आज की भागदौड़ भरी दिनचर्या, अनियमीत खानपान और नाईट शिफ्ट के कारण हार्ट अटैक होना बहुत आम हो गया है। लेकिन क्या आप जानते हैं, कि जिन महिलाओं को दर्दनाक और भारी मात्रा में पीरियड्स का सामना करना पड़ता है, उन महिलाओं में भी हार्ट के जोखिम की संभावना तीन गुना अधिक होती है। यह जानकारी एक शोध से सामने आई है। भारी और पीड़ादायक मेंस्ट्रुअशन डिस्ऑर्डर एंडोमेट्रियोसिस के कारण होती है। इस समस्या के कारण गर्भाशय के टिश्यु की असामान्य वृद्धि होने लगती है।
अमेरिका के मैसाचुसेट्स राज्य की राजधानी बोस्टन स्थित ब्रिंघम एंड विमेन हॉस्पिटल से इस अध्ययन की मुख्य लेखक फैन मू के अनुसार, एंडोमेट्रियोसिस विकार वाली महिलाओं को इसके बारे में जानकारी होनी चाहिए कि उन्हें एंडोमेट्रियोसिस विकार रहित महिलाओं की तुलना में हार्ट अटैक का उच्च खतरा होता है। खासकर युवा अवस्था में यह जोखिम अधिक होता है।
इस शोध के लिए वैज्ञानिकों ने नर्सेस हेल्थ स्टडी के दूसरे भाग के एक लाख 16 हजार 430 महिलाओं के आंकड़ों का आकलन किया था। ऑपरेशन के द्वारा 11 हजार 903 महिलाओं के परीक्षण के आखिरी चरण में इस विकार की पहचान की गई थी।
20 सालों के परीक्षण में शोधार्थियों ने पाया कि एंडोमेट्रियोसिस विकार रहित महिलाओं की तुलना में एंडोमेट्रियोसिस विकार वाली महिलाओं में 1.52 प्रतिशत अधिक हार्ट अटैक और 1.91 प्रतिशत एंजीना और सीने के दर्द का जोखिम होता है।
शोधार्थियों का कहना है कि एंडोमेट्रियोसिस के ऑपरेशन से भी आंशिक रूप से हार्ट अटैक का जोखिम बढ़ सकता है। यह शोध 'सर्कुलेशन कार्डियोवस्कुलर क्वालिटी एंड आउटकम्स" पत्रिका में प्रकाशित हुआ है।
Image Source : Getty
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