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मायोपिया में बच्चों को दूर की चीजे देखने में होती है मुश्किल, जानें इसे कैसे करें मैनेज

कुछ बच्चे दूर की चीजों को साफ तरीके से नहीं देख पाते हैं। इस स्थिति को मायोपिया के नाम से जाना जाता है। आगे जानते हैं मायोपिया की स्थिति को मैनेज करने के लिए क्या उपाय होते है।
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मायोपिया में बच्चों को दूर की चीजे देखने में होती है मुश्किल, जानें इसे कैसे करें मैनेज


How To Manage Myopia in Kids In Hindi: कुछ बच्चों को बेहद छोटी उम्र ही चश्मा लग जाता है। दरअसल, कुछ बच्चे समय के साथ दूर की चीजों को साफ तरह से नहीं देख पाते हैं। इस स्थिति को मायोपिया के नाम से पहचाना जाता है। इसमें बच्चा दूर की चीजों को साफ नहीं देखता है लेकिन पास की चीजों को क्लीयर देख सकता है। यदि इस स्थिति को अनदेखा कर दिया जाए तो इससे बच्चे की आंखों पर जोर पड़ता है, जिससे बच्चों को देखने की समस्या होती है। कई अभिभावक इस स्थित के बारे में जानकर घबरा जाते हैं, उन्हें लगता है कि बच्चे की आंखे पर दोबारा ठीक नहीं हो पाएंगी। वहीं डॉक्टर्स भी कहते हैं कि समय पर मायोपिया का इलाज न किया जाए तो यह गंभीर रूप ले सकता है। फिलहाल इस लेख में यशोदा अस्पताल की पीडियाट्रिक्स सीनियर कंसल्टेंट डॉ दीपिका रुस्तगी से जानते हैं कि बच्चों के मायोपिया में अभिभावक कैसे मैनेज कर सकते हैं।

मायोपिया के कारण - Causes Of Myopia in Kids

  • नेचुरल लाइट में कम समय बिताने से मायोपिया की संभावना बढ़ती है।
  • यदि माता-पिता में से किसी एक को मायोपिया है, तो बच्चों में इसके होने की संभावना अधिक होती है।
  • मोबाइल, टैबलेट और टीवी का लंबे समय तक उपयोग आंखों पर दबाव डालता है।
  • शरीर को सही पोषण न मिलने पर आंखों की सेहत प्रभावित हो सकती है।

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बच्चों में मायोपिया को कैसे मैनेज किया जाता है?

आंखों की नियमित जांच कराएं

बच्चे की आंखों की नियमित जांच कराना मायोपिया के शुरुआती लक्षणों का पता लगाने में मदद करता है। आमतौर पर, 6 महीने से 1 साल के अंतराल में डॉक्टर से जांच करानी चाहिए।

आंखों को आराम दें

हर 20 मिनट पर 20 फीट दूर देखें और 20 सेकंड तक रुकें। बच्चों का स्क्रीन समय को सीमित करें और बीच-बीच में उन्हें किताबों को पढ़ने या कंप्यूटर देखने से ब्रेक लेने के लिए कहें।

बच्चे को धूप में समय बिताने के लिए प्रेरित करें

धूप में खेलना और समय बिताना आंखों के स्वास्थ्य के लिए बेहद लाभकारी माना जाता है। बाहर की प्राकृतिक रोशनी मायोपिया के लक्षणों को धीमा करने में मदद कर सकती है।

डाइट में करें बदलाव

बच्चों को विटामिन ए, सी, और ई से भरपूर खाद्य पदार्थ, जैसे गाजर, पालक, और संतरा खाने के लिए प्रोत्साहित करें। ओमेगा-3 फैटी एसिड से भरपूर खाद्य पदार्थ, जैसे मछली और नट्स, आंखों की सेहत में सुधार करते हैं।

सही चश्मा या लेंस पहनाएं

यदि बच्चे को मायोपिया हो चुका है, तो डॉक्टर द्वारा सुझाए गए चश्मे या कॉन्टैक्ट लेंस का उपयोग सुनिश्चित करें। इससे आंखों पर तनाव कम होगा और दृष्टि सही बनी रहेगी।

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How To Manage Myopia In Children In Hindi : बच्चों में मायोपिया एक सामान्य समस्या है, लेकिन सही प्रबंधन और जीवनशैली में बदलाव से इसे रोका या नियंत्रित किया जा सकता है। बच्चों को स्क्रीन से दूर रखकर, बाहर खेलने के लिए प्रोत्साहित करके और नियमित आंखों की जांच कराकर उनकी दृष्टि को स्वस्थ बनाए रखना संभव है।

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