सेहत के लिए रोजाना आधा घंटा नंगे पांव पैदल चलना बहुत अच्छा होता है। इससे कई खतरनाक बीमारियां जैसे, हृदय रोग, डायबिटीज और कैंसर जैसे रोगों से निजात मिल सकती है। नंगे पैर दौड़ने से एनर्जी लेवल बढ़ता और घुटनों और कूल्हों की हड्डियां भी मजबूत होती हैं। यह बात तो सभी जानते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि धावकों के पैरों में अक्सर होने वाले दर्द की शिकायत को नंगे पैर दौड़ने से दूर किया जा सकता है। एक ताजा शोध में बताया गया है कि जूते पहनकर दौड़ने से जमीन से एड़ियां ज्यादा टकराती हैं। नंगे पैर दौड़ना मांसपेशियों में होने वाले तनाव को काफी हद तक कम कर सकता है।
शोध के अनुसार
हार्वर्ड यूनिवर्सिटी के प्रमुख शोधकर्ता डा. डेनियल लीबरमैन के मुताबिक 'ज्यादातर लोग यही मानते हैं कि नंगे पैर दौड़ना पैरों को नुकसान पहुंचा सकता है। लेकिन, वास्तविकता यह है कि आप दुनिया की सबसे कठोर सतह पर भी बिना किसी तकलीफ के दौड़ सकते हैं। शरीर में मौजूद सेलुलोज पैरों की त्वचा को खराब होने से बचाते हैं। जूते पहनकर दौड़ने की अपेक्षा नंगे पैर दौड़ना कम घातक होता है।'
अपने शोध में चिकित्सकों ने जूते पहनकर दौड़ने वाले लोगों की एडि़यों का अध्ययन किया। उनकी एडि़यों को ही पूरे शरीर में दर्द के संचार के लिए जिम्मेदार पाया गया। इसके उलट नंगे पैर दौड़ने पर हड्डियों पर झटका लगने का खतरा कम देखा गया। शोधकर्ताओं ने दो तरह के एथलीटों को अपने शोध में शामिल किया। एक वह जो हमेशा नंगे पैर दौड़ते हैं और दूसरे वे जो हमेशा जूते पहनकर दौड़ते हैं।
हील स्ट्राइक में कमी
जूते पहनकर दौड़ने वाले तीन चौथाई लोगों में 'हील स्ट्राइक' देखा गया। हील स्ट्राइक से तात्पर्य दौड़ने के दौरान जमीन पर एड़ी पटकने से है। प्रति डेढ़ किमी दौड़ने में एथलीट करीब एक हजार बार जमीन पर एड़ी पटकता है। जमीन से एड़ी की यह टक्कर काफी तेज होती है। लेकिन, नंगे पैर दौड़ने में हील स्ट्राइक काफी कम हो जाती है। नंगे पैर दौड़ने पर एड़ी की तुलना में जमीन पर पंजे ज्यादा लगते हैं।
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