
पाेलियाे क्या है (What is Polio)? पाेलियाे छाेटे बच्चाें काे हाेने वाली एक बीमारी है। यह पाेलियाे वायरस से फैलता है, जाे मस्तिष्क और रीढ़ की हड्डी काे प्रभावित करता है। बच्चाें में पाेलियाे वायरस या विषाणु के विरूद्ध प्रतिराेधक क्षमता नहीं हाेती है, जिसकी वजह से यह बच्चाें में ही ज्यादा हाेती है। पाेलियाे वायरस (Polio Virus) से ग्रसित बच्चाें में लकवा हाेने की संभावना रहती है। यह एक लाइलाज बीमारी है, सिर्फ इससे बचाव करके की बच्चाें काे इस घातक बीमारी से बचाया जा सकता है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन (World Health Organisation) ने दुनिया काे पाेलियाे मुक्त बनाने के लिए कई काेशिशे की हैं। साथ ही लाेगाें काे इसके प्रति जागरूक करने के लिए भी कई कदम उठाए हैं। पाेलियाे के प्रति जागरूकता फैलाने के उद्देश्य से हर साल 24 अक्टूबर काे विश्व पाेलियाे दिवस (World Polia Day) मनाया जाता है। इस मौके पर हम आपकाे बताने जा रहे हैं पाेलियाे दिवस का इतिहास (World Polio Day History) और इसकी पिछले सालाें की थीम-
क्या है पाेलियाे? (What is Polio)
पाेलियाे या पाेलियाेमेलाइटिस एक संक्रामक राेग है, जाे छाेटे बच्चाें में हाेता है। यह पाेलियाे विषाणु की वजह से हाेता है। पाेलियाे बच्चे के किसी भी अंग काे कमजाेर बना देता है। पाेलियाे बच्चाें काे विकलांग करने वाली एक बीमारी है। यह एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में फैलने वाला वायरस है, जाे मस्तिष्क और रीढ़ की हड्डी काे प्रभावित करता है। यह एक लाइलाज बीमारी है यानी एक बार हाेने के बाद इसे ठीक नहीं किया जा सकता है, बचाव ही इसका एकमात्र उपाय है। पाेलियाे से दुनियाभर में लाखाें बच्चाें के जीवन काे बाधित किया है।
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पाेलियाे के लक्षण (Polio Symptoms)
पाेलियाे के सामान्य लक्षणाें में शामिल हैं-
- गले में खराश
- शरीर में दर्द (Body Pain)
- बुखार (Fever)
- मितली (Nausea)
- सिरदर्द (Headache)
- थकान (Tiredness)
पाेलियाे के गंभीर लक्षणाें में शामिल हैं-
- हाथाें और पैराें में सुई चुभने जैसा महसूस हाेना
- मस्तिष्क और रीढ़ की हड्डी में संक्रमण
- हाथ, पैर काे चलाने में परेशानी हाेना
विश्व पाेलियाे दिवस का इतिहास (History of World Polio Day)
विश्व पाेलियाे दिवस क्याें मनाया जाता है? (Why we Celebrate World Polio Day) विश्व पाेलियाे दिवस हर साल 24 अक्टूबर काे मनाया जाता है। इस दिवस काे 24 अक्टूबर काे अमेरिकी वायराेलॉजिस्ट डॉक्टर जाेनास साल्क के जन्मदिन के उपलक्ष्य में मनाया जाता है। पाेलियाे की बीमारी लाेगाें के लिए एक चुनौती बन गई थी और डॉक्टर जाेनास से इस बीमारी से लड़ने के लिए दुनिया काे हथियार दिया था। दरअसल, जाेनास साल्क ने दुनिया में पहला प्रभावी पाेलियाे वैक्सीन बनाने में मदद की थी। डॉक्टर जाेनास ने 1955 में पाेलियाे से बचाव की दवा काे दुनिया के सामने प्रस्तुत किया।
(Image : nishiogi8080.ne)
पाेलियाे के खिलाफ दाे टीके
दुनिया में पाेलियाे से बचाव के लिए दाे तरह की वैक्सीन बनाई गई है। इसका पहला टीका साल 1955 में प्रस्तुत किया गया। यह टीका डॉक्टर जाेनास सॉल्स ने प्रस्तुत किया था। वही पाेलियाे के खिलाफ लड़ाई के लिए दूसरा टीका 1962 में प्रस्तुत किया गया।
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पाेलियाे मुक्त हाे चुका है भारत
पाेलियाे से बचाव के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन की काेशिशाें और कई देशाें में टीकाकरण अभियान करवाने से दुनिया काे पाेलियाे से बचाया गया था। भारत पिछले 7-8 साल पहले पाेलियाे मुक्त हाे चुका है। लेकिन कुछ देशाें में इसके थाेड़े बहुत मामले सामने आते रहते हैं।
विश्व पाेलियाे दिवस-पिछले सालाें की थीम
वर्ष 2020 की थीम “प्रगति की कहानियां: अतीत और वर्तमान” था। वर्ष 2018 की थीम "अब पोलियो को समाप्त करें" थी। साल 2017 की थीम "पोलियो उन्मूलन के गुमनाम नायकों का उत्सव" था। इसी तरह से हर नए साल में नए थीम के साथ विश्व पाेलियाे दिवस 24 अक्टूबर काे मनाया जाता है।