बेडसोर (Bedsore) ज्यादातर नवजात बच्चों जिनकी उम्र 8 या 9 महीने तक हो या बुजुर्गों में होती है। इसके अलावा गंभीर बीमारियों से पीड़ित और एक्सीडेंट के कारण लंबे समय तक बिस्तर पर लेटे रहने वाले लोगों में बेडसोर (प्रेशर अल्सर) की समस्या होती है। जब कोई व्यक्ति किसी एक करवट में बिस्तर पर रोजाना लेटता है तो उसे बेडसोर होने का चांस रहता है। बुजुर्गों में ये समस्या ज्यादा होती है क्योंकि एक उम्र के बाद जब वह चलने में असमर्थ हो जाते हैं तो बिस्तर पर लेटे हुए ही उनके सभी काम होते हैं। ऐसे में उनकी पीठ पर या जिस करवट में वह लेटते हों उस तरफ घाव (Bed sore) होने का डर बढ़ जाता है। ज्यादातर बेडसोर शरीर में उन जगहों पर होता है जहां स्किन और हड्डी के बीच ज्यादा मांस नहीं होता है, जैसे- पीठ, कोहनी और कूल्हा। इस लेख में हम रामहंस चेरिटेबल हॉस्पिटल, सिरसा के आयुर्वेदिक डॉक्टर श्रेय शर्मा से जानेंगे बेडसोर होने के लक्षण और बचाव के घरेलू तरीके।
बेडसोर होने के लक्षण- Symptoms Of Bedsores In Hindi
- बेडसोर होने पर व्यक्ति की स्किन का रंग सबसे पहले दबाव के कारण बदलने लगता है। ज्यादातर उस जगह का रंग डार्क हो जाता है या फिर कई बार स्किन पर नीला निशान भी दिखता है।
- व्यक्ति को लेटते या बैठते वक्त बेडसोर होने वाली जगह पर दर्द शुरू हो जाता है।
- स्किन के ऊपर घाव से दिखने लगते हैं और कई बार फफोले भी पड़ जाते हैं।
- घाव में पस भर जाता है, जिसके कारण इंफेक्शन हो सकता है।
बेडसोर दूर करने का घरेलू इलाज
इसे भी पढ़ें: Loneliness Signs: ये 5 संकेत बताते हैं कि बुजुर्ग हो रहे हैं अकेलेपन का शिकार, सही नहीं है अनदेखी
- बेडसोर की समस्या होने पर आप रोजाना बिस्तर को बदलें और मरीज को नहलाएं। इसके साथ ही सफाई का खास ख्याल रखें।
- मरीज को कॉटन के हल्के कपड़े पहनाएं और जिस तरफ घाव बन रहा है उस तरफ न लिटाएं।
- मरीज को जहां घाव हुआ हो वहां नारियल का तेल लगाएं। नारियल के तेल के इस्तेमाल से घाव जल्दी ठीक हो सकता है। ध्यान रखें कि आप दिनभर में कम से कम 5 से 6 बार नारियल का तेल लगाएं।
इसे भी पढ़ें: बुजुर्ग महिलाओं को रोजाना शुगर वाली ड्रिंक पीने से हो सकती है लिवर से जुड़ी समस्या : स्टडी
- बेडसोर को सही करने के लिए आप डॉक्टर की सलाह पर मरीज के घाव पर ताजा एलोवेरा जेल भी लगा सकते हैं लेकिन अगर इसे लगाने से जलन होती है तो तुरंत साफ कर दें।
- हल्दी में प्राकृतिक एंटीबायोटिक और एंटीसेप्टिक गुण होते हैं, ऐसे में आप हल्के घाव पर चुटकीभर हल्दी भी छिड़क सकते हैं। इसका उपयोग डॉक्टर के परामर्श के बाद करें।
- डॉक्टर की सलाह पर आप गिलोय और त्रिफला का इस्तेमाल भी कर सकते हैं।
- मरीज को ऐसे कपड़े न पहनाएं जिनमें पीछे की तरफ बटन या कोई भी चुभने की चीज हो। पीठ में घाव, बटन या चुभने की चीज से समस्या बिगड़ सकती है।