What Is Metastatic Sarcoma In Hindi: यह बात आप सभी जानते होंगे कि जुलाई के महीने को सारकोमा और बोन कैंसर अवेयरनेस मंथ के रूप में मनाया जाता है। जैसा कि नाम से ही स्पष्ट है कि सारकोमा और बोन कैंसर, हड्डियों से जुड़े कैंसर की बात करता है। पूरी दुनिया में सारकोमा और बोन कैंसर मंथ मनाया जाता है, ताकि इस बीमारी के प्रति लोगों को जागरूक किया जा सके और जो लोग बोन कैंसर से पीड़ित हैं, उन्हें सही इलाज मुहैया कराया जा सके। इसी बात को ध्यान में रखते हुए आज हम मेटास्टेटिक सारकोमा के बारे में जानेंगे। आमतौर पर बोन कैंसर दो तरह के होते हैं, प्राइमरी बोन कैंसर और मेटास्टेटिक बोन कैंसर। प्राइमरी बोन कैंसर हड्डियों से शुरू होता है। तो फिर मेटास्टेटिक कैंसर की शुरुआत कहां से होती है और इस बीमारी के होने पर किस तरह के लक्षण नजर आते हैं। ग्रेटर नोएडा वेस्ट स्थित सर्वोदय हॉस्पिटल में कंसल्टेंट - मेडिकल ऑन्कोलॉजी डॉ. चिन्मयी अग्रवाल से जानें मेटास्टेटिक सारकोमा होने के क्या कारण होते हैं।
क्या है मेटास्टेटिक सारकोमा?- What Is Metastatic Sarcoma In Hindi
मेटास्टेटिक सारकोमा, उस स्थिति को कहते हैं जब कैंसर अपने मूल स्थान से फैलकर शरीर के दूसरे हिस्सों तक फैल जाता है। सरल शब्दों में कहा जाए, तो कैंसर सेल्स प्राइमरी ट्यूमर से अलग हो गई और ब्लड फ्लो या लसीका तंत्र के जरिए शरीर के दूसरे हिस्सों तक पहुंच चुकी है। आमतौर पर, मेटास्टेटिक सारकोमा लंग्स तक फैलता है। हालांकि, यह हड्डियों, लिवर और स्किन को भी प्रभावित कर सकता है। आपको बता दें कि मेटास्टेटिक सारकोमा को कैंसर के फोर्थ स्टेज के रूप में जाना जाता है। इसका ट्रीटमेंट प्राइमरी कैंसर की तुलना में अधिक जटिल होता है। लेकिन, ट्रीटमेंट की बात करें, तो मेटास्टेटिक सारकोमा होने पर सर्जरी, रेडिएशन और कीमोथेरेपी की जाती है।
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मेटास्टेटिक सारकोमा के कारण- Causes Of Metastatic Sarcoma In Hindi
मेटास्टेटिक कैंसर को कई कारक ट्रिगर कर सकते हैं, जैसे-
- कमजोर इम्यूनिटीः कैंसर की वजह से पहले ही इम्यूनिटी कमजोर हो जाती है। मेटास्टेटिक कैंसर होने पर इम्यूनिटी बहुत ज्यादा कमजोर हो जाती है और कैंसर सेल्स को रोकने में असमर्थ होती है।
- हाइपोक्सियाः हाइपोक्सिया का मतलब है कि शरीर में किसी-किसी हिस्से में ऑक्सीजन का स्तर कम होना। हाइपोक्सिया के कारण कैंसर सेल्स सर्वोइवल बेहतर होता है और उनकी ग्रोथ भी बढ़ती है। ऐसे में मेटास्टेटिक कैंसर का रिस्क बढ़ जाता है।
- सूजनः कैंसर में सूजन भी हो जाती है। धीरे-धीरे क्रॉनिक सूजन भी मेटास्टेटिक कैंसर होने का कारण बन सकता है।
- जेनेटिकः कैंसर के कारण कैंसर जीन में भी बदलाव होने लगते हैं, जो कि मेटास्टेटिक कैंसर सेल्स को बढ़ावा देते हैं।
मेटास्टेटिक कैंसर के लक्षण- Symptoms Of Metastatic Sarcoma In Hindi
- मेटास्टेटिक कैंसर के कारण प्रभावित हिस्से में बहुत ज्यादा दर्द होता है। दर्द इतना तीव्र होता है, जो चुभन जैसा महसूस होता है।
- मेटास्टेटिक कैंसर होने पर मरीज हमेशा थकान और कमजोरी बन रहती है। यहां तक कि रेस्ट करने के बावजूद थकान दूर नहीं होती है।
- मेटास्टेटिक कैंसर में अचानक वजन घटने लगता है। जबकि, मरीज अपनी डाइट और लाइफस्टाइल में कोई बदलाव भी नहीं करता है।
- मेटास्टेटिक कैंसर में सांस लेने में तकलीफ भी हो सकती है। ऐसी स्थिति में मरीज को बार-बार खांसी होती रहती है। इसका मतलब है कि मेटास्टेटिक कैंसर के कारण लंग्स भी प्रभावि होने लगा है।
FAQ
सारकोमा किसका कैंसर है?
सारकोमा कैंसर एक तरह का हड्डी का कैंसर है। यह हड्डियों की सेल्स से शुरू होता है। इस तरह की बीमारी अक्सर किशोरों में अधिक देखने को मिलती है।कौन सा कैंसर सबसे तेजी से फैलता है?
आमतौर पर लंग्स कैंसर शरीर में सबसे तेजी से फैलता है। हालांकि, ट्यूमर के बढ़ने के पीछे कई तरह के कारक जम्मेदार होते हैं। इसलिए, कैंसर किस तेजी से फैलेगा, यह मरीज की कंडीशन पर निर्भर करता है।सबसे नॉर्मल कैंसर कौन सा है?
कैंसर एक गंभीर समस्या है। ये नॉर्मल नहीं होती हैं। हालांकि, हाल के सालों में कैंसर के मरीजों की संख्या में काफी ज्यादा इजाफ देखने को मिला है। पुरुषों की बात करें, तो उनमें प्रोस्टेट कैंसर काफी ज्यादा होता है और महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर। फेफड़ों का कैंसर भी पुरुष और महिला दोनों में पाया जाता है।