ों में सूजन, रेडनेस, खून आना और दर्द जैसी समस्याएं हो जाती हैं। इसे ही पेरियोडोंटल डिजीज कहा जाता है। अगर समय पर इसका इलाज न किया जाए, तो यह बीमारी दांतों की जड़ों तक पहुंच सकती है। मसूड़े दांतों को पकड़ कर रखते हैं, और जब वे कमजोर हो जाते हैं, तो दांत हिलने लगते हैं या गिर भी सकते हैं। यह स्थिति न सिर्फ दर्दनाक होती है, बल्कि खाना चबाने और बोलने जैसी गतिविधियों को भी प्रभावित करती है।
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2. मुंह सूखना
डायबिटीज में लार ग्रंथियां सही तरह से काम नहीं करतीं, जिससे लार का उत्पादन कम हो जाता है और मुंह सूखने लगता है। लार मुंह की सफाई और बैक्टीरिया को कंट्रोल करने में अहम भूमिका निभाती है। इसलिए, जब आपके मुंह में लार कम होती है, तो बैक्टीरिया तेजी से पनपने लगते हैं। इस कारण मुंह की बदबू, कैविटी और इंफेक्शन का जोखिम कई गुना बढ़ जाता है। लगातार मुंह सूखने की समस्या में खाना चबाने और निगलने में भी दिक्कत हो सकती है।
3. फंगल इंफेक्शन
डायबिटीज के कारण अगर ब्लड शुगर लेवल ज्यादा हो जाए तो यह मुंह के अंदर यीस्ट फंगस (Candida) के बढ़ने का कारण बन सकते हैं। यह फंगस इंफेक्शन का कारण बन सकते हैं, जिसे कैंडिडिआसिस या थ्रश कहते हैं। यह आमतौर पर जीभ, गालों के अंदर और तालु पर सफेद दाग या परत के रूप में दिखाई देता है। इस समस्या में आपके मुंह में जलन, स्वाद में बदलाव और कभी-कभी हल्का दर्द भी महसूस हो सकता है। यह इंफेक्शन ज्यादातर उन्हीं लोगों में होता है, जिनका इम्यून सिस्टम कमजोर होता है और डायबिटीज इस समस्या का एक बड़ा कारण है।
4. दांतों में कैविटी
डायबिटीज में जब ब्लड शुगर लेवल ज्यादा होता है, तो इसका असर मुंह में मौजूद शुगर लेवल पर भी पड़ता है। शुगर बैक्टीरिया का खाना होता है, जिससे वे ज्यादा एक्टिव हो जाते हैं और मुंह में एसिड बनाते हैं। यह एसिड पीड़ित के दांतों की ऊपरी परत को नुकसान पहुंचा सकते हैं, जिससे कैविटी या दांतों में सड़न की समस्या शुरू हो सकती है। इतना ही नहीं, अगर समय पर इस समस्या का इलाज न किया जाए तो यह दर्द और इंफेक्शन का कारण बन सकता है।
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डायबिटीज में मुंह से जुड़ी किन समस्याओं को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए?
डायबिटीज से पीड़ित मरीजों को ओरल हेल्थ यानी मुंह से जुड़ी कुछ शुरुआती समस्याओं को कभी भी हल्के में नहीं लेना चाहिए, न ही नजरअंदाज करना चाहिए। इन संकेतों में मसूड़ों से बार-बार खून आना, मुंह में लगातार सूखापन होना, मुंह से बदबू आना, दांतों का हिलना, मुंह में जलन या फफोले होना शामिल हैं। ये सभी संकेत ओरल हेल्थ में गड़बड़ी की ओर इशारा करते हैं। इसलिए, अगर आपको डायबिटीज है और ये लक्षण नजर आते हैं तो इन्हें नजरअंदाज किए बिना तुरंत डेंटिस्ट से कंसल्ट करें।
निष्कर्ष
डायबिटीज सिर्फ मरीज के शरीर के अहम हिस्सों को ही प्रभावित नहीं करती हैं, बल्कि इसका प्रभाव मुंह की सेहत पर भी पड़ता है। इसलिए, डायबिटीज के मरीजों को अपने संपूर्ण स्वास्थ्य का ध्यान रखने के साथ-साथ ओरल हेल्थ पर भी फोकस करना चाहिए। साथ ही, मुंह से जुड़ी किसी भी तरह की समस्या होने पर तुरंत डॉक्टर को दिखाना चाहिए।
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FAQ
ओरल केयर कैसे किया जाता है?
ओरल केयर स्वस्थ दांतों और मसूड़ों के लिए बहुत अहम होता है। इसके लिए जरूरी है कि आप दिन में दो बार ब्रश करें, फ्लॉस करें और माउथवॉश का उपयोग करें। इसके अलावा, हेल्दी डाइट और नियमित रूप से ओरल हेल्थ चेकअप भी जरूरी है।डायबिटीज किसकी कमी से होता है?
डायबिटीज शरीर में इंसुलिन की कमी के कारण होती है। इंसुलिन एक हार्मोन है, जो अपके शरीर में ग्लूकोज के स्तर को कंट्रोल करने में मदद करता है। इसलिए, जब आपका शरीर पर्याप्त मात्रा में इंसुलिन नहीं बनाता है या सेल्स द्वारा इंसुलिन का प्रभावी ढंग से उपयोग नहीं किया जाता है, तो डायबिटीज होता है।डायबिटीज से शरीर में क्या होता है?
डायबिटीज के कारण से शरीर में कई तरह की समस्याएं बढ़ जाती हैं। यह समस्या आमतौर पर आपके दिल, किडनी, आंखों, नसों और पैरों को नुकसान पहुंचा सकती है।
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