आजकल ज्यादातर लोग अपनी दिनचर्या का लगभग आधा या तीन चौथाई समय ऑफिस में काम करके बिताते हैं। लेकिन अपनी कार्यशैली और अपने स्वास्थ्य के प्रति लापरवाही के कारण कमर दर्द और मानसिक तनाव जैसी समस्याएं भी झेलनी पड़ती हैं।
इसके कुछ मुख्य कारण हैं व्यायाम की कमी, खाली समय का अभाव, प्रतिकूल कुर्सी, अस्थिर दिनचर्या और असंतुलित खानपान। अपनी इस कार्यशैली को पूरी तरह बदलना तो आपके लिए संभव नहीं है लेकिन अपनी दिनचर्या में थोड़ा फेरबदल और अपने स्वास्थ्य के लिए अनुकूल परिस्थितियां उत्पन्न कर आप अपने पर सकारात्मक प्रभाव डाल सकते हैं साथ ही खुद को पूरी तरह फिट भी रख सकते हैं।

कुर्सी पर ठीक से बैठें
कुर्सी पर आपके बैठने के ढंग से भी आपका स्वास्थ्य और पोस्चर काफी हद तक प्रभावित होता है। कुर्सी पर बैठने के लिए अपनी हिप बोन को सीट और बैक जॉइंट पर सटाएं। कंधों को पीछे की ओर खींचते हुए अपने लोअर एबडॉमन की पेशियों को अंदर की ओर खींचकर कमर सीधी रखें। इसे करने के लिए आपको सांस रोकने की बिलकुल जरूरत नहीं है। बस जितना देर संभव हो इसी स्थिति में बैठने का प्रयत्न करें।
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काम के दौरान स्ट्रेच करें
काम के हर एक घंटे बाद अपने को स्ट्रेच करें और उठकर कमरे में थोड़ा टहलने की कोशिश करें। कुर्सी से चिपकी न रहें। यानी एक-डेढ़ घंटे के अंतर पर उठकर थोड़ी चहलकदमी करें। इसके अलावा आप चाहें तो शरीर को आराम देने के लिए कुर्सी पर बैठे-बैठे कुछ व्यायाम भी कर सकते हैं-
थोड़ा व्यायाम भी
दोनों हाथों को पीठ पर उसी प्रकार बांध लें जैसे आगे हाथ बांधते हैं। अब अपने कंधों को पीछे खींचें तथा गर्दन को क्लॉकवाइज फिर एंटीक्लॉकवाइज घुमाएं। ठोड़ी को पहले गर्दन के बेस पर छुआएं फिर दाएं कंधे पर, फिर बाएं कंधे पर, और फिर ऊपर व नीचे की ओर ले जाएं। यह व्यायाम कमर, गर्दन और हाथों को तो आराम देगा ही, आपके वक्ष सुडौल बनाने में भी मदद करेगा।
सही पोस्चर हो
कुर्सी पर इस प्रकार बैठें कि आपके घुटने कुर्सी के छोर से छुएं। कमर सीधी रखें। कंधे तने हुए तथा दोनों हथेलियां थाईज के पास कुर्सी पर रखें। अब पंजे को अपनी ओर खींचते हुए पैर को ऊपर इस प्रकार उठाएं कि घुटने सीधे हो जाएं और थाईज का संपर्क कुर्सी से छूट जाए। आहिस्ता-आहिस्ता पूर्व स्थिति में आएं। यदि संभव हो तो इसे करते समय अपने फुटवियर उतार लें। यह आपके घुटने व जांघों को सुडौल और तनावमुक्त बनाने में सहायक है।
शरीर को हिलाते-डुलाते रहें
टेबल के साइड से पेन की कैप या कुछ और चीज नीचे गिरा दें। इसे उठाने के लिए खुद कुर्सी से उठें। चीज के पास जाकर दोनों घुटनों और एडि़यों को मिलाकर पंजों के बल पर कमर सीधी रखते हुए स्टाइल से नीचे बैठें, चीज उठाएं और वापस कुर्सी पर आकर बैठ जाएं। यह आपके पैरों में रक्तसंचार सुचारु कर तनावमुक्त करता है तथा पैरों की तमाम मांसपेशियों को कार्यान्वित करता है।
थोड़ा टहलें
जब भी संभव हो अपनी कुर्सी से उठें और चलें। चलते समय अपने हाथों को कमर के पीछे किसी भी तरह बांध लें तथा कंधे पीछे की ओर खींचें। यदि संभव हो तो सीधे होकर एक या दो बार बिना घुटना मोड़े अपने पैर को पीछे की ओर उठाएं यही प्रक्रिया दूसरे पैर से भी दोहराएं। यह आपके पैरों में रक्त संचार सुचारु कर पैरों को सूजन से तो बचाएगा ही साथ, ही आपके हिप को रिलैक्स दे उन्हें शेपअप करने में भी सहायता करेगा।
हाथों से व्यायाम
अपने फुटवियर उतारकर एंकल को क्लॉकवाइज और एंटीक्लॉकवाइज रोटेट करें। अब दोनों घुटनों को मिला लें तथा थाईज को आधा कुर्सी पर रखते हुए आधा सामने बाहर की ओर ले आएं। अब एडि़यां और पंजे मिला कर कुर्सी के नीचे ले जाएं और पंजों के ऊपरी हिस्से यानी नाखूनों को जमीन पर लगाएं। अब एडि़यों को अलग-अलग कर जितना संभव हो सके खोलें। घुटने खुलने नहीं चाहिए, दोनों हथेलियां घुटनों पर, कमर और गर्दन सीधी तथा नजर सामने रखें। यह आपके पैरों और कमर के लिए तो फायदेमंद है ही, साथ ही आपके पाचन में भी सहायता करता है। यही एक व्यायाम है जिसे आप खाने तुरंत बाद कर सकती हैं।
हथेलियों का व्यायाम
यदि कम्प्यूटर मॉनीटर को देखते-देखते या काम करते आंख थक गई हैं तो कमर सीधी करके दोनों हथेलियों को आपस में जोर-जोर से तब तक रगड़ें जब तक हथेलियां गर्म न हो जाएं। अब हथेलियों को दोनों आंखों पर रखें और गहरी सांस लें। जब तक संभव हो सांस रोकें फिर सांस छोड़ते हुए हथेलियों को पूरे मुंह व गर्दन पर हलके हाथ से फेरें। यह आंखों को आराम देने के साथ रक्तसंचार बढ़ा चेहरे पर चमक लाता है।
सांसों की गति कम और ज्यादा करें
यदि काम के बोझ से मानसिक तनाव बढ़ रहा है तो दोनों हाथों को घुटनों पर रख कर कमर और गर्दन सीधी करें। अपनी आंखें बंद करके एक बार गहरी सांस लेकर छोड़ें। अब अपनी श्वांस-प्रश्वांस की सामान्य गति को चेक करें। हर सांस को अंदर जाते हुए और बाहर आते हुए महसूस करें। दस से बारह तक श्वास-प्रश्वास आपको भूत और भविष्य काल से वर्तमान काल में लाकर तनावमुक्त कर देगा।
इन व्यायामों के अतिरिक्त अपने खानपान पर भी विशेष ध्यान दें, खास तौर से अत्यधिक कॉफी या चाय न लें। उनके स्थान पर जूस या पानी पिएं।
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