काम के बढ़ते घंटे, लोगों से आगे निकलने की चाह और काम पर फोकस करने की वजह से लोग अपनी सेहत पर ध्यान नहीं दे पाते हैं। इसका सीधा असर उनकी फिजीकल और मेंटल हेल्थ पर पड़ता है। समय पर खान न खाना या पर्याप्त नींद न लेने की वजह से लोगों को स्ट्रेस, तनाव और डिप्रेशन होने लगता है। दरअसल, जब आप किसी काम को लगातार करते हैं तो ऐसे में आपके ब्रेन को रेस्ट की आवश्यकता होती है। यदि, उसे सही व पर्याप्त आराम नहीं मिलता है, तो आपकी कार्य प्रणाली या क्षमता प्रभावित होती है। ऐसे ही कार्यों की वजह से जब आपको आपकी इच्छा के अनुसार रिजल्ट नहीं मिलते हैं तो आप डिप्रेशन का शिकार हो जाते हैं। वैसे, डॉक्टर्स का कहना है कि डिप्रेशन होने के लिए कई कारण जिम्मेदार हो सकते हैं। यदि, आपको ज्यादातर उदासी और चिड़चिड़ापन रहता है तो यह यूनीपोलर डिप्रेशन का संकेत हो सकता है। इस लेख में मेडिकवर अस्पताल के न्यूरोलॉजिस्ट डॉक्टर जैनेद्र यादव से जानते हैं कि लोगों में इस तरह का डिप्रेशन क्यों होता है और इसमें किस तरह के लक्षण दिखाई देते हैं।
यूनिपोलर डिप्रेशन क्या है?
यूनिपोलर डिप्रेशन एक तरह मूड से जुड़ा डिसऑर्डर है, इसमें व्यक्ति का मूड खराब रहता है और वह, उन गतिविधियों में रुचि नहीं रहती जो कभी उसके लिए आनंददायक हुआ करती थीं। यह व्यक्ति के महसूस करने, सोचने और दैनिक गतिविधियों जैसे कि सोने, खाने या काम करने के तरीके को प्रभावित करता है। इस तरह के डिप्रेशन की पहचान के लिए लक्षणों को कम से कम दो सप्ताह से चार सप्ताह तक जारी रहना चाहिए। यूनिपोलर डिप्रेशन का सटीक कारण (Causes of unipolar depression) पूरी तरह से समझा नहीं गया है, लेकिन माना जाता है कि यह आनुवंशिक, पर्यावरणीय और मनोवैज्ञानिक कारकों से संबंधित होता है।
यूनिपोलर डिप्रेशन के क्या कारण होते हैं?
इस तरह के डिप्रेशन के सही कारणों का पता नहीं लगाया जा सका है। लेकिन, डिप्रेशन से जुड़े अधिकतर विकारों को अनुवांशिक, मनोवैज्ञानिक और सामाजिक कारणों की वजह माना जाता है। ये सभी कारक एक साथ मिलकर डिप्रेशन की स्थिति का कारण बन सकते हैं। यदि किसी व्यक्ति को अनुवांशिक रूप से डिप्रेशन की समस्या होती है, तो वह किसी भी तरह के मानसिक ट्रामा के चलते ट्रिगर हो सकती है। इसके अलावा डॉक्टर्स न्यूरोट्रांसमीटर के कार्य प्रभावित होने पर व्यक्ति को डिप्रेशन हो सकता है। ब्रेन केमिकल्स जैसे सेरोटोनिन, नॉरपेनेफ्रिन और डोपामाइन व्यक्ति के मूड को नियंत्रित करने का काम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं, जब इनके स्तर में बदलाव होता है तो ऐसे में व्यक्ति को चिड़चिड़ापन हो सकता है।
यूनिपोलर डिप्रेशन के लक्षण
यूनिपोलर डिप्रेशन में व्यक्ति का मूड खराब रहता है और साथ ही उनको मन उदास रहता है। डिप्रेशन व्यक्ति के मस्तिष्क और कॉग्नेटिव कार्यों पर प्रभाव डाल सकता है। आगे जानते हैं यूनिपोलर डिप्रेशन के लक्षणों के बारे में
- भविष्य के प्रति उत्साह न होना,
- किसी निर्णय को लेने में मुश्किल होना
- हमेशा निराशा महसूस होना
- खुद को नुकसान पहुंचाने के विचार आना
- काम पर फोकस न कर पाना
- बैचेनी होना और चक्कर आना
- आलस रहना
- वजन में तेजी से कम होना, आदि।
इसे भी पढ़ें : डिप्रेशन को दूर करने में कारगर हैं ये 5 घरेलू उपाय, तनाव और चिंता होगी कम
डिप्रेशन की वजह आपको किसी भी काम करने में परेशानी हो सकती है। साथ ही, आपको को रोजाना के कार्य करने में भी समस्या होने लगती है। इस दौरान यदि मानसिक समस्या, उदासी या बार-बार खुद को नुकसान पहुंचाने के विचार आ रहें हो तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।
How we keep this article up to date:
We work with experts and keep a close eye on the latest in health and wellness. Whenever there is a new research or helpful information, we update our articles with accurate and useful advice.
Current Version