हमारे देश में योग का अभ्यास प्राचीन काल से ही ऋषि मुनियों द्वारा किया जा रहा है। योग का नियमित अभ्यास शरीर को सम्पूर्ण रूप से स्वस्थ बनाने और फिट रखने के लिए बहुत फायदेमंद है। क्या आप जानते हैं कि ईंटों की मदद से आप अपना योगाभ्यास सरल कर सकते हैं? दरअसल ईंट की बनावट ही ऐसी होती है जिससे आपको योगाभ्यास के दौरान मदद मिलती है। हालांकि ईंट की मदद से योग का अभ्यास आसान भी नहीं होता है। आज हम आपको ऐसे ही 3 योगासनों के बारे में बताने जा रहे हैं जिसका अभ्यास आप ईंट के सहारे से कर सकते हैं। ये योगासन शरीर को फ्लेक्सिबल बनाने और फिट रखने में बहुत लाभदायक माने जाते हैं। इन योगासनों का अभ्यास नियमित रूप से करने से कई फायदे मिलते हैं। आइये जानते हैं इनके बारे में।
ईंट की मदद से करें इन 3 योगासनों का अभ्यास (Yoga Poses With Bricks)
ईंट की मदद से योग का अभ्यास तमाम लोग करते हैं। दरअसल ईंटों की चौकोर बनावट योग के दौरान आपके शरीर के संतुलन को स्थिर रखने का भी काम करता है। अगर आप बहुत ज्यादा देर तक जमीन पर बैठ नहीं पाते हैं या योग के अभ्यास के दौरान आप बाजुओं को संतुलित और स्थिर रखने में परेशानी का अनुभव करते हैं तो आपको योगाभ्यास के दौरान ईंटों का इस्तेमाल करना चाहिए। हाल ही में बॉलीवुड अभिनेत्री मलाइका अरोड़ा ने भी ईंटों की सहायता से योगासनों का अभ्यास करते हुए एक पोस्ट किया था। आइये जानते हैं उन तीन योगासनों के बारे में जिनका ईंटों की सहायता से अभ्यास कर आप शरीर को फिट और फ्लेक्सिबल बना सकते हैं।
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1. परिव्रत उत्कटासन (Parivrata Utkatasana)
परिव्रत उत्कटासन का अभ्यास शरीर को फ्लेक्सिबल बनाने के लिए बहुत उपयोगी माना जाता है। इसका अभ्यास ईंट की मदद से आसानी से किया जा सकता है। परिव्रत उत्कटासन का नाम संस्कृत से लिया गया है और इसे अंग्रेजी में रिवॉल्व्ड चेयर पोज भी कहा जाता है। शरीर के लचीलेपन को बढ़ाने और रीढ़ की हड्डी को मजबूत करने के लिए इस आसन का नियमित अभ्यास बहुत उपयोगी माना जाता है। इसका रोजाना अभ्यास करने से शरीर के डिटॉक्सिफिकेशन में मदद मिलती है। आप नियमित रूप से ईंट के सहारे इस योगासन का अभ्यास आसानी से कर सकते हैं।
अभ्यास का तरीका -
- परिव्रत उत्कटासन का अभ्यास करने के लिए आप एक ईंट ले लें।
- इसके बाद एक कुर्सी पर आराम से बैठ जाएं और जांघों को समान दूरी पर रखें।
- अब आप अपने पैरों को ब्रिक्स या ईंट पर रखें।
- इसके बाद सांस भरते हुए हाथों को नमस्कार मुद्रा में रखें।
- सांस छोड़े और अपने शरीर को बाईं ओर मोड़ें।
- फिर दाहिनी कोहनी को अपने बाएं घुटने के पास रखें।
- इस दौरान नमस्कार मुद्रा में हाथों को चेस्ट के सामने रखें।
- शुरुआत में 5 से 10 मिनट तक इसी पोज में रहें और फिर सामान्य अवस्था में आ जाएं।
- अब यही प्रक्रिया दूसरी तरफ से दोहराएं।

2. अश्व संचालनासन (Equestrian Pose)
अश्व संचालनासन को घुड़सवार आसन और अंग्रेजी में इसे इक्वेस्ट्रियन पोज (Equestrian Pose) के नाम से जाना जाता है। इस योगासन का अभ्यास सूर्य नमस्कार का अभ्यास करते समय भी किया जाता है। यह योगासन ईंट के साथ आसानी से किया जा सकता है। इसके नियमित अभ्यास से शरीर के लचीलेपन को बढ़ाने में मदद मिलती है और इससे कूल्हों और काफ की मांसपेशियों को अच्छा स्ट्रेच मिलता है। रीढ़ की हड्डी को सीधा करने के लिए और ब्लड सर्कुलेशन को बेहतर करने के लिए इसका अभ्यास बहुत उपयोगी होता है।
अभ्यास का तरीका -
- सबसे पहले अश्व संचालनासन का अभ्यास करने के लिए समतल जमीन पर योगा मैट के सहारे बैठ जाएं।
- अब अपने दोनों हाथों में एक ईंट को पकड़कर नीचे की ओर करके रखें।
- अब खड़े होकर अपने दोनों पैरों को आसपास रखें।
- इसके बाद घुटनों के बल खड़े हों।
- अब इस आसन का अभ्यास के लिए अपने दाहिने पर को आगे की तरफ लाकर रखें।
- इस दौरान अपनी पिंडलियों और जांघों के बीच में 90 डिग्री का कोण बनाएं।
- अब हाथों को दाहिने टांग के बगल में रखें और उंगलियों से जमीन को छूते हुए संतुलन बनाएं।
- गर्दन सीधी रखें और सामने की तरफ देखें।
- इसके बाद इस पोजीशन में कुछ देर रहें और फिर वापस सामान्य मुद्रा में आ जाएं।
- अब यही प्रक्रिया बाएं पैर से भी दोहराएं।
3. त्रिकोणासन (Trikonasana Or Triangle Pose)
त्रिकोणासन का अर्थ शरीर को त्रिकोण (Triangle) की स्थिति में ले जाना होता है। स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए इस आसन का नियमित अभ्यास बेहद फायदेमंद माना जाता है। ईंट की मदद से इस योगासन का अभ्यास आसानी और प्रभावी ढंग से किया जा सकता है। इस योगासन के अभ्यास से न सिर्फ शरीर फिट और फ्लेक्सिबल होता है बल्कि तनाव आदि में भी फायदा मिलता है।
अभ्यास का तरीका -
- त्रिकोणासन करने के लिए सबसे पहले दोनों पैरों के सहारे सीधे खड़े हो जाएं।
- अब इसके बाद अपने दोनों हाथों में एक-एक ईंट पकड़कर रखें।
- दाहिने पैर के पंजे को 90 डिग्री के कोण पर घुमाएं और बाएं पैर के पंजे को 15 डिग्री पर रखें।
- अब शरीर को मोड़ते हुए नीचे की तरफ ले जाएं और अपने दाहिने हाथ को नीचे जमीन पर रखें और बाएं हाथ को ऊपर की तरफ हवा में उठायें।
- शरीर पर थोड़ा तनाव देते हुए बाएं हाथ को बाएं पैर के साथ नीचे तब तक स्लाइड करें जब तक कि आपकी उंगलियां आपके टखने पर न हों।
- लगभग 30 सेकंड इसी स्थिति में रहने के बाद इसी प्रक्रिया को दाहिनी तरफ भी करें।
इन तीनों योगासनों का अभ्यास शरीर को फ्लेक्सिबल और फिट बनाए रखने के लिए बहुत उपयोगी होता है। आप आसानी से इसका अभ्यास कर सकते हैं। ये मध्यम श्रेणी के योगासन हैं जिनका अभ्यास बहुत कठिन नहीं होता है। इन तीन योगासनों के अलावा आप ईंटों की सहायता से कई अन्य योगासनों का अभ्यास भी कर सकते हैं। शुरुआत में इन योगासनों के अभ्यास के लिए एक्सपर्ट की सहायता जरूर लें।
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