Fake vs Real Labour Pain in Hindi: जब महिला प्रेग्नेंट होती है, तो उसे सबसे ज्यादा अपनी डिलीवरी का इंतजार होता है। आमतौर पर महिलाओं को डिलीवरी 37वें हफ्ते के बाद 42वें हफ्ते के बीच हो सकती है। महिलाएं डिलीवरी से पहले लेबर पेन महसूस करती हैं। अब सबसे बड़ी समस्या यह होती है कि लेबर पेन सही है या फिर फेक है। इसकी जानकारी महिलाओं को कम होती है। इस वजह से वे पेट में होने वाले किसी भी दर्द से घबरा जाती हैं और अस्पताल चली जाती हैं। बाद में पता चलता है कि पेट में जो दर्द हो रहा था,वह लेबर पेन नहीं था। इसलिए हमने गुड़गांव के क्लाउडनाइन अस्पताल के स्त्रीरोग विशेषज्ञ विभाग की डायरेक्टर डॉ. चेतना जैन (Dr. Chetna Jain Director, Dept of Obstetrics & Gynecology, Cloudnine Group of Hospitals, Sector 14, Gurgaon) से फेक और रियल लेबर पेन की बात की।
लेबर पेन में रियल दर्द की पहचान - How to Know Real Labour Pain in Hindi
इस बारे में डॉ. चेतना का कहना है, “महिलाओं को शरीर के कुछ लक्षणों के प्रति अलर्ट रहना चाहिए। इससे वे आसानी से पता कर सकती हैं कि उनका लेबर पेन रियल है या फेक (labour pain in hindi) है।”
- लेबर पेन में पीठ या पेट के निचले हिस्से या फिर जांघों के ऊपरी हिस्से में होने लगता है।
- दर्द काफी हद तक पीरियड्स जैसा होता है।
- दर्द के पैटर्न पर ध्यान देना जरूरी है। अगर दर्द फिक्स घंटे पर आता है, जैसे कि हर आधे घंटे के इंटरवल पर 15-20 सेकेंड पर बार-बार दर्द हो रहा है, तो यह रियल लेबर पेन (symptoms of labour pain)हो सकता है।
- वॉटर बैग के फटने पर महिला को तुरंत अस्पताल लेकर जाना चाहिए।
- वॉटर बैग फटने पर पानी की तरह तरल पदार्थ वजाइना से निकलता है।
- कई बार अगर पानी बहुत ज्यादा लीक होता है, तो महिला के सारे ही कपड़े गीले हो जाते हैं, अन्यथा अंडरवियर में थोड़ा-थोड़ा पानी निकलता हुआ महसूस होगा।
अगर किसी महिला को कोई भी जटिलता नहीं है, तो लेबर पेन के दर्द पर दो घंटे तक नजर रख सकती है, लेकिन वॉटर बैग फटने की स्थिति में तुरंत डॉक्टर से सलाह लें।
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लेबर पेन में फेक दर्द की पहचान - How to Know Fake Labour Pain in Hindi
डॉ. चेतना जैन ने फेक दर्द की पहचान के लक्षण भी समझाए हैं।
- फेक पेन में अक्सर महिला में दर्द का पैटर्न एक जैसा नहीं होता।
- अगर महिला को एक बार दर्द 1 घंटे के बाद 10-15 सेकेंड के लिए आया और फिर दूसरा दर्द 2-3 घंटे के बाद आया, तो यह दर्द लेबर पेन का नहीं है।
- अगर महिला को म्यूक्स प्लग निकलता है, तो ये लेबर पेन नहीं, बल्कि लेबर पेन होने के शुरुआती लक्षण हैं।
- कई बार म्यूक्स प्लग काफी पहले निकलने लगता है, और डिलीवरी काफी दिन बाद होती है।
वॉटर बैग और म्यूक्स प्लग में अंतर - Water Bag vs Mucus Plug in Hindi
डॉ. चेतना ने बहुत ही आसान भाषा में दोनों का अंतर समझाते हुए बताया है कि अक्सर महिलाएं वॉटर बैग फटने और म्यूक्स प्लग में अंतर नहीं कर पाती हैं। म्यूक्स प्लग निकलना लेबर पेन का शुरुआती लक्षण हो सकता है। महिलाओं को समझना चाहिए कि अगर म्यूक्स प्लग निकलता है, तो ज्यादा घबराने की जरूरत नहीं है। म्यूकस प्लग गर्भाश्य में भ्रूण को संक्रमण से बचाने का काम करता है। यह काफी हद तक चिपचिपा और गाढ़ा होता है। जब यह निकलने लगता है, तो समझ जाना चाहिए कि शरीर ने लेबर पेन की तैयारी शुरू कर दी है। अगर म्यूकस प्लग 37वें हफ्ते से पहले निकलने लगे, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।
इसके विपरीत, वॉटर बैग फटने पर पानी जैसा तरल पदार्थ बाहर निकलता है। इसका मतलब है कि तुरंत डिलीवरी होने वाली है।अगर पानी बहुत ज्यादा लीक होता है, तो महिला के सारे ही कपड़े गीले हो जाते हैं, अन्यथा अंडरवियर में थोड़ा-थोड़ा पानी निकलता हुआ महसूस होगा। इस स्थिति में महिला को अपनी डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए और अस्पताल जाना चाहिए।
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डिलीवरी से पहले इन समस्याओं के प्रति अलर्ट रहें - Complications Before Delivery in Hindi
ब्लीडिंग होना
अगर गाढ़ा ब्लड जैसा डिस्चार्ज होने लगता है। अगर तेज ब्लीडिंग होती है, तो यह खतरनाक हो सकता है। ऐसी स्थिति में महिला को बिना किसी देरी के तुरंत अस्पताल जाना चाहिए।
बेबी की मूवमेंट महसूस न होना
अगर आपका डिलीवरी का समय हो चुका है, लेकिन पेट में दो से तीन घंटे तक बेबी की मूवमेंट महसूस नहीं हो रही, तो यह काफी दिक्कत वाली बात हो सकती है। कई महिलाएं खाना खाकर घर में ही घूमती रहती हैं कि थोड़ी देर में बेबी की मूवमेंट हो जाएगी, लेकिन इस स्थिति में महिला को डॉक्टर से चेक कराना चाहिए कि बेबी की स्थिति कैसी है।
सांस लेने में दिक्कत होना
अगर महिला को सांस लेने में दिक्कत हो, साथ ही फीवर हो, तो तुरंत डॉक्टर से मिलकर सलाह लें। आखिरी तिमाही में कई महिलाओं के शरीर में सूजन आ जाती है, खासतौर पर हाथ, पैर और मुंह पर सूजन हो सकती है। इसके बारे में डॉक्टर से सलाह लें।
महिलाओं को लेबर पेन को लेकर ज्यादा पैनिक नहीं होना चाहिए। स्ट्रेस न लें, बल्कि यह समय अपनों के बीच बिताएं। अगर किसी भी तरह की दिक्कत महसूस हो, तो डॉक्टर से तुरंत सलाह लें।
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