आइब्रो को और खूबसूरत रूप दे सकती है 'माइक्रोब्लेडिंग', जानें इससे जुड़ी सारी बातें

आइब्रो की थ्रेडिंग करवाना बहुत से लोगों के लिए दर्दनाक हो सकता है, ऐसे में वे माइक्रोब्लेडिंग भी करवा कर देख सकते हैं।
  • SHARE
  • FOLLOW
आइब्रो को और खूबसूरत रूप दे सकती है 'माइक्रोब्लेडिंग', जानें इससे जुड़ी सारी बातें


खूबसूरत, घनी और वेलशेप्ड भौहें किसी के भी चहरे को एक अलग और स्टाइलिश रूप दे सकती हैं। आप अक्सर एम्मा वाटसन, दीपिका पादुकोण और लिली कोलिन्स जैसे सेलेब्स की आइब्रोज देख कर सोचती होंगी कि काश! आपके भी ऐसे ही आइब्रो होते। वहीं जिन लोगों को प्लकिंग पसंद नहीं, वे एक नई तकनीक 'माइक्रोब्लेडिंग' के द्वारा आइब्रो बनवा सकती हैं। खास बात ये है कि इसमें थ्रेडिंग जितना दर्द नहीं होता और ये पूरी तरह से प्राकृतिक दिखने वाली फुलर आइब्रो का भी रहस्य भी है। माइक्रोब्लेडिंग एक दर्द मु्क्त और लंबे समय तक के लिए आइब्रो को एक अच्छा शेप देना का कारगार उपाय हो सकता है। आइए विस्तार से इसके बारे में जानते हैं। 

inside_microblading

माइक्रोब्लेडिंग क्या है?

माइक्रोब्लेडिंग, आइब्रो आर्किटेक्चर का एक रूप है, जो प्रत्येक चेहरे के लिए सबसे अच्छा भौंह आकार बनाने के बारे में है। अत्यधिक सटीकता के साथ, एक उपकरण जो प्रभावी रूप से पेन की तरह काम करता है, उसका इसमें इस्तेमाल किया जाता है। इस पेन में 10-12 छोटी सुइयों के साथ निब का ब्लेड होता है, जो त्वचा को घुसना नहीं करता है, बस सतह को नाजुक रूप से खरोंचता है। ये बस भौंहों के आसपास के एपिडर्मिस परत को ठीक करके इसे एक बेहतर और अच्छा शेप देता है। वहीं आइब्रो को एक लंबे समय तक चलने वाला लुक देता है। वहीं इसमें कई तरीकों के तकनीकों का उपयोग भी किया जा सकता है। जैसे  आइब्रोज रंगवाना इत्यादि।

इसे भी पढ़ें : Female Face Shaving: क्‍या लड़कियों को करवानी चाहिए फेशियल शेविंग? जानें इसके फायदे और नुकसान

माइक्रोब्लेडिंग कितने समय तक चलती है?

माइक्रोब्लेडिंग करवाने के बाद आपको लगभग एक महीने में आइब्रोज में किसी भी टच-अप की आवश्यकता नहीं होगी। आमतौर पर, आपकी जीवनशैली और त्वचा के प्रकार के आधार पर माइक्रोब्लेडिंग 12 महीने से लेकर तीन साल तक चल सकती है। थोड़ी अधिक ऑयली त्वचा वाले लोगों के लिए, ये 12 महीने तक चल सकती है, तो वहीं यह सामान्य त्वचा वाले लोगों के लिए 18 महीने तक रह सकता है। वहीं माइक्रोब्लेडिंग के बाद आइब्रो को न बढ़ने देने के लिए आप सूरज की रोशनी से थोड़ी दूरी बनाएं रखें क्योंकि ये आपके भौंह के पास रेटिनॉल और ग्लाइकोलिक एसिड जैसे एक्सफ़ोलीएंट्स को कम कर सकता है।

क्या माइक्रोब्लेडिंग में आप घायल हो सकती हैं?

यह चोट नहीं करता है पर थोड़े देर के लिए सेंसिटिविटी सी महसूस हो सकती है। ये प्रक्रिया दर्दनाक नहीं है। वहीं इस प्रक्रिया को शुरू होने से पहले आईब्रो को मसाज दिया जाता है। वहीं इसमें कभी-कभी ब्लेड की आवाज भी होती है, जिसे लोग डरावना समझते हैं, पर ज्याजा डरने की जरूरत नहीं है। इसके अलावा, पूरी प्रक्रिया बहुत तेज है और जल्दी हो जाता है।

कुछ माइक्रोब्लेडिंग नियम

 माइक्रोब्लेडिंग के लिए जाने से पहले:

  • -एक सप्ताह पहले वेक्स न करवाएं।
  • - दो सप्ताह पहले धूप में न बैठें और न ही धूप में निकलें।
  • - किसी भी प्रकार का फेशियल न करवाएं।
  • - एक महीने पहले किसी भी रेटिनॉल या विटामिन ए उत्पादों का उपयोग करना बंद कर दें।
  • - दिन भर कोई व्यायाम नहीं।
  • - तीन हफ्ते पहले बोटोक्स न करें।
  • - ऑलिव ऑयल या विटामिन ई एक सप्ताह पहले न लें।
  • -तीन दिन पहले अपनी आइब्रो को वैक्स या टिंट न करें।

   इसे भी पढ़ें : सर्दियों की धूप का मजा लेना है तो घर पर बनाएं विंटर स्पेशल नैचुरल सनस्क्रीन, जानें तरीका

माइक्रोब्लेडिंग होने के दिन

  • - करवाने से 24-48 घंटे पहले शराब न पिएं।
  • - दो घंटे पहले कॉफी न पिएं।
  • - 24 घंटे पहले एस्पिरिन या बुप्रोफेन न लें

Read more articles on Skin-Care in Hindi

Read Next

स्किन की कई परेशानियों का कारण होते हैं त्वचा के बड़े होते पोर्स, कारण और बचाव के तरीके

Disclaimer