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क्या गर्भावस्था के दौरान मल त्याग के लिए जोर लगाना ठीक है? डॉक्टर से जानें

प्रेग्नेंसी के दौरान महिलाओं के शरीर में कई हार्मोनल और शारीरिक बदलाव होते हैं, जो पाचन तंत्र को भी प्रभावित करते हैं। यहां जानिए, क्या प्रेग्नेंसी में शौच करने के लिए जोर लगाना बुरा है?
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क्या गर्भावस्था के दौरान मल त्याग के लिए जोर लगाना ठीक है? डॉक्टर से जानें


एक महिला के जीवन में गर्भावस्था का समय बेहद खास और संवेदनशील होता है। यह एक ऐसा चरण है जब उसके शरीर में अनेक शारीरिक और मानसिक बदलाव होते हैं। खासकर जब कोई महिला पहली बार मां बनने जा रही होती है, तो उसके मन में कई तरह के सवाल और चिंता होती है कि क्या खाएं, कैसे चलें, किन बातों का ध्यान रखें और शरीर में होने वाले हर छोटे-बड़े बदलाव का क्या मतलब होता है। इन्हीं में से एक सामान्य लेकिन जरूरी सवाल यह भी होता है कि क्या प्रेग्नेंसी के दौरान मल त्याग करते समय जोर लगाना ठीक है? गर्भावस्था में कब्ज (constipation) की समस्या बहुत आम है। हार्मोनल बदलाव, बढ़ता हुआ गर्भाशय, आयरन सप्लीमेंट्स और कम फिजिकल एक्टिविटी इसके कारण बनते हैं। ऐसे में कई बार महिलाओं को टॉयलेट के दौरान तकलीफ होती है और मल त्याग के लिए जोर लगाना पड़ता है। इस लेख में मा-सी केयर क्लीनिक की आयुर्वेदिक डॉक्टर और स्तनपान सलाहकार डॉ. तनिमा सिंघल (Dr. Tanima Singhal, Pregnancy educator and Lactation Consultant at Maa-Si Care Clinic, Lucknow) से जानिए, क्या प्रेग्नेंसी में शौच करने के लिए जोर लगाना बुरा है?

क्या प्रेग्नेंसी में शौच करने के लिए जोर लगाना बुरा है? - Is It Okay To Push Hard To Poop While Pregnant

डॉक्टर तनिमा सिंघल बताती हैं कि प्रेग्नेंसी के दौरान शरीर में प्रोजेस्टेरोन नामक हार्मोन का लेवल बढ़ जाता है, जो पाचन क्रिया को धीमा कर देता है। साथ ही, जैसे-जैसे बच्चा गर्भ में बड़ा होता है, वह आंतों पर दबाव डालता है जिससे मल निष्कासन मुश्किल हो सकता है। आयरन और कैल्शियम सप्लीमेंट्स भी कब्ज को बढ़ा सकते हैं। पानी की कमी, फाइबर की कमी और फिजिकल एक्टिविटी में कमी भी इसके अन्य कारण हैं। प्रेग्नेंसी में ज्यादा जोर लगाना कई स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है।

1. पाइल्स या बवासीर

जोर लगाने से गुदा क्षेत्र की नसों पर दबाव बढ़ जाता है, जिससे बवासीर हो सकती है या पहले से मौजूद समस्या और बढ़ सकती है।

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2. पेल्विक फ्लोर पर दबाव

पेल्विक मांसपेशियों पर अधिक दबाव पड़ने से भविष्य में प्रसव में कठिनाई हो सकती है।

3. यूट्ररस पर दबाव

ज्यादा जोर लगाना गर्भाशय पर दबाव बढ़ाता है, जिससे गर्भ में पल रहे शिशु को नुकसान होने की आशंका हो सकती है।

4. गर्भपात या समय पूर्व प्रसव का खतरा

विशेष रूप से शुरुआती या अंतिम तिमाही में बहुत अधिक जोर लगाने से गर्भाशय संकुचन कर सकता है, जिससे समय पूर्व प्रसव या गर्भपात का जोखिम हो सकता है।

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is it okay to push hard to poop while pregnant

प्रेग्नेंसी में मल टाइट हो तो क्या करें? - how to get rid of tight stool

अगर प्रेग्नेंसी में मल त्याग में कठिनाई हो रही है, तो जोर लगाने की बजाय इन उपायों को अपनाएं।

1. फाइबर युक्त डाइट लें

भोजन में साबुत अनाज, हरी सब्जियां, फल, बीज और दालें शामिल करें। ये आंतों को साफ करने में मदद करते हैं।

2. पानी भरपूर पिएं

दिन में कम से कम 8–10 गिलास पानी पीना जरूरी है। सुबह उठकर गुनगुना पानी पीना कब्ज दूर करने में मदद करता है।

3. हल्की फिजिकल एक्टिविटी करें

गर्भवती महिला को डॉक्टर की सलाह के अनुसार हल्की वॉक, योग या प्रेग्नेंसी एक्सरसाइज करनी चाहिए। इससे पाचन तंत्र एक्टिव रहता है।

4. टॉयलेट की आदत नियमित बनाएं

हर दिन एक तय समय पर टॉयलेट जाने की आदत डालें। इससे शरीर को समय पर मल त्याग के लिए संकेत मिलते हैं।

5. प्राकृतिक उपायों का सहारा लें

आयुर्वेद में त्रिफला चूर्ण, इसबगोल, अंजीर और भीगी किशमिश जैसे कुछ उपाय कब्ज को दूर करने में बेहद प्रभावी माने गए हैं। लेकिन इनका सेवन डॉक्टर या आयुर्वेदाचार्य से सलाह लेकर करें।

निष्कर्ष

प्रेग्नेंसी के दौरान कब्ज होना सामान्य है, लेकिन जोर लगाकर मल त्याग करना सुरक्षित नहीं माना जाता। इससे गर्भवती महिला और गर्भस्थ शिशु दोनों के लिए जोखिम बढ़ सकता है। इसलिए इस दौरान खानपान का विशेष ध्यान रखें, पानी पर्याप्त पिएं और फिजिकल एक्टिव रहें। घरेलू उपाय भी इस स्थिति में मदद कर सकते हैं, बशर्ते उनका सेवन डॉक्टर की सलाह से किया जाए। सबसे जरूरी बात यह है कि अगर समस्या ज्यादा बढ़े तो डॉक्टर से तुरंत संपर्क करें और खुद से कोई कदम न उठाएं।

All Images Credit- Freepik

FAQ

  • प्रेग्नेंसी में पेट टाइट होने का क्या मतलब है?

    प्रेग्नेंसी में गर्भाशय की मांसपेशियों का अस्थायी संकुचन होता है, जो शरीर को डिलीवरी के लिए तैयार करने का संकेत देता है। आमतौर पर यह दूसरी या तीसरी तिमाही में महसूस होता है और कुछ मिनटों में अपने आप ठीक हो जाता है। हालांकि, अगर पेट का टाइट होना बार-बार हो रहा है, दर्द के साथ है या पानी जैसा डिस्चार्ज भी हो रहा है, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए।
  • गर्भावस्था के दौरान कठोर मल का क्या कारण होता है?

    गर्भावस्था के दौरान कठोर मल की समस्या होना आम बात है और इसके पीछे कई कारण हो सकते हैं। सबसे प्रमुख कारण है हार्मोनल बदलाव, खासकर प्रोजेस्टेरोन हार्मोन, जो आंतों की गति को धीमा कर देता है। इससे खाना पचने में अधिक समय लगता है और मल सख्त हो जाता है।
  • प्रेग्नेंसी का पहला संकेत क्या है?

    प्रेग्नेंसी का पहला संकेत आमतौर पर पीरियड्स रुक जाना होता है। इसके अलावा महिलाओं को थकान, उल्टी या मॉर्निंग सिकनेस, मूड स्विंग्स, बार-बार पेशाब आना, स्तनों में भारीपन या दर्द, इम्प्लांटेशन ब्लीडिंग, पेट में हल्का खिंचाव या सूजन जैसे लक्षण भी महसूस हो सकते हैं।

 

 

 

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