आंखें हमारे शरीर के सबसे अहम अंगों में से एक हैं। आंखों की सही देखभाल करना न सिर्फ हमारी सेहत के लिए जरूरी है, बल्कि ये हमारे लाइफ के लिए भी बहुत जरूरी है। आंखों के बिना एक दिन भी रहना किसी भी व्यक्ति के लिए बहुत मुश्किल है। धूल-मिट्टी, ड्राईनेस, जलन, एलर्जी या इन्फेक्शन के कारण आंखों से जुड़ी समस्याएं बढ़ जाती है, जो रोजमर्रा के जीवन को प्रभावित करती है। इसलिए, आंखों में होने वाली किसी भी तरह की समस्या से बचाव के लिए डॉक्टर आंखों में आई ड्रॉप डालने की सलाह देते हैं। लेकिन, ड्रॉप डालने के बाद कुछ लोग अपनी आंखों को थोड़ी देर बंद करते हैं, जबकि कुछ लोग तुरंत अपनी आंखे खोल लेते हैं। ऐसे में आइए नोएडा के मेट्रो अस्पताल में मेट्रो आई सेंटर के सीनियर कंसल्टेंट और चैयरमैन डॉ. रजत आनंद से जानते हैं कि आंखों में ड्रॉप डालने के बाद कितनी देर आंख बंद रखनी चाहिए?
आई ड्रॉप डालने के बाद कब तक आंखें बंद रखनी चाहिए?
डॉ. रजत आनंद का कहना है कि आई ड्रॉप डालने के बाद आंखें कुछ देर बंद रखना बहुत जरूरी है। आमतौर पर आई ड्रॉप डालने के बाद कम से कम 2 मिनट तक आंखों को बंद (How long to keep eyes closed after eye drops?)रखना चाहिए। ऐसा करने से दवा को अच्छी तरह आंखों में अवशोषित होने में मदद मिलती है। लेकिन, ग्लूकोमा जैसी समस्याओं के लिए अगर आप आंखों में ड्रॉप डाल रहे हैं तो 3 से 5 मिनट तक आंखों को बंद रखना चाहिए। ड्रॉप डालने के बाद आंखें बंद रखने से दवा का प्रभाव अच्छा होता है और इलाज में भी मदद मिलती है।
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आई ड्रॉप डालने के बाद आंख क्यों बंद रखना चाहिए?
आंखों में आई ड्रॉप डालने के बाद कुछ देर उन्हें बंद रखना आपकी आंखों के लिए बहुत जरूरी है, क्योंकि-
- दवा का असर: जब आप आई ड्रॉप को अपनी आंखों में डालने के बाद तुरंत आंखें खोल देते हैं तो दवा आंसू नली के जरिए नाक और गले में चाल जाता है। इससे आंख में दवा की मात्रा कम हो जाती है और उसका असर कम हो जाता है। आंखें बंद रखने से दवा ज्यादा देर तक आंखों में रहती है और बेहतर तरीके से काम करती है।
- दवा का शरीर पर असर: कई आई ड्रॉप्स खासकर ग्लूकोमा की दवाएं, शरीर में अवशोषित होकर ब्लड प्रेशर, दिल की धड़कन या सांस पर असर डाल सकती हैं। आंखें बंद रखने और हल्के से आंसू नली पर दबाव डालने से दवा नाक-गले में जाने से बचती है और ये साइड इफेक्ट कम हो जाते हैं।
- जलन में कमी: आंखों में आई ड्रॉप डालने के तुरंत बाद खोलने से आंखों में चुभन या जलन की समस्या हो सकती है। ऐसे में जब आप ड्रॉप डालने के बाद आंखें बंद रखते हैं तो ये समान रूप से फैल जाता है, जिससे आंखों में जलन या चुभन की समस्या कम होती है।
- आंख की नमी बनाए रखें: ड्राई आई की समस्या से पीड़ित मरीजों के लिए आई ड्रॉप डालने के बाद कुछ देर आंखें बंद रखना फायदेमंद होता है, क्योंकि इससे आंखों में नमी लंबे समय तक बनी रहती है।
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आई ड्रॉप डालने का सही तरीका
आंखों को स्वस्थ रखने के लिए जरूरी है कि आप आई ड्रॉप सही तरीके से डालें-
- सबसे पहले अपने हाथों को साफ करने के लिए साबुन और पानी से अच्छी तरह धोएं।
- आई ड्रॉप की शीशी को हिलाएं और फिर अपनी आंखों में डालें।
- आई ड्रॉप को आंखों में डालने के लिए सिर को थोड़ा पीछे की ओर झुकाएं और ऊपर की ओर देखें।
- निचली पलक को नीचे खींचें और आंख में जगह बनती है और दवा सही से गिराई जा सकती है।
- डॉक्टर द्वारा बताई गई आई ड्रॉप्स की मात्रा को आंखों में डालें।
- ड्रॉप डालने के तुरंत बाद आंखें धीरे से बंद करें और 2 मिनट तक बंद रखें।
निष्कर्ष
आई ड्रॉप्स का असर सिर्फ इसकी क्वालिटी पर निर्भर नहीं करता है, बल्कि ये किसी तरह इस्तेमाल किया जाता है, इस बात पर भी निर्भर करता है। इसलिए, आंखों में आई ड्रॉप डालने के बाद आंखों को कुछ देर जरूर बंद करें, ताकि दवा आंखों में सही तरह से अपना असर दिखा सके।
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FAQ
आंखों की कमजोरी के लक्षण क्या हैं?
आंखों की कमजोरी होने पर धुंधला दिखना, आंखों में थकान या जलन, सिरदर्द, आंखों के सामने अंधेरा आदि लक्षण नजर आ सकते हैं।किस विटामिन की कमी से आंखों में जलन होती है?
आंखों में जलन का मुख्य कारण शरीर में विटामिन बी12 की कमी हो सकती है, क्योंकि इसकी कमी से कॉर्नियल तंत्रिका परत रिपेयर नहीं हो पाती है और आंखों में सूखापन महसूस हो सकता है।आंखों में धुंधलापन आ जाए तो क्या करें?
आंखों में धुंधलापन दिखने पर तुरंत किसी आई स्पेशलिस्ट को दिखाना चाहिए, क्योंकि यह गंभीर समस्या का संकेत हो सकता है।