Borderline Personality Disorder: बॉर्डरलाइन पर्सनैलिटी डिसऑर्डर एक तरह की मानसिक स्थिति है, जिसमें व्यक्ति की भावनाएं, विचार और दूसरों के साथ संबंध प्रभावित होते हैं। दरअसल, इस विकार में व्यक्ति की सोचने की क्षमता पर प्रभाव पड़ता है। इससे व्यक्ति की रोजमर्रा की जिंदगी अव्यवयस्थित हो जाती है। यह समस्या मुख्य रूप से किशोरावस्था व वयस्कों में देखने को मिलती है। इस विकार में व्यक्ति लोगों के साथ सही तरह से व्यवहार नहीं कर पाता है। जिसकी वजह से लोग उससे मिलने से कतराते हैं। वहीं, व्यक्ति को रिश्ते खराब होने का डर भी सताता है। इस वजह से उनके दिमाग में कई तरह के विचार चलते रहते हैं। विशेषज्ञों के मुताबिक यह समस्या मुख्य रूप से महिलाओं में देखने को मिलती है। इस विकार में व्यक्ति का मूड तेजी से परिवर्तित होता है। ऐसे में आपको तुरंत डॉक्टर से इलाज शुरु कराने की आवश्यकता होती है। आगे मेडिकवर अस्पताल के सीनियर कसंल्टेंट व न्यूरोलॉजिस्ट डॉक्टर जयेंद्र यादव जानते हैं बॉर्डरलाइन पर्सनैलिटी डिसऑर्डर (बीपीडी) के क्या लक्षण महसूस हो सकते हैं।
बॉर्डरलाइन पर्सनालिटी डिसऑर्डर के लक्षण - Symptoms Of Borderline Personality Disorder In Hindi
रिश्ते अस्थिर होना
बॉर्डरलाइन पर्सनैलिटी डिसऑर्डर (बीपीडी) वाले व्यक्ति अक्सर स्थिर और स्वस्थ रिश्ते बनाए रखने में संघर्ष करते हैं। वे तेजी से बदलती भावनाओं का अनुभव कर सकते हैं, जिससे दूसरों के साथ संबंध बनाने और बनाए रखने में कठिनाई हो सकती है। अशांत रिश्तों के पैटर्न को पहचानना बीपीडी का एक प्रमुख संकेत है।
मूड में बदलाव
भावनात्मक रूप से कमजोर होना बीपीडी का एक लक्षण है। तेजी से तीव्र मूड परिवर्तन, जो अक्सर बाहरी घटनाओं से उत्पन्न होता हैं। क्रोध, चिंता और उदासी का कारण बन सकते है। बीपीडी वाले व्यक्तियों को अपनी भावनाओं को नियंत्रित करना चुनौतीपूर्ण लग सकता है। साथ ही वह अपने मूड को भी कंट्रोल में नहीं रख पाते हैं।
अकेले रहने का डर
दोस्तों व रिश्तेदारों द्वारा परित्याग का डर बीपीडी का एक प्रमुख लक्षण है। व्यक्ति लोगों द्वारा परित्याग से बचने के लिए बहुत अधिक प्रयास कर सकते हैं, जिसके परिणामस्वरूप वह कई बार जिद्दी स्वभाव के हो जाते हैं।
आवेगशील व्यवहार करना
बीपीडी वाले व्यक्तियों में आवेगशीलता एक सामान्य लक्षण है। यह लापरवाह व्यवहारों में प्रकट हो सकता है जैसे मादक द्रव्यों का सेवन, अत्यधिक खाना, लापरवाही से गाड़ी चलाना या असुरक्षित यौन संबंध बनाना। ये आवेगपूर्ण कार्य अक्सर भावनात्मक डर को कम करने या खालीपन की भावनाओं से बचने की इच्छा से प्रेरित होते हैं।
खुद को नुकसान पहुंचाने का विचार आना
भावनात्मक रूप से कमजोर होने के चलते व लोगों द्वारा उन्हें अकेला छोड़ने के विचार से वह घबराने लगते हैं और कई बार उनको खुद को नुकसान पहुंचाने के विचार आने लगते है। कुछ मामलों में वह खुद को काटने या जलाने जैसी स्थिति से गुजर सकते हैं।
बॉर्डरलाइन पर्सनालिटी डिसऑर्डर में बचाव के उपाय - Prevention Tips of Borderline Personality Disorder In Hindi
- व्यक्ति के व्यवहार में लगातार बदलाव होने पर आप तुरंत डॉक्टर से मिलकर उनका इलाज शुरु कराएं।
- लोगों, रिश्तेदारों और दोस्तों के साथ मेलजोल बढ़ाएं व हो सके तो रोजाना किसी न किसी से अवश्य मिलें।
- पर्याप्त नींद लेने से मानसिक स्थिति को मजबूत करने में मदद मिलती है। ऐसे में व्यक्ति को 7 से 8 घंटों की नींद लेने की सलाह दें।
- योग व मेडिटेशन से मानसिक और दिमागी विकारों को काफी हद तक दूर कर सकते हैं।
- डाइट में बदलाव करें और शराब-कैफीन का इस्तेमाल करें।
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Borderline Personality Disorder: बॉर्डरलाइन पर्सनैलिटी डिसऑर्डर एक मानसिक विकार है जिसका इलाज किया जा सकता है। आप डॉक्टर से मिलकर उनका इलाज करा सकते हैं। साथ ही, ऐसे व्यक्ति को मेंटेली सपोर्ट प्रदान करें। उनको समझने का प्रयास करें और परिवार के लोगों को उनका सहयोग करना चाहिए। इससे उनको रिकवरी में मदद मिलती है।