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गैस्ट्रिक अल्सर और पेट के कैंसर के बीच क्या कनेक्शन है? डॉक्टर से जानें

कुछ लोगों को पेट में छाले (गैस्ट्रिक अल्सर) होने की वजह पाचन क्रिया प्रभावित हो सकती है। इसकी वजह से व्यक्ति को अन्य समस्याएं होने का जोखिम बढ़ सकते हैं। आगे जानते हैं कि गैस्ट्रिक अल्सर और पेट के कैंसर के बीच क्या संबंंध होता है?
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गैस्ट्रिक अल्सर और पेट के कैंसर के बीच क्या कनेक्शन है? डॉक्टर से जानें


अनियमित खानपान की वजह से आपको कई तररह की समस्याएं हो सकती हैं। इन समस्याओं में एसिडिटी, कब्ज और गैस होना बेहद ही आम बात है। लगातार खानपान की गलत आदतों के कारण आपको पेट और आंत की अंदरूनी दीवार पर घाव या छाले बनने लगते हैं, इस स्थिति को गैस्ट्रिक अल्सर (Gastric Ulcers) कहा जाता है। पेट में लगातार एसिड बनना, अधिक मसालेदार चीजें खाना, शराब का अधिक सेवन, स्ट्रेस, डायबिटीज, दवाओं का असर और अनुवांशिक कारणों से आंते प्रभावित हो सकती हैं। यदि, इस स्थिति को लंबे समय तक नजरअंदाज किया जाए तो यह आंतों को नुकसान पहुंचा सकती हैं। इससे कुछ लोगों को पेट का कैंसर होने की संभावना बढ़ सकती है। इस लेख में नारायणा अस्पताल के गैस्ट्रोएंटरोलॉजी, सीनियर कंसल्टेंट डॉ. शिवानी देसवाल से जानते हैं कि गैस्ट्रिक अल्सर और स्टमक कैंसर के बीच क्या संबंध हो सकता है? डॉक्टर्स बताते हैं कि पेट के अल्सर और स्टमक कैंसर के बीच कोई सीधा कनेक्शन नहीं है। लेकिन, यदि आपको गैस्ट्रिक अल्सर लंबे समय तक बना रहता है तो यह कुछ लोगों में कैंसर होने की संभावना को बढ़ा सकता है।

गैस्ट्रिक अल्सर और पेट के कैंसर के बीच क्या संंबंध होता है? - Connection Between Gastric Ulcers And Stomach Cancer Risk In Hindi

  • H. pylori एक प्रकार का बैक्टीरिया है, जो गैस्ट्रिक अल्सर का सबसे आम कारण है। लंबे समय तक H. pylori इंफेक्शन रहने से पेट की अंदरूनी परत में सूजन (Chronic Gastritis) हो सकती है, जिससे धीरे-धीरे कैंसर की संभावना बढ़ सकती है।

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  • अगर गैस्ट्रिक अल्सर का सही समय पर इलाज न किया जाए, तो यह धीरे-धीरे म्यूकोसा (Mucosa) में परमानेंट डैमेज कर सकता है, जिससे पेट की कोशिकाएं असामान्य रूप से बढ़ने लगती हैं। यह स्थिति आगे चलकर गैस्ट्रिक कैंसर (Gastric Adenocarcinoma) का कारण बन सकती है।
  • गैस्ट्रिक अल्सर के कारण पेट में लगातार सूजन (Chronic Inflammation) बनी रहती है, जो कोशिकाओं के डीएनए में बदलाव ला सकती है और कैंसरजन्य कोशिकाओं को बढ़ावा दे सकती है।
  • यदि कोई व्यक्ति पहले से ही गैस्ट्रिक अल्सर से पीड़ित है और धूम्रपान, शराब का सेवन या अस्वस्थ खानपान जारी रखता है, तो इससे पेट के कैंसर की संभावना बढ़ सकती है।

गैस्ट्रिक अल्सर में पेट के कैंसर के जोखिम को कैसे कम करें? - How To Reduce Complications Of Stomach Cancer With Gastric Ulcers In Hindi

लक्षणों को नजरअंंदाज न करें

अगर आपको H. pylori बैक्टीरिया का संक्रमण है, तो तुरंत एंटीबायोटिक्स से इसका इलाज करवाएं। यह पेट के कैंसर के जोखिम को कम करने में मदद करेगा।

हेल्दी डाइट लेना आवश्यक

पेट के अल्सर से बचाव के लिए आप डाइट में आवश्यक बदलाव करें। आप डाइट में हरी सब्जियां, फल, फाइबर युक्त आहर का सेवन करें। मसालेदार भोजन खाने से बचें। रेट मीट और प्रोसेस्ड फूड से दूरी बनाएं।

धूम्रपान और शराब से बचें

धूम्रपान और शराब पेट की परत को कमजोर करती हैं और कैंसर के जोखिम को बढ़ाती हैं। इसे धीरे-धीरे कम करें या आदत को तुरंत बंद कर दें।

रेगुलर हेल्थ चेकअप करवाएं

यदि आप पहले से गैस्ट्रिक अल्सर से पीड़ित हैं, तो हर साल गैस्ट्रोएंडोस्कोपी करवाएं ताकि किसी भी असामान्यता का जल्द पता लगाया जा सके।

इसे भी पढ़ें: पेट में अल्सर के कारण, लक्षण और इलाज, डॉक्टर से जानें इस बीमारी के बारे में

गैस्ट्रिक अल्सर और पेट के कैंसर के बीच कोई प्रत्यक्ष संबंध नहीं है, लेकिन यदि अल्सर का समय पर इलाज न किया जाए या H. pylori संक्रमण लंबे समय तक बना रहे, तो कैंसर का खतरा बढ़ सकता है। सही खानपान, हेल्दी लाइफस्टाइल और रेगुलर हेल्थ चेकअप से इस जोखिम को काफी हद तक कम किया जा सकता है।

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