जयपुर : मकर संक्रांति में पतंगबाजी पड़ी सेहत पर भारी, 300 बच्चे हुए अस्पताल में भर्ती

बीते मंगलवार को देशभर में मकर संक्रांति का पवित्र त्यौहार मनाया गयाा है। इस दिन हमारे यहां नहा धोकर सूर्य देव की पूजा करने और घर में पकवान बनाने का रिवाज है। सिर्फ यही नहीं मकर संक्रांति को पतंग उड़ाने का त्यौहार भी कहते हैं। इस दिन बच्चे सुबह से लेकर शाम तक पतंग उड़ाते हैं। जिसके चलते पूरा आसमान हरा भरा दिखता है। लेकिन अफसोस की बात यह है कि राजस्थान की राजधानी जयपुर में पतंगबाजी का शौक लोगों की सेहत पर भारी पड़ता दिखा।
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जयपुर : मकर संक्रांति में पतंगबाजी पड़ी सेहत पर भारी, 300 बच्चे हुए अस्पताल में भर्ती


बीते मंगलवार को देशभर में मकर संक्रांति का पवित्र त्यौहार मनाया गयाा है। इस दिन हमारे यहां नहा धोकर सूर्य देव की पूजा करने और घर में पकवान बनाने का रिवाज है। सिर्फ यही नहीं मकर संक्रांति को पतंग उड़ाने का त्यौहार भी कहते हैं। इस दिन बच्चे सुबह से लेकर शाम तक पतंग उड़ाते हैं। जिसके चलते पूरा आसमान हरा भरा दिखता है। लेकिन अफसोस की बात यह है कि राजस्थान की राजधानी जयपुर में पतंगबाजी का शौक लोगों की सेहत पर भारी पड़ता दिखा।आकड़े बताते हैं कि इस दिन विभिन्न अस्पतालों में करीब 300 या इससे ज्यादा लोग पहुंचे। जिनमें से कुछ बुरी तरह से घायल थे तो किसी को पतंग उड़ाने के मांजे से हाथ पैर कटने की शिकायत थी। सिर्फ यही नहीं कुछ बच्चे इतने बुरी तरह से भी घायल हुए है कि उनका सिटी स्कैन और एक्सरे आदि करना पड़ा।

बच्चों को आई हैं गंभीर चोटें

सवाई मान सिंह (एसएमएस) अस्पताल के इंस्टीट्यूट ऑफ ट्रॉमाटोलॉजी एंड ऑर्थोपेडिक्स (आईटीओ) में 227 ऐसे मरीज पहुंचे जिन्हें पतंग संबंधी चोटों के कारण अस्पताल लाया गया था। एसएमएस अस्पताल के अधिकारियों के अनुसार 45 लोग ऐसे थे जिन्हें गंभीर चोटें आईं और उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। हालांकि ऐसे 41 मरीज भी थे जो पतंग (मांझा) की चोटों से पीड़ित थे। यह सब हादसे पतंग के लालच में ही हुए हैं। कई बच्चे पतंग उड़ाते वक्त छत से गिर गए तो कुछ कटी पतंग को लूटने के चक्कर में पैने मांजे से चोटिल हो गए।

पतंगों का पीछा करते घायल हुए लोग 

मानसिंह अस्पताल में भर्ती 4 साल के लक्ष्य के चाचा का कहना है कि सुबह तकरीबन 9 बजे एक कटी पतंग का पीछा करते हुए उनका भतीजा लक्ष्य छत से गिर गया। जिसके चलते उसके सिर में गंभीर चोट आई है। डॉक्टरों ने सिटी स्कैन कराने की सलाह दी है। वहीं प्रताप नगर के सेक्टर 35 के रहने वाला 12 साल का मासूम पतंग का पीछा करते हुए गाड़ी से टकराकर घायल हो गया। मासूम के पैर में गंभीर चोट आई है।

क्या कहते हैं डॉक्टर

घायलों का इलाज कर रहे डॉक्टर्स का कहना है कि कुछ बच्चों को तो इतनी गंभीर चोटें आई हैं कि उन्हें 10 से 15 दिन तक भर्ती करना पड़ सकता है। इसके साथ ही इन बच्चों के सिटी स्कैन, एक्स रे और कई तरह के ब्लड टेस्ट कराने की भी जरूरत पड़ सकती है। हालांकि कुछ बच्चे ऐसे भी आए थे जिन्हें हाथों हाथों दवा देकर रवाना कर दिया गया। जबकि कुछ बच्चे ऐसे भी हैं जिन्हें 2 से 3 दिन में आराम पहुंचने की उम्मीद है।

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