
Vitamin D deficiency in Pregnancy: प्रेगनेंसी एक ऐसा पल है, जो प्रत्येक कपल के लिए सबसे खुशनुमा होता है। महिलाएं इस पल को काफी अच्छे से जीना पसंद करती हैं। इस दौरान वे अपने स्वास्थ्य का अधिक ध्यान देती हैं। क्योंकि उन्हें अपने साथ ही दुनिया में आने वाले बच्चे के स्वास्थ्य के प्रति भी जागरूक होना पड़ता है। प्रेगनेंसी में अकसर महिलाओं को शारीरिक और मानसिक बदलावों का सामना करना पड़ता है। इस दौरान उनके शरीर में कई तरह के विटामिन्स और मिनरल्स की कमी भी देखने को मिलती है। खासकर, प्रेगनेंसी में डॉक्टर महिलाओं को फोलेट और फोलिक एसिड सप्लीमेंट लेने की सलाह देते हैं। क्योंकि ये पोषक तत्व महिला और बच्चे के स्वास्थ्य के लिए जरूरी होते हैं। इतना ही नहीं महिलाओं को प्रेगनेंसी में विटामिन डी की कमी का भी सामना करना पड़ता है। जिन महिलाओं के शरीर में प्रेगनेंसी के समय में विटामिन डी की कमी होती है, उन्हें कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। प्रेगनेंसी में विटामिन डी कम होने पर कई लक्षणों का सामना करना पड़ता है। तो चलिए, जानते हैं प्रेगनेंसी में विटामिन डी की कमी होने पर कौन-से लक्षण दिखाई देते हैं।
प्रेगनेंसी में विटामिन डी की कमी के लक्षण- Vitamin D Deficiency Symptoms in Pregnancy in Hindi
1. गर्भकालीन डायबिटीज
जिन महिलाओं को प्रेगनेंसी में विटामिन डी की कमी का सामना करना पड़ता है, उनमें गर्भकालीन डायबिटीज के लक्षण नजर आ सकते हैं। विटामिन डी की कमी वाली महिलाओं में गर्भकालीन डायबिटीज का जोखिम बढ़ सकता है। इसलिए अगर आपके शरीर में विटामिन डी की कमी है, तो आपको गर्भावस्था में समय-समय पर अपने ब्लड शुगर लेवल की जांच करती रहनी चाहिए। इससे अगर आपके शरीर में ब्लड शुगर का स्तर बढ़ेगा भी तो उसे समय पर कंट्रोल में किया जा सकता है।>
2. समय से पहले जन्म
अगर प्रेगनेंसी में किसी महिला के शरीर में विटामिन डी की मात्रा कम होती है, तो इस स्थिति में समय से पहले जन्म का जोखिम बढ़ जाता है। साथ ही इस स्थिति में बच्चा कम वजन के साथ पैदा हो सकता है। ऐसे में बच्चे को कई तरह की स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है। इसलिए आपको प्रेगनेंसी में पर्याप्त मात्रा में विटामिन डी आहार और सप्लीमेंट्स का सेवन जरूर करना चाहिए।
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3. मांसपेशियों में दर्द
प्रेगनेंसी में महिलाओं को मांसपेशियों में दर्द से अकसर ही परेशान रहना पड़ता है। लेकिन जिन महिलाओं के शरीर में प्रेगनेंसी के दौरान विटामिन डी की कमी होती है, उन्हें मांसपेशियों के दर्द से अधिक परेशान होना पड़ सकता है। इसलिए अगर आपको प्रेगनेंसी के दौरान असहनीय मांसपेशियों का दर्द हो, तो समझ जाइए कि यह विटामिन डी की कमी का ही एक लक्षण है। इस स्थिति में आप विटामिन डी सप्लीमेंट ले सकते हैं।
4. हड्डियों में दर्द
अगर प्रेगनेंसी के दौरान हड्डियों और जोड़ों में भी दर्द रहता है, तो यह समस्या भी शरीर में विटामिन डी की कमी के कारण हो सकता है। विटामिन डी हड्डियों और जोड़ों को मजबूत बनाता है और दर्द से राहत दिलाता है। लेकिन जब प्रेगनेंसी में हड्डियों और जोड़ों में दर्द रहता है, तो यह विटामिन डी की कमी का एक लक्षण होता है। इसलिए आपको इसे बिल्कुल भी नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। इससे आपकी स्थिति गंभीर हो सकती है और आपको असहनीय दर्द से परेशान होना पड़ सकता है।
5. कमजोरी और थकान
गर्भावस्था में विटामिन डी की कमी कमजोरी और थकान जैसे लक्षणों का भी अनुभव करा सकता है। वैसे तो प्रेगनेंसी में कमजोरी और थकान होना आम है। लेकिन अगर आपको सारे सप्लीमेंट्स और हेल्दी डाइट लेने के बाद भी कमजोरी और थकान का अनुभव हो, तो एक बार विटामिन डी की जांच करवाई जा सकती है।
प्रेगनेंसी में महिलाओं को कितने विटामिन डी की जरूरत होती है?
प्रेगनेंसी के दौरान महिलाओं और बच्चे के विकास के लिए विटामिन डी बहुत जरूरी होता है। विटामिन डी बच्चों की हड्डियों और दांतों के निर्माण में मदद करता है। गर्भावस्था के दौरान महिलाओं को 1000 से 2000 आईयू विटामिन डी की जरूरत होती है। इसके लिए महिलाएं अपने आहार में विटामिन डी युक्त खाद्य पदार्थों को शामिल कर सकते हैं। आपको बता दें कि फैटी फिश, अंडे में विटामिन डी अधिक मात्रा में पाया जाता है। इसके अलावा योगर्ट, दूध, अनाज में भी विटामिन डी भरपूर होता है। इसके अलावा अगर प्रेगनेंसी में आपके शरीर में विटामिन डी की अधिक कमी हो गई है, तो आप विटामिन डी सप्लीमेंट भी ले सकते हैं।
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प्रेगनेंसी में विटामिन डी क्यों जरूरी है?
वैसे तो विटामिन डी हर व्यक्ति के लिए जरूरी होता है। लेकिन गर्भावस्था में विटामिन डी की जरूरत बढ़ जाती है। आपको बता दें कि गर्भावस्था के दौरान कैल्शियम और फॉस्फोरस के स्तर को अधिक बनाए रखने के लिए शरीर को विटामिन डी की जरूरत पड़ती है। ये सभी पोषक तत्व भ्रूण की हड्डियों और दांतों के निर्माण में मदद करते हैं। इसके अलावा विटामिन डी त्वचा और आंखों के लिए भी जरूरी होता है। लेकिन प्रेगनेंसी में महिलाओं में विटामिन डी की कमी होना बेहद आम है। प्रेगनेंसी में विटामिन डी की कमी भ्रूण के असामान्य विकास का कारण बन सकता है। साथ ही यह फ्रैक्चर के जोखिम को भी बढ़ा सकता है।