How Much Saffron Is Safe: केसर एक बहुमूल्य और औषधीय गुणों से भरपूर मसाला है, जिसका उपयोग सदियों से भारतीय आयुर्वेद और पारंपरिक चिकित्सा पद्धतियों में किया जाता रहा है। यह न केवल खाने के स्वाद और रंग को बढ़ाने के लिए उपयोग किया जाता है, बल्कि कई फायदे भी प्रदान करता है। केसर में एंटीऑक्सीडेंट, एंटी-इंफ्लेमेटरी और तनाव कम करने वाले गुण होते हैं, जो हार्ट, मस्तिष्क और त्वचा के लिए लाभकारी माने जाते हैं। लेकिन जब कोई चीज लाभकारी होती है, तो अक्सर लोग यह सोचकर उसका ज्यादा सेवन करने लगते हैं कि इससे और ज्यादा फायदे मिलेंगे। केसर के मामले में भी यही होता है। लेकिन आयुर्वेद के अनुसार, हर व्यक्ति की शारीरिक प्रकृति (वात, पित्त, कफ) अलग होती है और किसी भी चीज का सेवन इस प्रकृति के अनुसार ही करना चाहिए। इस लेख में रामहंस चेरिटेबल हॉस्पिटल के आयुर्वेदिक डॉक्टर श्रेय शर्मा (Ayurvedic doctor Shrey Sharma from Ramhans Charitable Hospital) से जानिए, रोजाना कितना केसर लेना सुरक्षित है?
एक दिन में कितना केसर खा सकते हैं? - How Much Saffron Is Safe To Take Daily
आयुर्वेदिक डॉक्टर श्रेय शर्मा बताते हैं कि आयुर्वेद के अनुसार, केसर की तासीर गर्म होती है। यह शरीर में उष्णता (गर्मी) बढ़ाने का कार्य करता है, जिससे रक्त संचार सुधरता है और त्वचा की चमक बढ़ती है। हालांकि, ज्यादा मात्रा में लेने से यह पित्त दोष को बढ़ा सकता है, जिससे एसिडिटी, गर्मी बढ़ने की समस्या, त्वचा पर चकत्ते और अनिद्रा जैसी समस्याएं उत्पन्न हो सकती हैं। डॉक्टर के अनुसार, रोजाना 5-7 केसर के धागे सेवन करना सुरक्षित माना जाता है। हालांकि, यदि किसी व्यक्ति की पित्त प्रकृति अधिक है या शरीर में पहले से ही गर्मी की अधिकता है, तो उसे केवल 2-3 केसर के धागे ही लेने चाहिए। वहीं छोटे बच्चों को 1-2 धागे से अधिक नहीं देना चाहिए।
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गर्भवती महिलाओं को भी केसर का सेवन विशेष सावधानी के साथ करना चाहिए। आमतौर पर, गर्भावस्था के चौथे या पांचवें महीने से ही दूध में 2-3 धागे केसर डालकर पीने की सलाह दी जाती है। इससे शिशु के मस्तिष्क का विकास बेहतर होता है और मां के स्वास्थ्य पर पॉजिटिव प्रभाव पड़ता है।
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केसर का सेवन कब करना चाहिए? - What Is The Best Time To Drink Saffron
आयुर्वेद के अनुसार, केसर को ठंडे मौसम (शिशिर और बसंत ऋतु) में सेवन करना अधिक लाभकारी होता है। ग्रीष्म ऋतु में, जब तापमान पहले से ही अधिक होता है, तो केसर लेने से शरीर में अतिरिक्त गर्मी उत्पन्न हो सकती है, जिससे त्वचा पर रैशेज, डिहाइड्रेशन, नाक से खून आना जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसलिए, गर्मी के मौसम में इसे या तो बहुत कम मात्रा में लें या पूरी तरह से छोड़ दें।
केसर का सेवन कैसे करें? - What Is The Best Way To Consume Saffron
आयुर्वेद के अनुसार, केसर को हमेशा दूध के साथ लेना चाहिए। ऐसा इसलिए, क्योंकि दूध इसकी गर्मी को संतुलित करता है और इसके गुणों को बढ़ाता है। केसर को खाली पेट लेने से एसिडिटी हो सकती है, इसलिए इसे भोजन के बाद या रात में सोने से पहले लेना बेहतर होता है।
निष्कर्ष
केसर एक अद्भुत औषधि है, लेकिन इसका सेवन आयुर्वेद के नियमों के अनुसार सही मात्रा और सही तरीके से करना जरूरी है। सामान्य तौर पर 5-7 धागे पर्याप्त होते हैं, जबकि पित्त प्रकृति के लोगों को 2-3 धागे ही लेने चाहिए। हमेशा इसे दूध के साथ लेना चाहिए और गर्मियों में इसका सेवन कम मात्रा में ही करना चाहिए। सही मात्रा में और सही विधि से केसर लेने पर यह सेहत के लिए बहुत फायदेमंद साबित होता है।
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