Ashoka Chhal for Pregnant Women: आयुर्वेद में अशोक की छाल को औषधीय गुणों (Ashoka Chhal ke Fayde) से भरपूर माना जाता है। इसमें एंटी-इंफ्लेमेटरी, एंटी-बैक्टीरियल गुण पाए जाते हैं। इसके अलावा, अशोक की छाल में रक्तशोधक, मूत्रवर्धक, टैनिन, फ्लेवोनॉयड्स और अपचरोधी गुण भी होते हैं। अशोक की छाल को त्वचा, सेहत और बालों, सभी के लिए फायदेमंद माना जाता है। यह पीरियड्स के दौरान होने वाले दर्द और ऐंठन को कम करने में असरदार होता है। अशोक की छाल (Ashoka Bark Benefits in Hindi) इंटरनल ब्लीडिंग को रोकने में भी मदद करता है। आपको बता दें कि अशोक की छाल बवासीर जैसी समस्या को भी ठीक करने में असरदार होती है। लेकिन क्या प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल का सेवन कर सकते हैं? आइए, आरोग्य डाइट और न्यूट्रिशन क्लीनिक की आयुर्वेदिक एक्सपर्ट सुगीता मुटरेजा से जानते हैं प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल का सेवन कर सकते हैं या नहीं (Pregnancy me Ashok ki Chhal Kha Skte hai ya Nahi)?
क्या प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल का सेवन कर सकते हैं?- Can Pregnant Women Take Ashoka Bark in Hindi
डॉ. सुगीता मुटरेजा बताती हैं, “प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल का सेवन नहीं करना चाहिए। प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं को किसी भी जड़ी-बूटी का सेवन बिना डॉक्टर की सलाह के बिलकुल नहीं करना चाहिए। दरअसल, प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल का सेवन करना सुरक्षित नहीं माना जाता है। इसलिए आपको अशोक की छाल का सेवन आयुर्वेदाचार्य की सलाह पर ही करना चाहिए।”
इसे भी पढ़ें- त्वचा की इन 5 समस्याओं को दूर करते हैं अशोक के पत्ते, जानें इस्तेमाल का तरीका
प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल का सेवन करने के नुकसान- Side Effects of Ashoka Bark in Pregnancy in Hindi
- प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल खाने से गर्भपात का जोखिम बढ़ सकता है। इसलिए भूलकर भी इसका सेवन न करें।
- प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल खाने से गर्भाशय में संकुचन हो सकता है। इससे गर्भाशय से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं।
- प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल खाने से हार्मोनल हेल्थ प्रभावित हो सकती है।
- अशोक की छाल भ्रूण के विकास पर भी असर डाल सकता है।
- प्रेग्नेंसी में अशोक की छाल खाने से पेट में दर्द और ऐंठन से जुड़ी समस्याएं हो सकती हैं।
अशोक की छाल ब्लीडिंग और सूजन का कारण भी बन सकती है।
प्रेग्नेंसी के दौरान किसी भी तरह की जड़ी-बूटी या औषधि का सेवन सिर्फ डॉक्टर की सलाह पर ही करना चाहिए। अन्यथा आपको या भ्रूण को नुकसान पहुंच सकता है।