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हार्ट की बीमारी में किया जाता है होल्टर मॉनिटर टेस्ट, जानें इसके बारे में

Holter Monitor Test: होल्टर मॉनिटर एक पोर्टेबल इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम (ईसीजी) मशीन है, जिससे हार्ट की जांच की जाती है।
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हार्ट की बीमारी में किया जाता है होल्टर मॉनिटर टेस्ट,  जानें इसके बारे में


Holter Monitor Test: हार्ट की बीमारियों का पता लगाने के लिए कई तरह की जांच की जाती है। इसमें से ही एक टेस्ट है होल्टर मॉनिटर। कपूर हार्ट सेंटर के वरिष्ठ कार्डियोलॉजिस्ट डॉ केके कपूर कहते हैं, "होल्टर मॉनिटर एक पोर्टेबल इलेक्ट्रोकार्डियोग्राम (ईसीजी) मशीन है, जिसका उपयोग हार्ट की गतिविधि को 24 से 48 घंटों तक लगातार रिकॉर्ड करने के लिए किया जाता है।" यह परीक्षण उन लोगों के लिए उपयोगी होता है जिनमें अनियमित हृदय धड़कन, छाती में दर्द या अन्य हार्ट से जुड़ी समस्याएं होती हैं। जब नॉर्मल ईसीजी से हार्ट की समस्याओं का पता नहीं लग पाता है, तो इस टेस्ट को कराने की सलाह दी जाती है।

होल्टर मॉनिटर टेस्ट के फायदे

होल्टर मॉनिटर टेस्ट कराने से इन समस्याओं का पता लगाने में मदद मिलती है-

  • अनियमित हृदय धड़कन का पता लगाना: होल्टर मॉनिटर टेस्ट का सबसे आम उपयोग अनियमित हृदय धड़कन (अर्थात अतालता) का पता लगाना है, जो कभी-कभी ईसीजी के सामान्य टेस्ट में दिखाई नहीं देती है।
  • छाती में दर्द का मूल्यांकन: यदि आपको छाती में दर्द होता है, तो होल्टर मॉनिटर टेस्ट यह निर्धारित करने में मदद कर सकता है कि यह दर्द हृदय से संबंधित है या नहीं।
  • दवाओं की प्रभावशीलता की जांच: यह टेस्ट यह निर्धारित करने में मदद कर सकता है कि हृदय की दवाएं कितनी अच्छी तरह काम कर रही हैं।
  • हार्ट की अन्य समस्याओं का निदान: होल्टर मॉनिटर अन्य हृदय समस्याओं जैसे हृदय की विफलता, हृदय की ब्लॉक और हृदय की संरचनात्मक समस्याओं के निदान में भी मदद कर सकता है।
Holter Monitor Test in Hindi
 

होल्टर मॉनिटर टेस्ट की प्रक्रिया

टेस्ट से पहले, आपको अपने डॉक्टर को बताना होगा कि आप कौन सी दवाएं ले रहे हैं। आपको टेस्ट के दौरान सामान्य गतिविधियों को करने के लिए कहा जाएगा। इसके बाद डॉक्टर इस तरह से आपकी जांच करते हैं-

इलेक्ट्रोड लगाना: टेस्ट के दिन, एक प्रशिक्षित तकनीशियन आपकी छाती और पेट पर छोटे, चिपकने वाले पैच (इलेक्ट्रोड) लगाएगा। ये इलेक्ट्रोड हृदय की विद्युत गतिविधि को रिकॉर्ड करते हैं।

मॉनिटर पहनना: होल्टर मॉनिटर एक छोटा, बैटरी से चलने वाला उपकरण है, जिसे आप एक पट्टी या बैग में पहन सकते हैं। यह उपकरण इलेक्ट्रोड से जुड़ा होता है और हृदय की गतिविधि को रिकॉर्ड करता है।

दैनिक गतिविधियां: टेस्ट के दौरान, आपको अपने सामान्य दैनिक गतिविधियों को जारी रखना होगा। आपको एक डायरी रखनी पड़ सकती है जिसमें आप अपनी गतिविधियों, लक्षणों और दवाओं का रिकॉर्ड रख सकें।

मॉनिटर हटाना: निर्धारित समय के बाद, तकनीशियन मॉनिटर और इलेक्ट्रोड को हटा देगा।

डेटा विश्लेषण: रिकॉर्ड किया गया डेटा एक कंप्यूटर द्वारा विश्लेषण किया जाता है। आपके डॉक्टर टेस्ट के परिणामों की समीक्षा करेंगे और आपको समझाएंगे।

होल्टर मॉनिटर टेस्ट के दौरान सावधानियां

  • टेस्ट के दौरान नहाने से बचें, क्योंकि इससे इलेक्ट्रोड हट सकते हैं।
  • टेस्ट के दौरान शारीरिक गतिविधियों में भाग लें, ताकि हृदय की विभिन्न स्थितियों में रिकॉर्डिंग हो सके।
  • टेस्ट के दौरान किसी भी असामान्य लक्षण जैसे छाती में दर्द, चक्कर आना या बेहोशी की स्थिति होने पर तुरंत अपने डॉक्टर को सूचित करें।

होल्टर मॉनिटर टेस्ट हार्ट की समस्याओं का पता लगाने के लिए किया जाता है। इस टेस्ट के माध्यम से कई गंभीर स्थितियों के निदान में मदद मिलती है। होल्टर मॉनिटर टेस्ट कराने से पहले आपको डॉक्टर की सलाह जरूर लनी चाहिए।

(Image Courtesy: freepik.com)

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