Heart Attack Myths: हार्ट की बीमारियां सिर्फ बुजुर्गों को ही हों, ऐसा जरूरी नहीं है। युवा वर्ग में भी हार्ट अटैक के मामले तेजी से बढ़े हैं। आज कल फिजिकल एक्टिविटी की कमी भी आम होती जा रही है। इसके अलावा लाइफस्टाइल में बदलाव आना, फास्ट फूड का ज्यादा सेवन, स्ट्रेस के लक्षण बढ़ना, हार्ट की समस्याओं का कारण बनती जा रही हैं। इन सबके साथ एक बड़ी समस्या है, हार्ट अटैक से जुड़े मिथक। कई मिथक हैं, जो हार्ट अटैक के मामले बढ़ने के साथ तेजी से बढ़ रहे हैं। कुछ लोगों का मानना है कि केवल पुरुषों को ही हार्ट अटैक आते हैं, जो कि एक मिथक है। इस बात में भी सच्चाई नहीं है, कि जो लोग फिट हैं, उन्हें हार्ट अटैक नहीं आ सकता। कुछ लोगों को लगता है कि हार्ट अटैक आने पर केवल सीने में दर्द होता है। ऐसे ही कई मिथकों से सोशल मीडिया भरा हुआ है। ऐसे में हमारी जिम्मेदारी है कि हम आपको इन मिथकों की सच्चाई बताएं। इस विषय पर बेहतर जानकारी के लिए हमने लखनऊ के पल्स हॉर्ट सेंटर के कॉर्डियोलॉजिस्ट डॉ अभिषेक शुक्ला से बात की।
1. मिथक: हार्ट अटैक में सिर्फ सीने में दर्द होता है- Myth: Chest Pain is The Only Symptom of Heart Attack
कुछ लोगों को लगता है कि हार्ट अटैक आने पर केवल सीने में दर्द होता है। लेकिन यह सच नहीं है। हार्ट अटैक के लक्षण (Heart Attack Symptoms) हर व्यक्ति में अलग-अलग हो सकते हैं। हार्ट अटैक आने पर सीने में दर्द होता है, कुछ मामलों में हार्ट अटैक आने पर सीने में दर्द नहीं भी होता है। इसलिए लक्षणों को हल्के में नहीं लेना चाहिए। कई बार, थकान, सांस फूलना, चक्कर आना, पेट में दर्द वगैरह भी हार्ट अटैक के लक्षण हो सकते हैं।
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2. मिथक: दिल की धड़कन तेज होने का मतलब हार्ट अटैक है- Myth: Fast Heartbeat Means Heart Attack
कुछ लोग यह मानते हैं कि दिल की धड़कन के तेज होने का मतलब हार्ट अटैक है। जबकि यह मिथक है। अगर आपके दिल की धड़कन तेज हो रही है, तो इसका कारण स्ट्रेस, थकान, एक्सरसाइज करना वगैरह भी हो सकते हैं। लेकिन अगर हार्ट की तेज धड़कन के साथ, बेचैनी, सीने में दर्द, पसीना, चक्कर आते हैं, तो डॉक्टर की मदद जरूर लें। लेकिन हार बार दिल की तेज धड़कन का कारण हार्ट अटैक नहीं हो सकता।
3. मिथक: बाईपास या स्टेंट लगने के बाद हार्ट अटैक नहीं आएगा- Myth: No Risk of Heart Attack After Bypass or Stent
मेरे नानाजी को हार्ट अटैक आने के बाद स्टेंट लगाया गया था। लेकिन दोबारा हार्ट अटैक आने पर उनकी मौत हो गई। हमारे परिवार की तरह ही कई लोगों को यह लगता है कि स्टेंट लगने के बाद या बाईपास सर्जरी के बाद हार्ट अटैक नहीं आएगा। लेकिन यह केवल एक मिथक है। बाईपास सर्जरी या स्टेंट के बाद भी हार्ट अटैक आ सकता है। गलत खानपान, धूम्रपान और एक्सरसाइज न करने की आदत से, हार्ट अटैक का खतरा बढ़ सकता है।
4. मिथक: तनाव से हार्ट अटैक नहीं होता- Myth: Stress Do Not Cause Heart Attack
स्ट्रेस के लक्षणों (Stress Symptoms) को अक्सर लोग हल्के में लेते हैं, लेकिन यह हार्ट की सेहत पर बड़ा असर डालता है। क्रॉनिक स्ट्रेस की वजह से ब्लड प्रेशर का खतरा बढ़ता है। यही नहीं, स्ट्रेस के कारण हार्ट अटैक का रिस्क भी बढ़ जाता है और धमनियों में सूजन आ जाती है। योग, मेडिटेशन और संतुलित जीवनशैली की मदद से आप हार्ट अटैक से बचाव कर सकते हैं।
5. मिथक: एस्पिरिन से तुरंत हार्ट अटैक रुक जाता है- Myth: Aspirin Pill Can Stop Heart Attack Immediately
दर्द को दूर करने, बुखार कम करने, खून के थक्के बनने से रोकने के लिए एस्पिरिन का इस्तेमाल किया जाता है। कुछ लोग यह मानते हैं कि इस दवा का सेवन करने से हार्ट अटैक को रोका जा सकता है। लेकिन आपको बता दें कि यह दवा, हार्ट अटैक का इलाज (Heart Attack Treatment) नहीं है, यह दवा केवल खून को पतला करती है। हार्ट अटैक आने पर मरीज को सीपीआर देना चाहिए और उसे तुरंत हॉस्पिटल ले जाना चाहिए।
हार्ट अटैक से संबंधित इन मिथकों पर भरोसा न करें। डॉक्टर से सही जानकारी लें। हार्ट अटैक और हार्ट की समस्याओं से बचने के लिए हेल्दी लाइफस्टाइल को फॉलो करें।
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FAQ
हार्ट अटैक का पहला संकेत क्या है?
सीने में दबाव महसूस होना, हार्ट अटैक का पहला संकेत हो सकता है। इसके अलावा सीने में जलन या भारीपन भी इसका लक्षण है। इसके अलावा सांस फूलना, पसीना आना, घबराहट भी हार्ट अटैक का संकेत है।हार्ट अटैक में तुरंत क्या करें?
हार्ट अटैक आने पर मरीज को तुरंत बैठाएं या फिर लिटा दें, उसके कपड़ों को ढीला करें और हॉस्पिटल लेकर जाएं। ऐसा करने से मरीज की जान बच सकती है।हार्ट अटैक कितने मिनट का होता है?
हार्ट अटैक आमतौर पर 15 से 30 मिनट तक चल सकता है। हार्ट अटैक आने पर अगर मरीज को समय पर इलाज न मिले, तो हार्ट की मांसपेशियां स्थायी रूप से डैमेज भी हो सकती हैं।