अक्षय तृतीया भारत में मनाया जाने वाला एक विशेष उत्सव है, जिसमें धन की देवी लक्ष्मी की पूजा की जाती है। हिंदू और जैन धर्म में मनाए जाने वाले इस उत्सव में सोना खरीदना शुभ माना जाता है। यही कारण है कि लोग इस दिन अपने सामर्थ्य अनुसार सोने-चांदी की चीजें खरीदते हैं। हिंदू कैलेंडर के अनुसार अक्षय तृतीया वैशाख महीने की तृतीया को मनाया जाता है। धार्मिक मान्यताओं से अलग, सोने को शरीर पर धारण करने के कई लाभ भी मिलते हैं। आइए आपको बताते हैं क्या हैं ये फायदे।
शरीर के तापमान को रखता है नियंत्रित
पुरानी मान्यताओं के अनुसार सोना शरीर के तापमान को नियंत्रित रखता है। जिन लोगों को बुखार, सर्दी, जुकाम या डेंगू-मलेरिया की समस्या होती है, पुराने समय में उन्हें सोना पहनने की सलाह दी जाती थी।
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सिरदर्द की समस्या होगी दूर
अगर आपको सिर में दर्द की शिकायत रहती है, तो अपनी तर्जनी उंगली में सोने की अंगूठी पहनें। इससे आपको सिर दर्द में आराम मिलेगा और दर्द की तीव्रता कम होगी। दरअसल तर्जनी उंगली में सिर दर्द को ठीक करने वाला एक प्रेशर प्वाइंट होता है, जो अंगूठी से दब जाता है।
अर्थराइटिस के दर्द से मिलता है छुटकारा
आयुर्वेद की पुस्तकों में ऐसा उल्लेख मिलता है कि सोना पहनने से अर्थराइटिस के दर्द से छुटकारा पाया जा सकता है। सोने के आभूषण इसके गुणों के कारण ही परंपरा में आए।
बेहतर होता है ब्लड सर्कुलेशन
कमर के आसपास सोना पहनने से आपके पूरे शरीर का ब्लड सर्कुलेशन बेहतर होता है। हालांकि इस बात का अब तक कोई वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है, मगर पुराने समय के वैद्य और हकीम इस बात को मानते थे कि सोना पहनने से आपके खून में ऑक्सीजन की सप्लाई बढ़ जाती है।
रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाए सोना
शरीर के ऊपरी हिस्से (गर्दन, सीने, चेहरे) में सोना पहनने से धारण करने वाले की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है। इससे आप तमाम तरह के वायरस और बैक्टीरिया के कारण फैलने वाले रोगों से बचे रह सकते हैं।
तनाव और चिंता कम करे सोना
सोना आपके मस्तिष्क के लिए भी फायदेमंद होता है। पुरानी मान्याओं के अनुसार पीली धातु पहनने से तनाव और चिंता की समस्या कम हो जाती है। जिन लोगों को रात में नींद नहीं आती है, उन्हें सोना धारण करना चाहिए। इससे तनाव से छुटकारा मिलता है।
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