गर्मियों का मौसम अपने साथ केवल तपिश और पसीना ही नहीं लाता, बल्कि यह त्वचा से जुड़ी कई समस्याओं को भी जन्म देता है। इन्हीं में पित्ती (Urticaria) एक आम लेकिन परेशान करने वाली समस्या है। धूप में पसीने की वजह से स्किन में इंफेक्शन की संभावना बढ़ जाती है। पित्ती की समस्या होने पर व्यक्ति को कपड़े से भी पेरशानी होने लगती है। पित्ती एक तरह की एलर्जिक रिएक्शन है, जिसमें लाल रंग के उभरे हुए चकत्ते, खुजली, जलन जैसा एहसास होता है। यह समस्या गर्मियों में अधिक बढ़ जाती है। इस लेख में श्री बालाजी एक्शन मेडिकल इंस्टिट्यूट सीनियर कंसल्टेंट डर्मेटोलॉजी डॉ विजय सिंघल से जानते हैं कि गर्मियों में पित्ती क्यों होती है और इसके कौन-कौन से जोखिम कारक (risk factors) हैं।
गर्मियों में पित्ती के प्रमुख कारण - Causes Of Urticaria In Summer In Hindi
पित्ती एक प्रकार की एलर्जिक त्वचा प्रतिक्रिया है जिसमें त्वचा पर खुजलीदार चकत्ते या दाने उभर आते हैं। ये चकत्ते कुछ घंटों से लेकर कई दिनों तक रह सकते हैं। कभी-कभी ये अपने आप ठीक हो जाते हैं, और कभी-कभी दवाइयों की जरूरत होती है। ये चकत्ते शरीर के किसी भी हिस्से पर हो सकते हैं, और उनका आकार व रंग भी बदलता रहता है। पित्ती तीव्र (Acute) और दीर्घकालिक (Chronic) दोनों प्रकार की हो सकती है। आगे जानते हैं गर्मियों में पित्ती होने के कारणों के बारे में।
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अत्यधिक पसीना और गर्मी
गर्मियों में शरीर से बहुत अधिक पसीना निकलता है, जिससे त्वचा की ऊपरी परत नमी और गर्मी से प्रभावित होती है। यह पसीना त्वचा में जलन पैदा कर सकता है और हीट एलर्जी के रूप में पित्ती को जन्म दे सकता है।
धूप से एलर्जी (Sun Allergy)
कुछ लोगों की त्वचा पर तेज धूप पड़ने से एलर्जिक प्रतिक्रिया होती है जिसे सोलर यूर्टिकेरिया कहा जाता है। इसमें चेहरे, हाथों और गर्दन पर लाल चकत्ते और खुजली हो सकती है।
घमौरियों होना
गर्मियों में अक्सर घमौरियां होती हैं, लेकिन यदि यह गंभीर हो जाएं तो पसीने की ग्रंथियों में रुकावट उत्पन्न हो सकती है और इससे जलन और पित्ती जैसे लक्षण उभर सकते हैं।
कीड़ों के काटने से एलर्जी
गर्मियों में मच्छर, चींटियों और अन्य कीड़ों का प्रकोप बढ़ जाता है। इनके काटने से त्वचा में एलर्जी हो सकती है, जिससे पित्ती जैसे लक्षण दिख सकते हैं।
खानपान में बदलाव
गर्मियों में अक्सर लोग बर्फ, कोल्ड ड्रिंक्स, आइस्क्रीम और तैलीय चीज़ों का अधिक सेवन करते हैं। यह आहार कुछ लोगों में फूड एलर्जी उत्पन्न कर सकता है और पित्ती का कारण बन सकता है।
कुछ दवाओं के सेवन से रिएक्शन
कुछ दवाइया जैसे पेनिसिलिन, एस्पिरिन, या एंटीबायोटिक दवाएं गर्मियों में पसीने और गर्मी के प्रभाव से त्वचा पर प्रतिक्रिया कर सकती हैं और पित्ती का कारण बन सकती हैं।
पित्ती के जोखिम कारक - Risk Factors Of Urticaria In Summer In Hindi
गर्मियों में कुछ लोग पित्ती के प्रति अधिक संवेदनशील होते हैं। आगे जानते हैं कि पित्ती के क्या जोखिम कारक हो सकते हैं?
- जिन लोगों की त्वचा अधिक संवेदनशील होती है, उन्हें गर्मी, धूप, पसीना या रसायनों के संपर्क से पित्ती होने की संभावना अधिक रहती है।
- जिन्हें पहले से धूल, पराग, भोजन या कीड़ों से एलर्जी है, उन्हें पित्ती का खतरा अधिक होता है।
- कमजोर प्रतिरक्षा प्रणाली वाले लोगों में बाहरी कारकों से प्रतिक्रिया होने की संभावना अधिक होती है, जिससे पित्ती हो सकती है।
- मानसिक तनाव भी त्वचा की समस्याओं को बढ़ा सकता है। गर्मियों के मौसम में अगर व्यक्ति तनाव में है, तो पित्ती की संभावना बढ़ सकती है।
- गर्मियों में टाइट या सिंथेटिक कपड़े पहनने से पसीना रुकता है, जिससे त्वचा पर जलन और चकत्ते हो सकते हैं, और इससे पित्ती हो सकती है।
पित्ती से बचाव के उपाय - Prevention Of Urticaria In Summer In Hindi
- हल्के, सूती और ढीले कपड़े पहनें।
- अधिक पानी पिएं ताकि शरीर ठंडा रहे।
- तेज धूप से बचें, सनस्क्रीन का प्रयोग करें।
- बहुत अधिक मसालेदार, तैलीय या ठंडी चीज़ें एक साथ न खाएं।
- कीड़ों से बचाव के लिए मच्छरदानी या रेपेलेंट्स का उपयोग करें।
- अगर आपको पहले से एलर्जी है, तो उसके ट्रिगर को पहचानें और उनसे बचें।
- साफ-सफाई का ध्यान रखें ताकि बैक्टीरियल इन्फेक्शन न हो।
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गर्मियों में पित्ती होना एक आम समस्या है, लेकिन सही जानकारी और सावधानी से इसे नियंत्रित किया जा सकता है। इस समस्या के मूल कारणों को समझकर और जोखिम कारकों से बचाव करके आप अपनी त्वचा को सुरक्षित रख सकते हैं। पित्ती को नजरअंदाज करना गलत हो सकता है, खासकर तब जब यह बार-बार हो रही हो या शरीर पर गंभीर प्रभाव डाल रही हो।
FAQ
गर्मियों में फंगल इन्फेक्शन क्यों होता है?
गर्मियों के मौसम में तेज धूप के कारण लोगों को पसीने की समस्या होने लगती है। ऐसे में हाथ, पैर, जांघे और अंडरआर्म्स ज्यादातर समय पसीने से भीगे रहते हैं। इन जगहों पर पसीने की वजह से बैक्टीरियल और फंगल इंफेक्शन का जोखिम बढ़ जाता है।गर्मी में मेरी त्वचा क्यों जलती है?
जब आप अपनी स्किन को धूप में कवर करके नहीं जाते हैं तो ऐसे में धूप की किरणों से स्किन की ऊपरी परत बर्न हो जाती है। ऐसे में आपको जलन महसूस होती है।गर्मियों में मुंहासे होने के क्या कारण होते हैं?
गर्मियों में पसीने और गंदगी की वजह से स्किन पोर्स बंद हो जाते हैं। ऐसे में गंदगी की वजह से चेहरे और शरीर के अन्य हिस्सों पर दाने और मुंहासों की समस्या होने लगती है।