Alzheimer in Young Age: हाल ही में रिलीज हुई फिल्म ‘सैयारा’ लगातार सूर्खियों में बनी हुई है। इस फिल्म की कहानी और किरदारों के अभिनय को दर्शक खूब पसंद कर रहे हैं। फिल्म में एक्ट्रेस अनीत पड्डा एक अल्जाइमर पेशेंट के किरदार में नजर आई हैं। इस किरदार के जरिए अल्जाइमर पेशेंट की जिंदगी से जुड़ी समस्याओं को दिखाया गया है। साथ ही, फिल्म के जरिए लोगों को अल्जाइमर के लिए जागरूक भी किया है। ऐसे में हर किसी के मन में सवाल आता है कि कम उम्र में अल्जाइमर होने के क्या कारण हैं। साथ ही, किन कारणों से युवाओं में इस बीमारी का खतरा बढ़ रहा है। इस बारे में जानने के लिए हमने हैदराबाद (मलकपेट) से यशोदा हॉस्पिटल की कंसल्टेंटन्यूरोलॉजिस्ट डॉ. वरुण रेड्डी गुंडलुरु से बात की।
युवाओं में अल्जाइमर होने के क्या कारण हैं? Causes of Alzheimer in Young Age
ज्यादातर मामलों में लोगों में 65 की उम्र के बाद ही अल्जाइमर का खतरा होता है। लेकिन कम उम्र में अल्जाइमर इन कारणों से हो सकता है-
- युवाओं में अल्जाइमर होने की वजह जेनेटिक कारण भी हो सकते हैं। जीन्स के जरिए यह बीमारी एक जनरेशन से दूसरी जनरेशन में आ सकती है। हालांकि 60 की उम्र में अल्जाइमर होना आम बात है। कई बार ये 30 या 40 की उम्र के अंतराल भी लोगों में देखा जा सकता है। इसे भी जेनेटिक कारणों में देखा गया है।
- ब्रेन में एमिलॉयड प्लेक इकट्ठा होने को अल्जाइमर रोग की वजह माना गया है। ये एमिलॉयड प्रीकर्सर प्रोटीन ब्रेन के नॉर्मल प्रोसेस के साथ इंटर्फेयर कर सकता है। कई मामलों में वातावरण और जीवनशैली से जुड़ी समस्याओं को इससे जोड़कर देखा जा सकता है।
- युवा पीढ़ी में होने वाले अल्जाइमर की पहचान मुश्किल होती है और शुरुआत में इसके लक्षणों को पहचानना भी मुश्किल होता है। क्योंकि, शुरुआत में इसके लक्षण डिप्रेशन या स्ट्रेस के संकेत लग सकते हैं। इसके अलावा, इस स्थिति की जांच कई बार करना और डिमेंशिया को रिवर्स करने पर काम करना भी जरूरी है।
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युवाओं में अल्जाइमर के मामले लगातार क्यों बढ़ रहे हैं?
एक्सपर्ट के मुताबिक युवाओं में अल्जाइमर के मामले बढ़ने के कई कारण हो सकते हैं-
- मस्तिष्क में लगी कोई दर्दनाक चोट भी कम उम्र में अल्जाइमर का खतरा बढ़ा सकती है। ऐसे में ब्रेन फंक्शन पर बुरा असर पड़ता है जिससे अल्जाइमर हो सकता है।
- युवाओं में लंबे समय से चल रही कार्डियोवैस्कुलर डिजीज में अल्जाइमर का खतरा बढ़ा सकती हैं। ऐसे में हाई ब्लड प्रेशर, डायबिटीज और हाई कोलेस्ट्रॉल के कारण इसका खतरा हो सकता है।
- लाइफस्टाइल से जुड़ी खराब आदतें जैसे धूम्रपान करना, अत्यधिक शराब पीना या व्यायाम न करना भी युवाओं में अल्जाइमर रोग के जोखिम को बढ़ा सकती हैं।
- कुछ लोग डाउन सिंड्रोम, कुछ ऑटोइम्यून और मेटाबोलिक डिजीज और अन्य न्यूरोलॉजिकल कंडीशंस के कारण भी ब्रेन हेल्थ पर बुरा असर पड़ता है, जो आगे चलकर अल्जाइमर की वजह भी बन सकता है।
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एक्सपर्ट टिप
हालांकि कम उम्र में अल्जाइमर डॉक्टर्स के लिए भी नई चुनौती है। लेकिन अगर सावाधानियां बरती जाएं, तो इस समस्या को बढ़ने से रोका जा सकता है। अगर परिवार में किसी को डिमेंशिया रह चुका है, तो परिवार में सभी को चेकअप करवाना चाहिए। जिससे यह समस्या अगली जनरेशन तक न पहुंच पाए। हेल्दी लाइफस्टाइल और ब्रेन हेल्थ पर काम करने से इस समस्या का खतरा काफी हद तक कम किया जा सकता है।
निष्कर्ष
युवाओं में अल्जाइमर के मामले बढ़ने के कई कारण हो सकते हैं। मस्तिष्क में लगी कोई दर्दनाक चोट, लंबे समय से चल रही कार्डियोवैस्कुलर डिजीज में अल्जाइमर का खतरा बढ़ा सकती हैं। ऐसे में हाई ब्लड प्रेशर, डायबिटीज और हाई कोलेस्ट्रॉल के कारण इसका खतरा हो सकता है। लाइफस्टाइल से जुड़ी खराब आदतें जैसे धूम्रपान करना, अत्यधिक शराब पीना या व्यायाम न करना भी युवाओं में अल्जाइमर रोग के जोखिम को बढ़ा सकती हैं। लेख में आपको सामान्य जानकारी दी गई है। इस विषय पर ज्यादा जानने के लिए एक्सपर्ट से बात करें।
FAQ
अल्जाइमर का मुख्य कारण क्या है?
अल्जाइमर होने के कई कारण देखे गए हैं। इनमें धूम्रपान करने के कारण, शराब का बहुत ज्यादा सेवन, सिर में गंभीर चोट लगने की वजह से, आनुवांशिक कारण या पारिवारिक इतिहास, जीवनशैली से जुड़े कारण जैसे हाई कोलेस्ट्रॉल, डायबिटीज, मोटापा आदि को शामिल किया जाता है।अल्जाइमर किस उम्र में जल्दी शुरू होता है?
डॉक्टर के मुताबिक आमतौर पर अल्जाइमर 60 की उम्र के बाद ही शुरू होता है। लेकिन कई मामलों में 30 और 40 के बाद ही लोगों में अल्जाइमर के लक्षण देखे गए हैं।अल्जाइमर का सबसे अच्छा इलाज क्या है?
अल्जाइमर को पूरी तरह ठीक नहीं किया जा सकता है। लेकिन इसे दवाओं और सही देखभाल से इसके लक्षणों को बढ़ने से रोका जा सकता है।