स्ट्रेंथ ट्रेनिंग से जुड़े ये 5 भ्रम आपकी फिटनेस को पहुंचा रहे हैं नुकसान, जानें सच्चाई

गलत तरह से ट्रेनिंग होने के कारण कई बार लोगों को एक्सरसाइज के बावजूद नुकसान भी उठाना पड़ता है। लोगों में स्ट्रेंथ ट्रेनिंग से जुड़े कई तरह के भ्रम हैं, जिनका दूर होना जरूरी है।
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स्ट्रेंथ ट्रेनिंग से जुड़े ये 5 भ्रम आपकी फिटनेस को पहुंचा रहे हैं नुकसान, जानें सच्चाई


शरीर को मजबूत बनाने और बॉडी के अच्छे शेप के लिए ज्यादातर जिम ट्रेनर्स आपको स्ट्रेंथ ट्रेनिंग की सलाह देते हैं। स्ट्रेंथ ट्रेनिंग सभी के लिए नहीं होती है क्योंकि इसे करने के लिए काफी शक्ति चाहिए। गलत तरह से ट्रेनिंग होने के कारण कई बार लोगों को एक्सरसाइज के बावजूद नुकसान भी उठाना पड़ता है। लोगों में स्ट्रेंथ ट्रेनिंग से जुड़े कई तरह के भ्रम हैं, जिनका दूर होना जरूरी है। आइए आपको बताते हैं क्या हैं वे भ्रम।

एक्सरसाइज छोड़ने पर मोटापा

अक्सर लोग सोचते हैं कि स्‍ट्रेंथ ट्रेनिंग एक्सरसाइज छोड़ने के बाद वे अधिक मोटी हो जाते हैं। जबकि असलियत में ऐसा नहीं होता। यदि वेट ट्रेनिंग एक्सरसाइज को छोड़ने के बाद भी कोई व्यक्ति नियंत्रित डाइट और अच्छी जीवनशैली रखे तो वह कभी मोटा नहीं हो सकता है।

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ब्लड प्रेशर की समस्या हो सकती है

जब आप वजन उठाते हैं तो ब्लड प्रेशर बढ़ जाता है और जब वजन रखते हैं तो वापस से सामान्य भी हो जाता है। ऐसे में स्‍ट्रेंथ  ट्रेनिंग से लोगों का ब्लड प्रेशर बढ़ा रहने की समस्या हो जाएगी ये बिल्कुल निराधार बात है। बल्कि सच तो यह है कि इस एक्सरसाइज से ब्लड प्रेशर और अन्य कार्डियोवास्कुलर समस्याओं की आशंका बहुत कम हो जाती है।

ज्‍यादा ट्रेनिंग मतलब ज्‍यादा फायदा  

लोग मानते हैं कि ज्यादा स्‍ट्रेंथ  ट्रेनिंग से कैलोरी ज्यादा बर्न होती हैं, देर तक धीरे-धीरे एक्सरसाइज करने से ज्यादा फैट बर्न होता है, यह सबसे बड़ा मिथक है। किसी भी एक्सरसाइज का फोकस इस बात पर होना चाहिए कि उसे करने से नियत समय में आप कितना फैट बर्न कर रहे हैं, न कि आप उसे कितनी देर तक कर रहे हैं। ज्यादा हैवी एक्सरसाइज को आप देर तक नहीं कर सकते, इसलिए सुरक्षित तरीका यही है कि आप कोई भी एक्सरसाइज धीरे-धीरे शुरू करें और इसके बाद समय सीमा को धीरे-धीरे ही बढ़ाते जाएं।

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महिलाओं की मसल्स बनने लगती हैं

यह मिथ लोगों में (खासतौर पर महिलाओं में) बेहद आम है, कि स्‍ट्रेंथ  ट्रेनिंग से महिलाओं की मसल्स बनने लगती हैं, लेकिन वास्तव में ये हैं बिल्कुल निराधार। पुरुषों में टेस्टोस्टेरोन नामक हार्मोन तेजी से बनता है जबकि महिलाओं में यह तेजी से नहीं बनता है। महिलाएं तभी मस्कुलर दिख सकती हैं जब उन्हें सिंथेटिक टेस्टोस्टेरोन दिया जाए, न कि स्‍ट्रेंथ  ट्रेनिंग से।

एक्सरसाइज करने से कामेच्छा घट जाती है

ये सरासर गलत है कि स्‍ट्रेंथ ट्रेनिंग एक्सरसाइज करने से कामेच्छा घट जाती है। बल्कि इससे से आपका दाम्पत्य जीवन और बेहतर होता है। एक शोध में शोधकर्ताओं पाया कि वेट ट्रेनिंग कसरतों से न सिर्फ पुरुषों की सेक्स लाइफ बेहतर होती है बल्कि महिलाओं में भी सेक्स संबंधित हार्मोन अधिक होते हैं। रोज 20 मिनट तक कोई भी वेट ट्रेनिंग एक्सरसाइज करने से महिलाओं के शरीर में ऑक्सीटोसिन जैसे सेक्स हार्मोन अधिक बनते हैं, जिससे कामेच्छा बढ़ती है।

कई लोग मानते हैं कि एक्सरसाइज खाली पेट करनी चाहिए, जबकि फिटनेस विशेषज्ञों के अनुसार खाली पेट एक्सरसाइज करने से बेवजह थकान होती है। यही नहीं, एक्सरसाइज करने की क्षमता भी कम होने लगती है। इसलिए व्यायाम करने से पहले जूस, फल, चाय के साथ एक-दो बिस्कुट या अंकुरित अनाज आदि लेना चाहिये।

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