Pranayama To Beat The Heat- तापमान बढ़ने के साथ तेज धूप और लू के कारण लोग काफी परेशान हो गए हैं। उमस भरी गर्मी और गर्म हवाओं ने लोगों का जीना मुश्किल कर दिया है। खुद को स्वस्थ रखने के लिए लोग भरपूर मात्रा में पानी पीना, दिन के समय घर से बाहर निकलने और न जाने क्या-क्या उपाय अपना रहे हैं, ताकि वे गर्मी के कारण होने वाली समस्याओं को खुद को बचा सकें। गर्मी के मौसम में लोग अपने शरीर को ठंडा रखने के लिए एसी, कूलर जैसे उपकरणों का इस्तेमाल करते हैं, जो सेहत पर बुरा प्रभाव डाल सकता है। लेकिन अगर आप खुद को बिना एसी और कुलर के गर्मी से बचाना चाहते हैं तो प्राणायाम (Pranayama) कर सकते हैं। योग एक्सपर्ट शुभांगी चौहान ने गर्मी से राहत पाने के लिए शीतकारी प्राणायाम (Sheetkari Pranayama)करने की सलाह दी है। आइए जानते हैं इसे करने का तरीका और फायदों के बारे में।
शीतकारी प्राणायाम कैसे करें? - How To Do Sheetkari Pranayama in Hindi?
- सबसे पहले किसी आरामदायक आसन में बैठ जाएं और अपनी हथेलियों को घुटनों पर रख लें।
- अब अपनी जीभ को ऊपर की ओर घुमाएं ताकि आपकी जीभ ऊपरी तालू को आसानी से छू ले।
- इसके बाद अपने दांतों को आपस में मिला लें और होठों को अलग कर लें ताकि आपके दांत साफ नजर आ सकें।
- धीरे-धीरे सांस लें और इस दौरान सबसे पहले हवा से अपना पेट भरें, फिर छाती में सांस भरे और फिर अंत में गर्दन का सांस से भर लें।
- यह पूरी प्रक्रिया अपने शरीर के अंदर सांस भरने की है। सांस लेते समय ध्यान दें कि हल्की फुसफुसाहट की आवाज निकले, जैसे सांप के फुंफकारने की आवाज होती है।
- अपने पेट और छाती में सांस भरने के बाद नाक की मदद से धीरे-धीरे सांस को छोड़ें।
- शीतकारी प्राणायाम का एक सिर्फ एक सेट हैं आप जितनी देर तक कर सकते हैं इस पूरी प्रक्रिया को दोहराएं।
- एक बार में कम से कम 10 सेट करने की कोशिश करें।
शीतकारी प्राणायाम के फायदे - Benefits Of Sheetkari Pranayama in Hindi
- गर्मी के मौसम में यह प्राणायाम करने से शरीर पर शीतलता का प्रभाव बढ़ता है।
- शीतकारी प्राणायाम शरीर के तापमान को ठंडा करके शरीर और दिमाग को आराम दिलाने में मदद करता है।
- शीतकारी प्राणायाम भूख, प्यास, नींद और आलस की समस्या को दूर कनरने में फायदेमंद है।
- यह प्राणायाम दांतों और मसूड़ों के स्वास्थ्य के लिए भी अच्छा माना जाता है।
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गर्मी के मौसम में शरीर के तापमान को नॉर्मल रखने और लू की समस्या को कम करने में मदद मिल सकती है, लेकिन इस आसान को किसी एक्सपर्ट की निगरानी में ही करें।
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