जानुशीर्षासन (Janu Sirsasana) बैठकर किया जाने वाला एक आसन है। इसे करने से शरीर को कई लाभ मिलते हैं। जानुशीर्षासन एक संस्कृत शब्द है, यह दो शब्दों ‘जानु’ इसका मतलब है ‘घुटना’ और ‘शीर्ष’ का मतलब है ‘सिर’ से मिलकर बना है। इस आसन में सिर को घुटने पर रखना होता है। इससे बॉडी टोन होती है, यह थायरॉइड में भी फायदेमंद होता है। नियमित रूप से जानुशीर्षासन करने से कंधे, पैरों और पेट की मांसपेशियां मजबूत होती हैं। यह पैरों के दर्द में भी राहत दिलाता है। नियमित रूप से इस आसन को करने से आंतें सुरक्षित रहती हैं। नियमित रूप से इस आसन को करने से मानसिक तनाव भी दूर होता है। श्री लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय संस्कृत विश्वविद्यालय, नई दिल्ली, योग विज्ञान विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉक्टर रमेश कुमार से जानें जानुशीर्षासन करने से होने वाले फायदे और इसे करने का सही तरीका (Benefits and Right Way of Janu Sirsasana)-
जानुशीर्षासन करने का तरीका (Right way of Janu Sirsasana)
किसी भी आसन को करने का फायदा तभी मिलता है, जब उसे पूरे तरीके के साथ किया जाए। आसन को करने के लिए आपको इसका सही तरीका पता होना जरूरी है। जानें जानुशीर्षासन को करने का सही तरीका-
- - जानुशीर्षासन करने के लिए सबसे पहले आप किसी शांतिपूर्ण और साफ-सुथरी जगह पर एक योगा मैट या चादर बिछा लें।
- - इस मैट पर दोनों पैरों को सामने की तरफ सीधा करके बैठ जाएं।
- - अपने दोनों हाथों को सीधा करें और जमीन पर रख दें।
- - इस दौरान अपनी रीढ़ की हड्डी, कमर और गर्दन को एकदम सीधा रखें।
- - दोनों पैरों की उंगुलियों पर खिंचाव महसूस करें।
- - अपने दाएं पैर को मोड़कर इसके तलवे को बाएं पैर की जांघ के पास जमीन पर रखें।
- - दाएं पैर की एड़ी आपके गुप्तांग से टच होनी चाहिए।
- - अपने दोनों हाथों को ऊपर उठाएं और सांस लेते हुए कमर से शरीर को मोड़ते हुए नीचे की तरफ झुकाएं।
- - बाएं पैर के पंजों को अपने हाथों की उंगुलियों से पकड़ने की कोशिश करें।
- - सिर को बाएं पैर के घुटने पर रखने की कोशिश करें।
- - इस दौरान आपके पैर को मुड़ने नहीं चाहिए।
- - अब इस स्थिति में 10 से 30 सेकेंड तक रहें और सांस लेते रहें। आप इसे अपनी क्षमता के अनुसार बढ़ा भी सकते हैं।
- - इसके बाद धीरे-धीरे प्रारंभिक अवस्था में आ जाएं।
- - अब आपको इस आसन को बाएं पैर के साथ करना है। यानी अब बाएं पैर को दाएं पैर की जांघ पर इस आसन को करना है।
- - इससे पैरों की मांसपेशियों में खिंचाव पैदा होता है।
इसे भी पढ़ें - Extended Angle Pose: उत्थित पार्श्वकोणासन को करने से सेहत को होते हैं ये 6 फायदे, जानें इसकी विधि
जानुशीर्षासन करने से होने वाले फायदे (Benefits of Janu Shirshasana)
जानुशीर्षासन करने से शरीर को कई फायदे मिलते हैं। इससे शरीर स्वस्थ रहता है और हम सेहतमंद रहते हैं। इसके नियमित रूप से करने और सही तरीके से करने पर आप इसके फायदों का लाभ उठा सकते हैं। विस्तार से जानें जानुशीर्षासन करने के फायदे-
पैरों और पेट की मांसपेशियां बनाए मजबूत (Strengthen the Muscles of the Legs and Stomach)
पैरों और पेट की मांसपेशियों को मजबूत बनाने के लिए आपको नियमित रूप से इस आसन को जरूर करना चाहिए। इतना ही नहीं जानुशीर्षासन करने से पेट के रोग भी दूर होते हैं। यह पेट के रोग जैसे गैस, कब्ज, एसिडिटी और अपच की समस्या को ठीक करने में भी फायदेमंद होता है। इसे रोज करने से पाचन तंत्र भी मजबूत बनता है और पाचन क्रिया से जुड़े रोग नहीं होते हैं।
थायरॉइड की समस्या में फायदेमंद (Beneficial in Thyroid Problem)
आजकल महिलाओं में थायरॉइड की समस्या बढ़ती ही जा रही हैं। इसे ठीक करने के लिए अच्छे खान-पान के साथ ही शारीरिक रूप से सक्रिय (Active) होना भी बहुत जरूरी है। आप भी थायरॉइड की समस्या में जानुशीर्षासन कर सकते हैं। थायरॉइड में इस आसन को करना बेहद फायदेमंद होता है।
मानसिक तनाव कम करे (Reduce Mental Stress)
आजकल ऑफिस, घर का स्ट्रेस बढ़ता जा रहा है। ज्यादातर महिलाएं टेंशन के चलते मानसिक तनाव का शिकार हो जाती हैं। ऐसे में इसे समय से ठीक करना जरूरी होता है क्योंकि समय के साथ-साथ यह बढ़ता जाता है, जिससे गंभीर मानसिक विकार होने की संभावना बढ़ जाती हैं। अगर आप भी मानसिक तनाव से पीड़ित हैं, तो जानुशीर्षासन को नियमित रूप से कर सकते हैं। इसे करने से आपकी थकान, टेंशन, स्ट्रेस और तनाव दूर होगा।
पैरों के दर्द में दिलाए आराम (Relief in Legs Pain)
जानुशीर्षासन करने से पैरों के दर्द में बहुत आराम मिलता है। अगर कैल्शियम की कमी की वजह से या शारीरिक सक्रियता की कमी की वजह से लोग पैरों में दर्द की शिकायत करते हैं। अगर आप भी फिजिकली एक्टिव नहीं रहते हैं, तो इस वजह से भी आपकों पैरों में दर्द की समस्या हो सकती है। ऐसे में आपको नियमित रूप से इस आसन को जरूर करना चाहिए। इससे कुछ ही दिनों में आपको इस समस्या में आराम मिल जाएगा।
इसे भी पढ़ें - कमर से लेकर पैरों तक में मजबूती लाता है हनुमान आसन, जानें इसे करने की विधि और फायदे
मोटापा कम करे (Reduce Fat)
अगर आप अपने बढ़े हुए वजन से परेशान हैं, तो इस आसन को रोज सुबह खाली पेट जरूर करें। इससे आपको शरीर का फैट धीरे-धीरे कम होने लगेगा और आप कुछ दिनों में एकदम फिट नजर आने लगेंगे। अगर आप मोटे नहीं हैं, लेकिन अपने वजन को कंट्रोल में रखना चाहते हैं, तो भी इस आसन को रोज कर सकते हैं। यह आसन आपका वजन नहीं बढ़ने देगा। फिट रहने के लिए यह आसन बेहद कारगर है।
शरीर का तापमान बढ़ाए (Raise Body Temperature)
जानुशीर्षासन करने से शरीर का तापमान बढ़ता है। ठंड लगने पर इस आसन को करने से शरीर को गर्मी मिलती है। इसके साथ ही इसे करने से खांसी, जुकाम और बुखार की समस्या भी ठीक होती हैं। इतना ही नहीं इस आसन को करने से सूजन को भी दूर करता है।
ये भी हैं जानुशीर्षासन करने के फायदे (Other Bbenefits of Janu Sirsasana)
- - नियमित रूप से जानुशीर्षासन करने से हिप्स की शेप अच्छी होती है।
- - इससे बॉडी टोन होती है और एकदम फिट नजर आती है।
- - रोजाना जानुशीर्षासन करने से हैमस्ट्रिंग मजबूत होते हैं।
- - कंधों की मजबूती के लिए भी जानुशीर्षासन करना बेहद फायदेमंद होता है।
- - प्रजनन प्रणाली में सुधार करने के लिए भी इस आसन को करना लाभकारी हो सकता है।
- - इस आसन को रोज करने से शरीर में ब्लड सर्कुलेशन बढ़ता है।
- - ल्यूकोरिया यानी सफेद पानी निकलने की समस्या में भी राहत दिलाता है।
- - इस आसन को करने से यूरिनरी डिसीज भी ठीक हो सकते हैं।
- - फेफड़ों को मजबूत बनाने के लिए भी आप इस आसन को कर सकते हैं।
जानुशीर्षासन करते हुए सावधानियां (Precautions During Janu Sirsasana)
कोई भी आसन करने से पहले उसकी सावधानियों के बारे में जरूर जान लेना चाहिए। क्योंकि कई आसन ऐसे होते हैं, जिसे कुछ लोगों को करने से बचना चाहिए। जानुशीर्षासन करते हुए रखने वाली सावधानियां-
- - कमर और पीठ में दर्द के दौरान इस आसन को करने से बचना चाहिए।
- - गर्भवती महिलाएं भी इस आसन को करने से बचें।
- - घुटनों में दर्द की समस्या होने पर भी जानुशीर्षासन बिल्कुल न करें।
- - अगर आपको हर्निया की समस्या हैं तो भी इस आसन को करने से बचें।
- - अगर आपके आंतों में इंफेक्शन या सूजन है तो भी इस आसन को न करें।
जानुशीर्षासन करने से पहले करें ये आसन (Do These Asana Before Doing Janu Sirsasana)
जानुशीर्षासन को करने से पहले आपको इसे करने के लिए तैयार होना होगा। इससे पहले आपको कुछ ऐसे आसन करने होंगे, जिससे आप बाद में इस आसन को आसानी से कर सकते हैं।
- - दंडासन (Dandasana)
- - वक्रासन (Vakrasana)
- - सूक्ष्म व्यायाम (Light Exercies)
इस आसन को नियमित रूप से करने पर आपको कई स्वास्थ्य लाभ मिलते हैं। आप भी इस अपनी दिनचर्या में शामिल कर सकते हैं। लेकिन शुरुआत में इसे हमेशा किसी एक्सपर्ट की देखरेख में ही करें। बाद में आप इसकी विधि सीख जाएंगे तो खुद भी घर पर इसे कर सकतें हैं।
Read More Articles on Yoga in Hindi