सेहत ठीक रखने का दावा करने वाली विटामिन की गोलियां फायदे की बजाय नुकसान पहुंचा सकती हैं। कई अध्ययनों से यह जानकारी मिली है।
विटामिन की गोलियों का बड़ा कारोबार है। बच्चों से लेकर बड़ों तक इनका सेवन करते हैं। वास्तव में हर उम्र के लोगों के लिए विटामिन के अनुपूरक उपलब्ध हैं। माना जाता हैं कि विटामिन की गोलियां शरीर को उन जरूरी तत्वों की आपूर्ति करती हैं, जिनकी पूर्ति आहार से नहीं हो पाती। लेकिन पिछले हफ्ते अध्ययन से पता चला कि रोज मछली के तेल का कैप्सूल या ओमेगा-3 फैटी एसिड के सेवन और प्रोस्टेट कैंसर के बीच रिश्ता है। दो हजार से ज्यादा पुरूषों पर कराए गए इस अध्ययन के मुताबिक खून में ओमेगा-3 के उच्चतर स्तर की मौजूदगी प्रोस्टेट कैंसर होने की संभावना को 71 फीसदी तक बढ़ा देती है।
सिएटल के फ्रेड हचिंसन कैंसर रिसर्च सेंटर के शोधकर्ता डॉक्टर एलेन के मुताबिक अध्ययन बताते है कि अनुपूरकों की बड़ी खुराक का असर नहीं पड़ता बल्कि उस बीमारी के खतरे को बढ़ा देती हैं जिससे बचने की कोशिश कर रहे हैं।
विटामिन सी जख्म को ठीक करने और शरीर की कोशिकाओं को स्वस्थ रखने में मददगार होता है। पर इसके पर्याप्त सबूत नहीं मिले हैं कि अनुपूरक खुराक लाभकारी है। इस साल फरवरी में, 23 हजार लोगों पर आधारित 11 साल पुराने अध्ययन में भी लाभ की बात नहीं आई।
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