
देश में तेजी से बढ़ रहे कोरोना वायरस के मामले बड़े खतरे की आहट माने जा रहे हैं। आंकड़ों पर गौर करें तो बीते सप्ताह के मुकाबले इस सप्ताह में कोरोना के मामले तेजी से बढ़े हैं। गौरतलब हो कि देश में कोरोना की चौथी लहर आने की आशंका भी जून महीने के लिए की गयी थी। आईआईटी कानपुर समेत देश के कई बड़े संस्थानों ने जून महीने में देश में कोरोना की चौथी लहर आने की भविष्यवाणी की थी। ऐसे में बढ़ते मामलों को लेकर लोगों की चिंता बढ़ गयी है। बीते कुछ दिनों से जिस तेजी से देश में कोरोना के मामले बढ़ रहे हैं उससे ये अंदाजा लगाया जा सकता है कि आने वाले दिनों में कोरोना के नए मामले और तेजी से बढ़ सकते हैं। आंकड़ों पर नजर डालें तो केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय के मुताबिक बीते 24 घंटे में देश में कोरोना के 7,584 नए मामले आये हैं और इस दौरान देश में कोरोना संक्रमण के चलते 24 लोगों की मौत हुई है। देश में केरल और कर्नाटक राज्य में कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। बीते दिन महाराष्ट्र में कोरोना के 2,813 और केरल में 2,192 नए मामले सामने आए हैं। अकेले महाराष्ट्र में देश के कुल मामलों का 37.09 प्रतिशत मामले सामने आए हैं।
देश में कोरोना संक्रमण के आंकड़े (Coronavirus Cases in India)
जिस रफ्तार से देश में कोरोना वायरस के नए मामले बढ़ने शुरू हुए हैं उसे बहुत चिंताजनक माना जा रहा है। बीते सप्ताह के बाद से देश में कोरोना वायरस के नए मामलों में बहुत ज्यादा बढ़ोत्तरी देखने को मिली है। भारत में रोजाना सामने आने वाले कोरोना के मामलों में यह उछाल तीसरी लहर के दौरान देखने को मिला था। आंकड़ों के मुताबिक 1 सप्ताह के भीतर ही देश में कोरोना के मामले दोगुना हो गए हैं। पिछले सप्ताह के आंकड़ों से यह अंदाजा लगाया जा सकता है कि देश में कोरोना के मामले जिस तेजी से बढ़ रहे हैं उसे चौथी लहर की आहट के रूप में देखा जा सकता है। जून महीने के शुरुआत में देश में कोरोना के रोजाना सामने आ रहे मामले 2 से 3 हजार के बीच थे लेकिन अचानक 8 जून को कोरोना के मामले 5 हजार के पार पहुंच गए थे। इसके बाद 9 जून को 24 घंटे के भीतर सामने आये मामले 7 हजार से ज्यादा थे। 9 जून के बाद 10 जून को भी देश में कोरोना के मामले 7 हजार से ज्यादा बने हुए हैं। कोरोना के तेजी से बढ़ रहे मामले स्वास्थ्य मंत्रालय की चिंता बढ़ाने वाले हैं।
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जून महीने में ही हुई थी चौथी लहर आने की भविष्यवाणी (Covid 4th Wave Prediction India)
बीते कुछ महीने पहले देश में कोरोना की चौथी लहर के खतरे को लेकर कई नामचीन संस्थानों ने अध्ययन किया था। कई शोध और अध्ययन इस बात पर जोर दे रहे थे कि भारत में कोरोना वायरस संक्रमण की चौथी लहर जून महीने में आ सकती है। आईआईटी कानपुर समेत कई अन्य संस्थानों ने जून में कोरोना वायरस संक्रमण की चौथी लहर आने की भविष्यवाणी की थी। अब जब जून महीने के पहले सप्ताह में ही कोरोना के मामले तेजी से बढ़ने शुरू हुए हैं लोगों को यह भविष्यवाणी सच होती नजर आ रही है। वैश्विक स्तर पर कोरोना वायरस के नए वैरिएंट तेजी से संक्रमण फैला रहे हैं। बीते कुछ दिनों की खबरों पर गौर करें तो चीन समेत उत्तर कोरिया जैसे देशों में कोरोना वायरस के ओमिक्रोन वैरिएंट के दो सब वैरिएंट BA.4 और BA.5 के संक्रमण ने खूब तबाही मचाई है। भारत में भी कोरोना के इन वैरिएंट की पुष्टि हो चुकी है, ऐसे में तेजी से बढ़ते मामलों को हल्के में लेना सही नही माना जा रहा है।
देश में चौथी लहर को लेकर क्या कहते हैं एक्सपर्ट्स? (Experts Opinion On Covid 19 4th Wave in India)
देश में कोरोना के तेजी से बढ़ते मामलों को लेकर केंद्र सरकार अलर्ट पर है। केंद्र सरकार ने शुक्रवार को एक चिट्ठी लिखकर देश में कोरोना से प्रभावित 5 प्रमुख राज्यों को संख्ती बरतने और सावधानी का ध्यान रखने की सलाह दी है। केंद्र सरकार की तरफ से इन राज्यों को बढ़ रहे कोरोना के मामलों को कंट्रोल करने के लिए दिशानिर्देश दिए गए हैं। इन सबके साथ देश में कोरोना संक्रमण के बढ़ रहे मामलों को देखते हुए मेट्रो और हवाई यात्रा के दौरान मास्क पहनना अनिवार्य कर दिया गया है। देश में लगभग 4 महीने बाद इतनी बड़ी संख्या में कोरोना के मामले सामने आए हैं। Omicron सब-वेरिएंट BA.4 और BA.5 के खतरे को देखते हुए देश के कई वैज्ञानिक भी चिंता व्यक्त कर रहे हैं। देश के जाने-माने वायरोलॉजिस्ट डॉ शाहिद जमील ने एक अंग्रेजी अखबार से बातचीत करते हुए कहा कि देश में कोरोना के बढ़ रहे मामलों को देखते हुए हमें सतर्क रहने की जरूरत है। देश की अधिकांश आबादी को कोरोना का टीका लग चुका है इसलिए बहुत अधिक घबराने की जरूरत नहीं है लेकिन हमें लापरवाही नहीं बरतनी चाहिए। इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के एक विशेषज्ञ सदस्य डॉ. संजय पुजारी के मुताबिक कोरोना के नए वैरिएंट का संक्रमण शरीर में बने हुए एंटीबॉडी और हाइब्रिड इम्यूनिटी से बचने की क्षमता ज्यादा है। इसलिए संक्रमण की रोकथाम के लिए हमें लापरवाही नहीं बरतनी चाहिए।
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समाचार एजेंसी एएनआई से बातचीत करते हुए मैक्स हेल्थकेयर के इंटरनल मेडिसिन विभाग के डायरेक्टर डॉ रोमेल टिक्कू ने कहा कि जब तक कोरोना के नए वैरिएंट का संक्रमण देश में नहीं आता है तबतक देश में कोरोना की चौथी लहर की संभावना नहीं है। लेकिन इसका मतलब यह बिलकुल भी नहीं है कि देश में कोरोना की चौथी लहर नहीं आ सकती है। सभी डॉक्टर्स वैज्ञानिक लोगों से इस समय सतर्क रहने और कोविड प्रोटोकॉल का पालन करने की सलाह दे रहे हैं।
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